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मुख्य समाचार

एमएलसी मनोरमा देवी को अदालत से राहत नहीं

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गया रोडरेज मामला, एमएलसी मनोरमा देवी, आदित्य सचदेवा की हत्या, मुख्य आरोपी रॉकी यादव

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गया रोडरेज मामला, एमएलसी मनोरमा देवी, आदित्य सचदेवा की हत्या, मुख्य आरोपी रॉकी यादव

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गया रोडरेज मामला

गया| बिहार के गया में रोडरेज की घटना में 19 वर्षीय छात्र आदित्य सचदेवा की हत्या के मुख्य आरोपी रॉकी यादव की मां और विधान पार्षद (एमएलसी) मनारेमा देवी को सोमवार को अदालत से राहत नहीं मिली। गया की एक अदालत ने मनोरमा देवी की अग्रिम जमानत की याचिका पर सुनवाई टाल दी। गया जिला एवं सत्र न्यायाधीश की अदालत ने मनोरमा की अर्जी पर सुनवाई टालते हुए पुलिस को केस डायरी और अन्य कागजात पेश करने के निर्देश दिए। लोक अभियोजक सुरेन्द्र देव नारायण सिंह ने बताया कि अदालत ने मनोरमा देवी की गिरफ्तारी पर रोक लगाने से भी इनकार कर दिया। उल्लेखनीय है कि मनोरमा देवी ने शुक्रवार को गया की अदालत में अग्रिम जमानत के लिए अर्जी दायर की थी। जिला प्रशासन ने पहले ही उनके हथियारों के तीन लाइसेंस रद्द कर दिए थे।

गौरतलब है कि रॉकी की गिरफ्तारी के लिए एमएलसी के घर हुई छापेमारी के दौरान विदेशी शराब बरामद हुई थी। रामपुर थाने में दर्ज इस मामले में अदालत ने एमएलसी की गिरफ्तारी के लिए वारंट जारी किया है। बिहार में पांच अप्रैल से शराबबंदी है। पुलिस ने मनोरमा देवी की गिरफ्तारी के लिए छापेमारी तेज कर दी है। गया की वरिष्ठ पुलिस अधीक्षक (एसएसपी) गरिमा मलिक के मुताबिक एमएलसी की गिरफ्तारी के लिए गया और झारखंड के विभिन्न क्षेत्रों में छापेमारी की जा रही है। शराब बरामदगी मामले में शुक्रवार की शाम उनके कई ठिकानों और आवासों पर नोटिस भी चिपकाए गए थे। गौरतलब है कि सात मई को रॉकी की लैंड रोवर कार को एक व्यवसायी के बेटे आदित्य सचदेवा ने ओवरटेक किया था, जिसके बाद दोनों में कहासुनी के दौरान रॉकी ने कथित तौर पर आदित्य को गोली मार कर हत्या कर दी थी। इस मामले में रॉकी, उसके पिता बिन्दी यादव और मां मनोरमा देवी के अंगरक्षक राजेश कुमार न्यायिक हिरासत में हैं।

नेशनल

इंदौर से कांग्रेस प्रत्याशी अक्षय कांति ने वापस लिया नामांकन, बीजेपी में होंगे शामिल

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इंदौर। लोकसभा चुनाव से पहले ही इंदौर से कांग्रेस उम्मीदवार अक्षय कांति बम ने अपना नामांकन वापस ले लिया है। अक्षय कांति के इस फैसले फैसले से कांग्रेस को बड़ा झटका लगा है। कलेक्टर कार्यालय में जाकर बीजेपी के उम्मीदवार शंकर लालवानी के सामने उन्होंने अपना पर्चा वापस लिया। इस दौरान बीजेपी के नेता रमेश मेंदोला भी साथ थे। इसके बाद में कैबिनेट मंत्री कैलाश विजयवर्गीय और विधायक मेंदोला के साथ भाजपा कार्यालय के लिए रवाना हो गए। माना जा रहा है कि बम भाजपा की सदस्‍यता लेंगे।

इंदौर कैलाश विजयवर्गीय का गढ़ माना जाता है। विजयवर्गीय इंदौर 1 से विधायक हैं। उन्होंने एक्स पर अक्षय कांति बम की तस्वीर के साथ लिखा, ”इंदौर से कांग्रेस के लोकसभा प्रत्याशी अक्षय कांति बम जी का माननीय प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी, राष्ट्रीय अध्यक्ष जेपी नड्डा, मुख्यमंत्री मोहन यादव और प्रदेश अध्यक्ष वीडी शर्मा के नेतृत्व में बीजेपी में स्वागत है।”

इसके बाद इंदौर सीट पर अब भाजपा के लिए मैदान लगभग साफ हो गया है, उसके सामने निर्दलीय और अन्य दलों के अलावा कोई प्रत्याशी नहीं बचा। नामांकन वापस लेने के बाद अक्षय कांति बम ने कहा कि जब से उन्होंने नामांकन जमा किया था, तब से ही कांग्रेस की ओर से उन्हें कोई सपोर्ट नहीं मिल रहा था। हालांकि, राजनीतिक गलियारों में यह भी कयास लगाए जा रहे हैं कि फॉर्म भरने के बाद से ही कांग्रेस अक्षय कांति पर दबाव बना रही थी।

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