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मनोरंजन

उर्मिला मातोंडकर : सिने जगत की ‘छम्मा छम्मा गर्ल’

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urmila matodkar, birthday

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नई दिल्ली| हिंदी सिनेमा जगत में ‘छम्मा छम्मा गर्ल’ के नाम से मशहूर अभिनेत्री उर्मिला मातोंडकर 80 और 90 के दशक की सर्वाधिक लोकप्रिय और बिंदास अभिनेत्रियों में गिनी जाती हैं।

एक दौर था, जब उर्मिला बॉलीवुड के उन चंद चेहरों में शामिल थीं, जिन्हें देख दर्शकों के चेहरे खिल जाते थे। भूमिका किसी सीधी-साधी युवती की हो, या किसी आधुनिक बिंदास बाला की उर्मिला हर किरदार में रच बस जाती हैं।

मुंबई के एक सामान्य मराठी परिवार में चार फरवरी, 1974 को जन्मीं उर्मिला ने अभिनय के क्षेत्र में कदम बचपन में ही रख दिया था और 1980 में आई फिल्म ‘कलयुग’ में बाल कलाकार के रूप में नजर आई थीं। शेखर कपूर की 1983 में आई फिल्म ‘मासूम’ में वह अभिनेता नसीरुद्दीन शाह की बेटी पिंकी की भूमिका में दिखीं थीं।

बॉलीवुड की जानी पहचानी नायिका के रूप में खुद को स्थापित करने से पहले उर्मिला ने टीवी धारावाहिक ‘कथा सागर’ (1986) और ‘जिंदगी’ (1987) में भी काम किया। फिल्म अभिनेत्री के रूप में पहली बार वह 1991 में फिल्म ‘नरसिम्हा’ में नजर आई, लेकिन बॉलीवुड में असल पहचान उन्हें 1995 में रामगोपाल वर्मा की फिल्म ‘रंगीला’ से मिली।

‘रंगीला’ में काम करने के बाद उर्मिला रातों-रात स्टार बन गईं। इसके बाद उन्होंने वर्मा की ‘मस्त’, ‘दौड़’, ‘जंगल’, ‘भूत’ और ‘एक हसीना थी’ में काम किया।

वर्ष 1997 में फिल्म ‘जुदाई’ और 1998 में ‘सत्या’ में उनके अभिनय को काफी सराहना मिली और फिल्मफेयर पुरस्कारों में नामांकन भी मिला। फिल्म ‘प्यार तूने क्या किया’ में नकारात्मक भूमिका के लिए भी उन्हें फिल्मफेयर पुरस्कार के लिए नामित किया गया था।

उर्मिला ने ‘पिंजर’, ‘तहजीब’, ‘मैंने गांधी को नहीं मारा’ और ‘बस एक पल’ जैसी गंभीर फिल्मों में भी अपनी प्रतिभा का लोहा मनवाया।

निर्देशक सतीश कौशिक जब फिल्म ‘कर्ज’ बना रहे थे, तो खलनायिका की भूमिका के लिए कई अभिनेत्रियों के नाम पर विचार किया गया था। लेकिन कौशिक ऐसी खलनायिका चाहते थे, जो खूबसूरत होने के साथ-साथ प्रतिभाशाली भी हो और उर्मिला में उन्हें यह विशेषता मिल गई। हालांकि यह फिल्म बॉक्स ऑफिस पर कामयाब नहीं हो सकी।

उर्मिला के बारे में कम ही लोगों को यह पता है कि वह एक गायिका भी हैं। प्रतिष्ठित गायिका आशा भोंसले के संगीत एलबम के लिए उन्होंने गाना भी रिकॉर्ड किया था। अभिनय और गायन के अलावा उर्मिला मॉडलिंग के क्षेत्र में भी सक्रिय रह चुकी हैं। वह एक कुशल नृत्यांगना भी हैं।

वर्ष 2003 में फिल्म ‘भूत’ के लिए उर्मिला को सर्वश्रेष्ठ अभिनेत्री का फिल्मफेयर (क्रिटिक्स) अवॉर्ड दिया गया।

