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मुख्य समाचार

नोटबंदी पर पूर्व गर्वनर रघुराम राजन का यह बयान आपको चौंका देगा

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भारतीय रिजर्व बैंक के पूर्व गर्वनर रघुराम राजन ने एक जानकारी शेयर की, जिसे सुन आप निश्चित रूप से चौंक जाएंगे। नोटबंदी पर उनका यह बयान आपको सोचने पर मजबूर कर देगा आखिर इस योजना को प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने शुरू ही क्यों किया।

भारतीय रिजर्व बैंक के पूर्व गर्वनर रघुराम राजन ने बताया कि जब उनसे इस बारे में कहा गया तो विचार-विमर्श के बाद उन्होंने सरकार को चेताया था कि इस का लाभ संभव नही है। उन्होंने कहा कि नोटबंदी सोच-समझ कर बनाई गई योजना नहीं थी और यह उपयोगी भी साबित नहीं हुई है।

राजन ने कैम्ब्रिज के हावर्ड केनेडी स्कूल में बुधवार को कहा, “मैं समझता हूं कि नोटबंदी की योजना सही तरीके से नहीं बनाई गई थी और ना ही इसका कोई लाभ हुआ है। जब यह विचार मेरे सामने रखा गया था तो मैंने अपनी यह राय सरकार को दे दी थी। मुझे ऐसा लगता है कि लोग अपना रास्ता ढूंढ ही लेंगे।”

भारत सरकार ने वर्ष 2016 के 8 नवंबर को काले धन पर काबू पाने के लिए 500 और 1000 रुपए की नोटबंदी की थी।

राजन ने कहा, “नोटबंदी के समय जो नोट बंद किए गए वो प्रचलन की 87.5 फीसदी मुद्रा थी। कोई भी अर्थशास्त्री यह कहेगा कि जब आप 87.5 फीसदी नोट को बंद कर रहे हैं, तो पहले आप सुनिश्चित कर लें कि 87.5 फीसदी या उसके आसपास की संख्या के नए नोट छाप लें। लेकिन भारत में ऐसे किए बिना नोटबंदी कर दी गई।”

उन्होंने कहा, “इसका अर्थव्यवस्था पर काफी नकारात्मक असर पड़ा। विचार ये था कि काला धन निकल कर बाहर आएगा, लोग सरकार के पास अपना धन जमा करेंगे और गलती की माफी मांगेगे। लेकिन ऐसा नहीं हुआ। कोई भी आदमी जिसे भारत के बारे में पता है, वह जानता है कि लोग बहुत जल्द सिस्टम से बचने के तरीके ढूंढ़ लेते हैं।”

पूर्व गर्वनर ने कहा, “हो सकता है कि इसका कोई दीर्घकालिक फायदा हो। लोग ऐसा सोचें की सरकार आगे भी नोट बंद कर सकती है, इसलिए कर चोरी ना करें। लेकिन ऐसा हुआ है, इसका कोई मजबूत साक्ष्य सामने नहीं आया है।”

उन्होंने कहा, “वहीं, इसका नकारात्मक असर यह हुआ कि लोगों के पास भुगतान के लिए धन नहीं था। आर्थिक गतिविधियां रुक गई, खासतौर से असंगठित क्षेत्र में। कई लोगों की नौकरियां चली गई और उसकी कोई गिनती भी नहीं हो पाई, क्योंकि वे असंगठित क्षेत्र में थे।”

वित्त मंत्रालय के जारी आंकड़ों के मुताबिक वित्त वर्ष 2017-18 में कुल 6.84 करोड़ रिटर्न दाखिल हुए, जबकि पिछले वर्ष में रिटर्न दाखिल करनेवालों की संख्या 5.43 करोड़ थी।

वित्त मंत्री अरुण जेटली ने कहा, वित्त वर्ष 2017-18 में प्रत्यक्ष कर संग्रहण 10,02,607 करोड़ रुपए रहा है, जो पिछले वित्त वर्ष से 18 फीसदी अधिक है।

जेटली ने कहा, “आंकड़ों में कर विभाग की दक्षता और ईमानदार करदाताओं की संख्या में वृद्धि का पता चलता है। यह ऐतिहासिक राजस्व प्राप्ति प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के तहत जवाबदेह शासन की पुष्टि करती है।”

