Connect with us
https://www.aajkikhabar.com/wp-content/uploads/2020/12/Digital-Strip-Ad-1.jpg

गैजेट्स

मोनेटाइजेशन को लेकर अब चिंता नहीं, 500 सब्सक्राइबर्स वाले YouTube चैनल की भी होगी कमाई

Published

on

YouTube channel

Loading

नई दिल्ली। यदि आप भी एक YouTube कंटेंट क्रिएटर्स हैं और कमाई को लेकर परेशान हैं तो आपके लिए गुड न्यूज है। अब आपको अपने YouTube को चैनल के मोनेटाइजेशन को लेकर चिंता करने की जरूरत नहीं हैं, क्योंकि अब आपका YouTube चैनल 500 चैनल सब्सक्राइबर्स होने पर भी मोनेटाइज हो सकता है।

कंपनी ने इसके लिए नियमों में बड़ा बदलाव किया है। पहले चैनल मोनेटाइजेशन कराने के लिए कम से कम 1000 सब्सक्राइबर्स की जरूरत होती थी।

YouTube ने कहा है कि वह यूट्यूब पार्टनर प्रोग्राम के लिए पात्रता आवश्यकताओं को कम कर रही है और कम फॉलोअर्स वाले क्रिएटर्स के लिए मोनेटाइजेशन प्रोसेस को आसान किया जा रहा है। कंपनी मोनेटाइजेशन प्रोसेस की लिमिट को कम कर रही है। यानी अब कम फॉलोअर्स वाले क्रिएटर्स भी अपना यूट्यूब चैनल मोनेटाइज करा सकेंगे और कमाई शुरू कर सकते हैं।

YouTube ने बदले ये नियम

पहले, यूट्यूब पार्टनर प्रोग्राम में शामिल होने और अपने कंटेंट को मोनेटाइज कराने के लिए क्रिएटर्स को कई मानदंडों को पूरा करना पड़ता था। लेकिन अब नए नियम के तहत, क्रिएटर्स को पात्र होने के लिए केवल 500 सब्सक्राइबर्स की आवश्यकता होगी, जो कि पिछली आवश्यकता का आधा है। वहीं यूट्यूब ने 4000 वॉच आवर को भी कम करके 3000 वॉच आवर कर दिया है। यानी अब एक साल में 3000 वॉच आवर को ही पूरा करना होगा।

साथ ही Youtube Shorts व्यू को 10 मिलियन से घटाकर 3 मिलियन कर दिया गया है। यानी क्रिएटर्स को चैनल मोनेटाइज कराने के लिए 90 दिनों में 30 लाख Youtube Shorts व्यू होने चाहिए। इन नियमों को पहले अमेरिका, यूनाइटेड किंगडम, कनाडा, ताइवान और दक्षिण कोरिया में लागू किया जाएगा। इसके बाद इसे अन्य देशों में भी लागू किया जा सकता है।

छोटे क्रिएटर्स को होगा फायदा

यूट्यूब की नई मोनेटाइजेशन प्रोसेस से छोटे और शुरुआती यूट्यूबर्स को काफी फायदा होने वाला है। उनके पास अब YouTube पर अपने कंटेंट को मोनेटाइजेशन करने के अधिक अवसर होंगे। हालांकि, उन्हें अपने दर्शकों को बढ़ाने और विज्ञापन राजस्व अर्जित करने के लिए कुछ बेंचमार्क पूरा करने की आवश्यकता होगी।

रेवेन्यू शेयरिंग को नहीं बदला गया है। वहीं जो क्रिएटर्स YouTube पार्टनर प्रोग्राम में पहले से शामिल हैं, उन्हें फिर से आवेदन करने की आवश्यकता नहीं होगी।

प्रोग्राम में शामिल होने के बाद क्रिएटर्स को सुपर थैंक्स, सुपर चैट और सुपर स्टिकर्स जैसे कई उपयोगी टूल का एक्सेस मिल जाएगा। वे चैनल मेंबरशिप जैसे सब्सक्रिप्शन टूल का भी इस्तेमाल कर सकेंगे और YouTube शॉपिंग में अपने प्रोडक्ट को भी प्रमोट कर सकेंगे।

गैजेट्स

केंद्र सरकार का बड़ा एक्शन, 70 लाख मोबाइल नंबर हुए सस्पेंड; जानें क्या है कारण 

Published

on

70 lakh mobile numbers suspended in INDIA

Loading

नई दिल्ली। केंद्र सरकार ने एक बड़ा एक्शन लेते हुए 70 लाख मोबाइल नंबर को सस्पेंड कर दिया है। यानी इन मोबाइल नंबर का इस्तेमाल पूरी तरह से बंद कर दिया गया है। अब आपके जेहन में ही यही सवाल आ रहा होगा कि आखिर सरकार की ओर से यह कदम क्यों उठाया गया है। दरअसल, यह कदम बढ़ते डिजिटल फ्रॉड को देखते हुए उठाया गया है।

इस वजह से हुए मोबाइल नंबर सस्पेंड

सस्पेंड किए गए ये वे मोबाइल नंबर थे जो किसी तरह के संदिग्ध लेन-देन से जुड़े थे। दरअसल, इस मामले को लेकर वित्तीय सेवा सचिव विवेक जोशी ने मंगलवार को जानकारी दी। उन्होंने कहा कि इंटरनेट के समय में डिजिटल पेमेंट को लेकर हो रही धोखाधड़ी को देखते हुए ऐसा किया गया है। बता दें, वित्तीय सेवा सचिव विवेक जोशी ने यह जानकारी डिजिटल पेमेंट को लेकर धोखाधड़ी और इससे जुड़े मुद्दों पर बैठक के बाद दी है।

जनवरी में होगी अगली बैठक

जोशी ने कहा है कि डिजिटल फ्रॉड के बढ़ते मामलों को देखते हुए बैंकों को भी निर्देश दिए गए हैं। बैंकों को उनकी प्रक्रियाओं और प्रणालियों को पहले से मजबूत बनाने को कहा गया है। उन्होंने बैठक को लेकर जानकारी देते हुए कहा है कि इस मुद्दे पर आगे भी बैठकें होती रहेंगी। इसी के साथ मामले पर अगली बैठक अगले साल जनवरी में रखी गई है।

वित्तीय सेवा सचिव विवेक जोशी ने आधार सक्षम भुगतान प्रणाली (AEPS) धोखाधड़ी को लेकर कहा है कि राज्यों को इस मुद्दे पर ध्यान देने की जरूरत है। इसी के साथ राज्य सरकारों को डेटा सुरक्षा को भी मजबूत बनाने पर गौर देना चाहिए।

फ्रॉड के मामले कैसे होंगे कम

विवेक जोशी ने कहा है कि डिजिटल धोखाधड़ी को लेकर जागरुकता बेहद जरूरी है। इस तरह की धोखाधड़ी पर लगाम लगाने के लिए जरूरी है कि समाज को इन मामलों से अवगत करवाया जाए और जागरुक किया जाए। मालूम हो कि हाल ही में वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने भी साइबर धोखाधड़ी को लेकर समाज को जागरुक करने की बात पर जोर दिया था।

Continue Reading

Trending