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तीन तलाक जैसा नहीं है तलाक-ए-हसन, महिलाओं के पास ‘खुला’ का भी विकल्प: SC

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नई दिल्‍ली। सुप्रीम कोर्ट ने कहा है कि तलाक-ए-हसन तीन तलाक जैसा नहीं है। इसमें महिलाओं के पास भी ‘खुला’ का विकल्प है। इस प्रथा में हर तीन महीने में तलाक बोला जाता है। कोर्ट ने कहा कि पहली नजर में हम याचिकाकर्ता से सहमत नहीं हैं। हम नहीं चाहते कि इस मामले में कोई अजेंडा बनाए।

दरअसल, तलाक-ए-हसन के खिलाफ याचिका में कहा गया है कि यह मुस्लिम महिलाओं के साथ भेदभावपूर्ण है। जस्टिस एसके कौल की अगुवाई वाली बेंच ने कहा कि अगर पति और पत्नी एक साथ नहीं रह सकते, तो संविधान के अनुच्छेद 142 के तहत तलाक दिया जा सकता है।

पीठ ने कहा कि यह उस तरीके से तीन तलाक नहीं है। याचिकाकर्ता की वकील पिंकी आनंद ने कहा कि वह याची से मामले में निर्देश लेकर आएंगी। कोर्ट ने सुनवाई 29 अगस्त के लिए टाल दी है।

तलाक-ए-हसन के खिलाफ क्‍या दलीलें?

याचिकाकर्ता ने SC में कहा कि तलाक-ए-हसन का प्रावधान मनमाना है। इसके तहत मुस्लिम पुरुष पत्नी को तीन महीने में एक-एक कर तीन बार तलाक बोलता है और फिर तलाक हो जाता है। याची ने कहा कि यह तलाक का प्रावधान मनमाना और गैर संवैधानिक है।

यह अनुच्छेद-14, 15, 21 और 25 का उल्लंघन करता है। यानी यह प्रावधान समानता के अधिकार, जीवन और स्वच्छंदता के अधिकार और धार्मिक स्वतंत्रता के अधिकार के खिलाफ है। मुस्लिम महिला ने गुहार लगाई है कि केंद्र को निर्देश दिया जाए कि वह इसके लिए गाइडलाइंस बनाए। इसमें तलाक का आधार एक समान हो और यह स्त्री-पुरुष दोनों के मामले में एकसमान होना चाहिए।

सुप्रीम कोर्ट ने क्‍या कहा?

गाजियाबाद की महिला की याचिका जस्टिस संजय किशन कौल और जस्टिस एमएम सुंदरेश की बेंच ने सुनी। अदालत ने कहा कि अगर पति-पत्‍नी साथ न रहना चाहें तो आपसी सहमति से तलाक दिया जा सकता है। अदालत ने कहा कि महिलाओं के पास ‘खुला’ के जरिए तलाक लेने का विकल्‍प है। सुप्रीम कोर्ट ने कहा कि यह इंस्‍टैंट ट्रिपल तलाक जैसा नहीं है जिसे वह गैरकानूनी घोषित कर चुका है।

क्या है तलाक-ए-हसन?

इस्लामी धार्मिक कानूनों में बिना कोर्ट जाए तलाक को मान्यता दी गई है। मुस्लिम पर्सनल लॉ में तलाक-ए-बिद्दत, तलाक-ए-अहसन और तलाक-ए-हसन का जिक्र है। SC से तलाक-ए-बिद्दत (तीन तलाक) खारिज हुआ है, जबकि तलाक-ए-अहसन चलन में नहीं है। तलाक-ए-हसन चलन में है।

तलाक-ए-हसन तीन महीने में पूरा होता है। इसके तहत माहवारी के बाद महिला से पुरुष तलाक कहता है, लेकिन इस दौरान दोनों एक साथ रहते हैं और परिवार के बड़े बुजुर्ग दोनों में सुलह कराने की कोशिश करते हैं। इस दौरान एक-एक महीने के अंतराल पर पुरुष तलाक कहता है और तीन महीने तक अगर सुलह न हो पाए, तो तलाक की प्रक्रिया पूरी होती है।