इनपुट आईएएनएस

नेशनल

पश्चिम बंगाल सरकार ने राज्य में युवाओं के विकास के सभी रास्ते बंद कर दिए हैं: पीएम मोदी

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कोलकाता। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने शुक्रवार को मालदा में एक चुनावी जनसभा को संबोधित किया। उन्होंने कहा कि मेरा बंगाल से ऐसा नाता है जैसे मानो मैं पिछले जन्म में बंगाल में पैदा हुआ था या फिर शायद अगले जन्म में बंगाल में पैदा होना है। इसके साथ ही मोदी ने प्रदेश की सत्तारूढ़ दल तृणमूल कांग्रेस पर खूब हमला बोला। उन्होंने कहा कि पश्चिम बंगाल में तृणमूल कांग्रेस द्वारा किए गए बड़े पैमाने पर भ्रष्टाचार के कारण लगभग 26 हजार परिवारों की शांति और खुशी खत्म हो गई है। पीएम मोदी ने यह बयान कलकत्ता हाईकोर्ट की एक खंडपीठ के हालिया आदेश के संदर्भ में दिया। जिसमें सरकारी स्कूलों में 25 हजार 753 टीचिंग (शिक्षण) और गैर-शिक्षण नौकरियों को रद्द कर दिया गया था।

पीएम मोदी ने आगे कहा, “नौकरियों और आजीविका के इस नुकसान के लिए केवल तृणमूल कांग्रेस जिम्मेदार है। राज्य सरकार ने राज्य में युवाओं के विकास के सभी रास्ते बंद कर दिए हैं। जिन लोगों ने पैसे उधार लेकर तृणमूल कांग्रेस के नेताओं को दिए उनकी हालत तो और भी खराब है।” पीएम मोदी ने राज्य सरकार और सत्तारूढ़ दल पर विभिन्न केंद्र-प्रायोजित योजनाओं के तहत दिए गए केंद्रीय फंड के उपयोग के संबंध में बड़े पैमाने पर भ्रष्टाचार करने का भी आरोप लगाया। पीएम ने कहा, केंद्र सरकार ने राज्य के 80 लाख किसानों के लिए 8 हजार करोड़ रुपये उपलब्ध कराए हैं। लेकिन राज्य सरकार बाधा उत्पन्न कर रही है, इसलिए किसानों को राशि नहीं मिल पा रही है। राज्य सरकार सभी केंद्रीय परियोजनाओं के कार्यान्वयन को खराब करने की कोशिश कर रही है। वे राज्य में आयुष्मान भारत योजना लागू नहीं होने दे रहे। हमारे पास मालदा जिले के आम किसानों के लिए योजनाएं हैं। लेकिन मुझे चिंता है कि तृणमूल कांग्रेस के नेता वहां भी कमीशन की मांग करेंगे। पीएम मोदी ने राज्य के विभिन्न हिस्सों में महिलाओं के यौन उत्पीड़न के लिए जिम्मेदार लोगों को बचाने का प्रयास करने का भी आरोप राज्य सरकार पर लगाया।

उन्होंने कहा कि संदेशखाली में महिलाओं को प्रताड़ित किया गया। मालदा में भी ऐसी ही घटनाओं की खबरें आई थीं। लेकिन तृणमूल कांग्रेस सरकार ने हमेशा आरोपियों को बचाने का प्रयास किया है। पीएम मोदी ने आगे कहा कि कांग्रेस और तृणमूल कांग्रेस के बीच तुष्टिकरण की राजनीति की प्रतिस्पर्धा चल रही है। एक तरफ तृणमूल कांग्रेस पश्चिम बंगाल में अवैध घुसपैठ को बढ़ावा दे रही है। वहीं दूसरी ओर, कांग्रेस आम लोगों से पैसा जब्त करने और इसे केवल उन लोगों के बीच वितरित करने की योजना बना रही है जो उनके समर्पित वोट बैंक का हिस्सा हैं। कांग्रेस और तृणमूल कांग्रेस का गुप्त समझौता है।

 

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