उर्मिला ने कालजयी फिल्म ‘शोले’ की रीमेक में हेलन के नृत्य ‘महबूबा महबूबा’ पर नृत्य किया। फिल्म ‘चाइना गेट’ के आइटम नम्बर ‘छम्मा छम्मा’ पर उर्मिला का शानदान नृत्य आज भी सिनेप्रेमियों के मन में ताजा है।

मनोरंजन

फिर बढ़ी एल्विश यादव की मुश्किलें, ईडी ने दर्ज किया मनी लॉन्ड्रिंग का केस

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नई दिल्ली। बिग बॉस ओटीटी 2 विनर और यूट्यूबर एल्विश यादव की मुश्किलें लगातार बढ़ती जा रही हैं। अब ईडी ने एल्विश के खिलाफ मनी लॉन्ड्रिंग का केस दर्ज किया है। मनी लॉन्ड्रिंग का मामला सांपों के जहर सप्लाई से ही जुड़ा हुआ है। केंद्रीय एजेंसी ने पिछले महीने उत्तर प्रदेश में नोएडा पुलिस द्वारा एल्विश और अन्य लोगों के खिलाफ दायर एक एफआईआर और आरोप पत्र का संज्ञान लेने के बाद प्रिवेंशन मनी लॉन्ड्रिंग एक्ट के तहत मामला दर्ज किया है।

इसके अलावा खबर ये भी है कि ईडी एल्विश यादव के साथ-साथ बड़े होटल रिसॉर्ट्स और फार्म हाउस के मालिकों से भी पूछताछ करेगी। बता दें कि नोएडा पुलिस द्वारा एल्विश यादव को गिरफ्तार किया गया था। फिलहाल वह जमानत पर बाहर हैं। ईडी ने एल्विश पर शिकंजा कसने की तैयारी कर ली है।

एल्विश यादव को वन्य जीव संरक्षण अधिनियम 1972 के तहत एक मामले में 17 मार्च को गिरफ्तार किया गया था। सांप के जहर तस्करी मामले में एल्विश यादव गौतमबुद्ध नगर की बक्सर जेल में बंद थे। 17 मार्च को एल्विश को पांच अन्य लोगों के साथ पुलिस ने गिरफ्तार किया था। इस मामले में पुलिस ने एक बैंकेट हॉल में छापा मारकर 4 सपेरों समेत 5 लोगों को गिरफ्तार किया था और 9 सांप और उनका जहर बरामद किया गया था। एल्विश यादव पर आरोप है कि वह रेव पार्टी के लिए सांपों के जहर का इंतजाम करते थे और सांपों का इस्तेमाल अपने वीडियो शूट के लिए भी करते थे।

दरअसल साल 2023 के अंत में पीपुल्स फॉर एनिमल संस्था के पदाधिकारी ने एल्विश यादव और उनके साथियों पर सांपों के जहर का इस्तेमाल और खरीद-फरोख्त का आरोप लगाते हुए सेक्टर-49 थाने में केस दर्ज कराया था। इसके बाद पुलिस ने पार्टी वाली जगह पर रेड की थी, जहां पांच सेपेरों के पास से कोबरा समेत नौ सांप और 20 एमएल जहर मिला था। इसके बाद कार्रवाई करते हुए पुलिस ने सभी को जेल भेज दिया था।

इसके बाद संस्था के पदाधिकारी का एक ऑडियो वायरल हुआ, जिसमें मुख्य आरोपी राहुल संस्था के पदाधिकारी से बात करता सुनाई देता है। इसमें राहुल कह रहा है कि वह एल्विश की ओर से आयोजित होने वाली पार्टियों में शामिल हो चुका है। राहुल पार्टियों में अपने अन्य सपेरे दोस्तों के साथ गया था। हालांकि, बाद में सभी को जमानत मिल गई थी। पुलिस टीम ने एल्विश यादव के कॉल डिटेल और सोशल मीडिया अकाउंट को खंगाला, जब उसके खिलाफ नोएडा पुलिस को पर्याप्त सबूत मिल गए तो पुलिस ने उसे नोटिस देकर पूछताछ के लिए दोबारा बुलाया। पूछताछ के बाद उसे नोएडा से गिरफ्तार कर जेल भेज दिया गया था। पांच दिन तक जेल में रहने के बाद एल्विश जमानत पर छूट गया।

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