मुस्लिमों के पास तलाक के अब दो तरीके

सुप्रीम कोर्ट ने 2017 में तलाक-ए-बिद्दत पर रोक लगा दी थी। इस्लामिक पर्सनल लॉ के जानकार डॉ. सैय्यद रिजवान अहमद बताते हैं कि तीन तलाक अब भी जारी है। फर्क यह है कि पहले तलाक चंद सेकंड में हो जाता था, अब उसमें 70 दिन लगते हैं। तलाक-ए-हसन, तलाक-ए-अहसन और तलाक-ए-बिद्दत (इंस्‍टैंट तीन तलाक), इन तीनों में कुछ खास तरह के अंतर हैं।

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पश्चिम बंगाल सरकार ने राज्य में युवाओं के विकास के सभी रास्ते बंद कर दिए हैं: पीएम मोदी

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कोलकाता। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने शुक्रवार को मालदा में एक चुनावी जनसभा को संबोधित किया। उन्होंने कहा कि मेरा बंगाल से ऐसा नाता है जैसे मानो मैं पिछले जन्म में बंगाल में पैदा हुआ था या फिर शायद अगले जन्म में बंगाल में पैदा होना है। इसके साथ ही मोदी ने प्रदेश की सत्तारूढ़ दल तृणमूल कांग्रेस पर खूब हमला बोला। उन्होंने कहा कि पश्चिम बंगाल में तृणमूल कांग्रेस द्वारा किए गए बड़े पैमाने पर भ्रष्टाचार के कारण लगभग 26 हजार परिवारों की शांति और खुशी खत्म हो गई है। पीएम मोदी ने यह बयान कलकत्ता हाईकोर्ट की एक खंडपीठ के हालिया आदेश के संदर्भ में दिया। जिसमें सरकारी स्कूलों में 25 हजार 753 टीचिंग (शिक्षण) और गैर-शिक्षण नौकरियों को रद्द कर दिया गया था।

पीएम मोदी ने आगे कहा, “नौकरियों और आजीविका के इस नुकसान के लिए केवल तृणमूल कांग्रेस जिम्मेदार है। राज्य सरकार ने राज्य में युवाओं के विकास के सभी रास्ते बंद कर दिए हैं। जिन लोगों ने पैसे उधार लेकर तृणमूल कांग्रेस के नेताओं को दिए उनकी हालत तो और भी खराब है।” पीएम मोदी ने राज्य सरकार और सत्तारूढ़ दल पर विभिन्न केंद्र-प्रायोजित योजनाओं के तहत दिए गए केंद्रीय फंड के उपयोग के संबंध में बड़े पैमाने पर भ्रष्टाचार करने का भी आरोप लगाया। पीएम ने कहा, केंद्र सरकार ने राज्य के 80 लाख किसानों के लिए 8 हजार करोड़ रुपये उपलब्ध कराए हैं। लेकिन राज्य सरकार बाधा उत्पन्न कर रही है, इसलिए किसानों को राशि नहीं मिल पा रही है। राज्य सरकार सभी केंद्रीय परियोजनाओं के कार्यान्वयन को खराब करने की कोशिश कर रही है। वे राज्य में आयुष्मान भारत योजना लागू नहीं होने दे रहे। हमारे पास मालदा जिले के आम किसानों के लिए योजनाएं हैं। लेकिन मुझे चिंता है कि तृणमूल कांग्रेस के नेता वहां भी कमीशन की मांग करेंगे। पीएम मोदी ने राज्य के विभिन्न हिस्सों में महिलाओं के यौन उत्पीड़न के लिए जिम्मेदार लोगों को बचाने का प्रयास करने का भी आरोप राज्य सरकार पर लगाया।

उन्होंने कहा कि संदेशखाली में महिलाओं को प्रताड़ित किया गया। मालदा में भी ऐसी ही घटनाओं की खबरें आई थीं। लेकिन तृणमूल कांग्रेस सरकार ने हमेशा आरोपियों को बचाने का प्रयास किया है। पीएम मोदी ने आगे कहा कि कांग्रेस और तृणमूल कांग्रेस के बीच तुष्टिकरण की राजनीति की प्रतिस्पर्धा चल रही है। एक तरफ तृणमूल कांग्रेस पश्चिम बंगाल में अवैध घुसपैठ को बढ़ावा दे रही है। वहीं दूसरी ओर, कांग्रेस आम लोगों से पैसा जब्त करने और इसे केवल उन लोगों के बीच वितरित करने की योजना बना रही है जो उनके समर्पित वोट बैंक का हिस्सा हैं। कांग्रेस और तृणमूल कांग्रेस का गुप्त समझौता है।

 

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