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अन्तर्राष्ट्रीय

प्रधानमंत्री मोदी पहुंचे कनाडा, कई अहम समझौतों की संभावना

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ओटावा | भारतीय-कनाडाई समुदाय भारतीय प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी का यहां जोरदार तरीके से स्वागत करेगा। मोदी के कनाडा के तीन दिवसीय दौरे पर मंगलवार को यहां पहुंचे। मोदी और उनके कनाडाई समकक्ष स्टीफन हार्फर तथा कनाडा की बड़ी कंपनियों के मुख्य अधिशासी अधिकारियों के बीच होने वाली बैठक में व्यापार तथा निवेश मुख्य एजेंडा रहेगा। वह दोनों देशों के बीच 2010 में हुई परमाणु संधि के तहत कनाडा के केमको कॉरपोरेशन से पहली यूरेनियम की आपूर्ति से संबंधित समझौता भी कर सकते हैं। हालांकि प्रस्तावित मुक्त व्यापार समझौता होना संभव नहीं है, लेकिन मोदी की कनाडाई नेताओं के साथ बातचीत के दौरान इस मामले में प्रगति हो सकती है।

जर्मनी से ओटावा हवाई अड्डा पहुंचने पर मोदी का स्वागत कनाडा के बहु-संस्कृतिवादी मंत्री जैसन केनी, कनाडा में भारत के उच्चायुक्त विष्णु प्रकाश और कई भारतवंशी नेताओं ने किया। कनाडा में मोदी के दौरे को लेकर काफी चर्चा हो रही है, क्योंकि पिछले 42 वर्षों में यह किसी भारतीय प्रधानमंत्री की पहली कनाडा यात्रा है। इससे पहले इंदिरा गांधी वर्ष 1973 में बतौर प्रधानमंत्री कनाडा गई थीं। कनाडा के प्रधानमंत्री हालांकि, भारत का नियमित दौरा करते रहे हैं। मोदी फ्रांस और जर्मनी का दौरा समाप्त कर कनाडा पहुंचे हैं।

दोनों पक्षों ने मुक्त व्यापार समझौता करने की कुछ जल्दबाजी दिखाई है, क्योंकि दोनों ने 2015 तक अपने द्विपक्षीय व्यापार को मौजूदा समय से तीन गुना बढ़ाकर 15 अरब डॉलर करने का प्रस्ताव रखा है। लेकिन मौजूदा समय में यह संभव नहीं है, क्योंकि कनाडा, भारत के अस्थाई कामगारों या पर्यटकों को मुक्त प्रवेश की अनुमति नहीं दे रहा और भारत भी कनाडाई सामान के प्रवेश पर ऐसा ही रुख अपनाए हुए हैं। दोनों देशों के बीच द्विपक्षीय व्यापार छह अरब डालर पर रूका हुआ है, जो कि कनाडा के चीन के साथ 60 अरब डॉलर के व्यापार से बहुत कम है। इसके अतिरिक्त कनाडा के विदेशी व्यापार में भारत का हिस्सा सिर्फ एक फीसदी है, जो उवर्रक, लौह-अयस्क, लकड़ी और सरसों का तेल को लेकर होता है। मोदी के आधारभूत संरचना के लिए निवेश को आकर्षित करने और ‘मेक इन इंडिया’ के लिए आधार तैयार करने की कोशिश से 2012 में दोनों देशों के बीच हुई निवेश संधि का सत्यापन तेजी से हो सकता है।

कनाडा की बड़ी कंपनियां बाम्बार्डियर, मैकैन फुड्स लिमिटेड, सन लाइफ फिनानसियल इंक, ब्लैकबेरी, ब्रुकफिल्ड एसेट मैनेजमेंट इंक भी भारत में मौजूद हैं। मोदी अपनी सरकार के विदेशी निवेश के एजेंडे के तहत कनाडाई कंपनियों को प्रभावित करने की कोशिश करेंगे। ऐसी खबरें है कि मोदी कनाडाई लोगों के लिए आगमन पर वीजा की भी घोषणा कर सकते हैं। आधिकारिक चर्चा के बाद मोदी भारतवंशी समुदाय को टोरंटो रिकोच कोलिजियम में संबोधित करेंगे। नवगठित नेशनल एलायंस ऑफ इंडो-कनैडियंस (एनएआईसी) इस कार्यक्रम का आयोजन कर रहा है, जहां स्टीफन हार्पर भी लोगों को संबोधित करेंगे।

अन्तर्राष्ट्रीय

पाकिस्तान ने IMF के आगे फिर फैलाए हाथ, की नए लोन की डिमांड

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इस्लामाबाद। पाकिस्तान ने आईएमएफ के सामने एक बार फिर भीख का कटोरा आगे कर दिया है। पाकिस्तान के पीएम शाहबाज शरीफ ने आईएमएफ की प्रमुख क्रिस्टालिना जॉर्जीवा से मुलाकात कर उनसे नए ऋण कार्यक्रम पर चर्चा की है। पाकिस्तान के प्रधानमंत्री कार्यालय के एक बयान में कहा कि पीएम शहबाज की मुलाकात रियाद में वर्ल्ड इकोनॉमिक फोरम के मौके पर हुई।

रियाद में विश्व आर्थिक मंच (डब्ल्यूईएफ) की एक बैठक से इतर शरीफ ने तीन अरब अमेरिकी डॉलर की अतिरिक्त व्यवस्था (एसबीए) हासिल करने में पाकिस्तान को समर्थन देने के लिए अंतरराष्ट्रीय मुद्रा कोष की प्रबंध निदेशक जॉर्जीवा का शुक्रिया अदा किया। पाकिस्तान ने पिछले साल जून में तीन अरब अमेरिकी डॉलर का आईएमएफ कार्यक्रम हासिल किया था। पाकिस्तान मौजूदा एसबीए के इस महीने समाप्त होने के बाद एक नई दीर्घकालिक विस्तारित कोष सुविधा (ईएफएफ) की मांग कर रहा है।

प्रधानमंत्री कार्यालय की ओर से जारी बयान के नुसार, “दोनों पक्षों ने पाकिस्तान के लिए एक अन्य आईएमएफ कार्यक्रम पर भी चर्चा की ताकि यह सुनिश्चित किया जा सके कि पिछले वर्ष से हासिल लाभ समेकित हो और आर्थिक वृद्धि सकारात्मक बनी रही।’’ शरीफ ने पाकिस्तान की अर्थव्यवस्था को पटरी पर लाने की अपनी सरकार की प्रतिबद्धता दोहराई। वित्त मंत्री मोहम्मद औरंगजेब ने कहा कि इस्लामाबाद जुलाई की शुरुआत तक नए कार्यक्रम पर कर्मचारी स्तर का समझौता हासिल कर सकता है। यदि पाकिस्तान को यह मदद मिल गई तो उसको आईएमएफ की ओर से यह 24वीं सहायता होगी।

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