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योग एवं आयुर्वेद

इन 3 योगासनों से खुद को पूरे दिन रखें उर्जावान, तनाव व चिंता भी होगी कम

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नई दिल्ली। रातभर सोने के बाद सुबह के समय होने वाले आलस की वजह से दिनभर एनर्जेटिक बने रहना एक कठिन कार्य होता है। ऐसे में दिनभर सुस्ती की वजह से काम में ठीक से मन भी नहीं लगता है। खासतौर पर कुछ खाने के बाद दिन में और ज्यादा सुस्ती छाने लगती है।

ऐसे में दिनभर एनर्जेटिक बने रहने के लिए हमें अपनी जीवनशैली में बदलाव करना होगा। अगर आप भी इस समस्या से परेशान रहते हैं, तो इन 3 योगासनों की मदद से खुद को पूरे दिन उर्जावान बनाए रख सकते हैं।

बालासन

दिनभर आपको ऊर्जा देने के साथ ही बालासन तनाव और चिंता को कम करने में भी आपके लिए सहायक साबित होगा। साथ ही इसे करने से पीठ, कंधों और छाती के दर्द को दूर करने में मदद करता है। अगर आप दिनभर सुस्त और थका हुआ महसूस करते हैं, तो इस आसन को अपनी जीवनशैली का हिस्सा बना सकते हैं।

                                                                                                         बालासन

बालासन करने का तरीका

इस आसन को करने के लिए सबसे पहले फर्श पर घुटने टेककर बैठ जाएं।

अब दोनों पैरों के अंगूठों को नजदीक लाएं और एड़ी पर बैठें।

इसके बाद अपने घुटनों को कूल्हों की चौड़ाई जितना फैलाएं और गहरी सांस लें।

अब आगे की तरफ से झुकते हुए सांस छोड़े।

इस दौरान ध्यान रखें कि आप अपने धड़ को जांघों के बीच की रखें।

इसके बाद अपनी दोनों बाहों को आगे की तरफ से बढ़ाएं और कंधे को फर्श पर रेस्ट करने दें।

करीब 30 सेकंड तक इस आसन में रिलैक्स करें और फिर से पूरी प्रक्रिया को दोहराएं।

वीरभद्रासन

अगर आप अपने कंधों को मजबूत कर संतुलन और स्थिरता में सुधार करना चाहते हैं, तो इसके लिए वीरभद्रासन फायदेमंद होगा। इस आसन की मदद से आपका शरीर स्ट्रेच होगा, जिससे आपके शरीर को एनर्जी मिलती है।

                                                                                                  वीरभद्रासन

वीरभद्रासन करने का तरीका

इस आसन को करने के लिए सबसे पहले ताड़ासन की मुद्रा में अपने पैरों को कूल्हों की चौड़ाई में रखकर खड़े हो जाए।

अब अपने हाथों को साइड में रखकर गहरी सांस लें और बाईं तरफ मुड़ें।

इसके बाद सांस छोड़ते हुए अपने पैरों को फैलाएं। ध्यान रखें कि दोनों पैरों के बीच

करीब 4 से 5 फीट का गैप हो।

अब अपने दाएं पैर को 90 डिग्री पर मोड़ें और बाएं पैर को 45 डिग्री के एंगल पर अंदर की ओर खींचें।

अपनी बाएं एड़ी पर शरीर के वजन को डालें और फिर अपने दाहिने टखने पर अपने दाएं घुटने को मोड़ते हुए सांस छोड़ दें।

इस दौरान अपनी काफ जमीन के साथ सीधी रखें।

अब अपनी बाहों को आसमान की तरफ फैलाकर हथेलियों को एक साथ मिलाकर प्रणाम की मुद्रा बनाएं।

अपने सिर को ऊपर आसमान की ओर रखें।

30 से 60 सेकंड तक इस आसन में रहें और फिर से इस मुद्रा को दोहराएं।

त्रिकोणासन

अगर आप अक्सर कमर दर्द की समस्या से परेशान रहते हैं, तो त्रिकोणासन आपके लिए फायदेमंद साबित होगा। इसे करने से न सिर्फ आपकी सुस्ती दूर होगी, बल्कि चिंता और तनाव दूर होगा और शरीर लचीला भी बनेगा।

                                                                                         त्रिकोणासन

त्रिकोणासन करने का तरीका

जमीन पर खड़े होकर दोनों पैरों के बीच दो फीट की दूरी बनाएं और शरीर को शरीर से सीधे सटाकर रखें।

अब अपनी बाहों को शरीर से दूर कंधे तक फैलाएं।

इसके बाद गहरी सांस लेते हुए दाहिने हाथ को ऊपर उठाकर कान से सटा लें।

इस दौरान अपने बाएं पैर को बाहर की तरफ मोड़ दें।

अब सांस बाहर छोड़ते हुए कमर से बाईं ओर झुकें। ध्यान दें कि इस दौरान आपके घुटने मुड़े नहीं।

अब अपने दाएं हाथ को फर्श के समानांतर लाने की कोशिश करें।

साथ ही बाएं हाथ से अपने बाएं टखने को छूने की कोशिश करें।

इस पोजिशन में 10 से 30 सेकंड तक रहें।

डिसक्लेमर: उपरोक्त लेख में दी गई जानकारी सिर्फ सामान्य सूचना के लिए हैं, इन्हें पेशेवर चिकित्सा सलाह के रूप में न लें। अपनाने से पूर्व संबंधित विशेषग्य से सलाह लें।

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योग एवं आयुर्वेद

ये वर्कआउट्स डिप्रेशन से लड़ने में हैं मददगार, मूड को रखते हैं हैप्पी  

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नई दिल्ली। भागमभाग वाली जीवनशैली, काम का बोझ, खानपान व अन्य तनावों के चलते आजकल लोग डिप्रेशन में आ जाते हैं, जिसके चलते कभी-कभी हादसे भी हो जाते हैं। डिप्रेशन से लड़ने में कई वर्कआउट्स काफी मददगार साबित हो सकते हैं। तो आइए जानते हैं, डिप्रेशन में किस तरह के वर्कआउट्स फायदेमंद हैं-

  1. रनिंग

रनिंग करने से बॉडी में डोपामाइन और सेरोटोनिन जैसे हॉर्मोन्स का सिक्रिशन होता है और कोर्टिसोल का लेवल घटता है जो स्ट्रेस बढ़ाने वाला हॉर्मोन होता है। तनाव की स्थिति में ये हॉर्मोन ज्यादा बनने लगता है, तो रनिंग इसे कम करने में प्रभावी है। रनिंग से मसल्स बनने के साथ ही हार्ट व ब्रेन भी हेल्दी रहता है।

  1. वेट लिफ्टिंग

वेट लिफ्टिंग के जरिए भी हल्के-फुल्के तनाव और अवसाद के लक्षणों से निपटा जा सकता है। वेट ट्रेनिंग के दौरान पूरा फोकस हाथों और शरीर पर होता है बाकी दूसरी चीज़ों पर ध्यान ही नहीं जाता। वेट लिफ्टिंग से मसल्स टोन्ड और स्ट्रॉन्ग होती है। ओवरऑल बॉडी फिट नजर आती है।

  1. योगा

बिना दौड़भाग के की जाने वाली बहुत ही बेहतरीन फिजिकल एक्टिविटी है योगा। तरह-तरह के शारीरिक मुद्राएं, ब्रीदिंग एक्सरसाइज और मेडिटेशन शरीर के साथ आपके दिमाग पर भी काम करती हैं। तनाव दूर करने के लिए मेडिटेशन का सुझाव एक्सपर्ट्स भी देते हैं। योग के महज 1/2 घंटे के अभ्यास से ही आपको अच्छा फील होगा।

  1. धूप का सेवन

धूप का सेवन तनाव, चिंता और अवसाद को दूर रखने में मददगार होता है। धूप से बॉडी में सेरोटोनिन का प्रोडक्शन होता है जो मूड को हैप्पी रखता है।

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डिस्क्लेमर: उक्त लेख सिर्फ सूचना मात्र हैं। अपनाने से पहले विशेषज्ञों की सलाह अवश्य लें।

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