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कश्मीरी पंडितों की हो उचित घर वापसी : शिवसेना

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मुंबई | शिवसेना ने जम्मू एवं कश्मीर के विस्थापित कश्मीरी पंडितों के उचित और सम्मानजनक पुनर्वास की मांग की है, जिन्हें 25 साल पहले अपने घरों को छोड़ने पर मजबूर होना पड़ा था। पार्टी ने अपने मुखपत्र ‘सामना’ के संपादकीय में मंगलवार को लिखा, “जम्मू एवं कश्मीर में अब भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) तथा पीपुल्स डेमोक्रेटिक पार्टी (पीडीपी) गठबंधन की स्थिर सरकार है और केंद्र में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के नेतृत्व में मजबूत प्रशासन है। जम्मू एवं कश्मीर में चूंकि मुख्यमंत्री मुफ्ती मोहम्मद सईद की सरकार भाजपा के समर्थन से सत्ता में है, इसलिए उन्हें कश्मीरी पंडितों की ‘घर वापसी’ के बारे में जरूर फैसला लेना चाहिए।”

शिवसेना ने कहा कि चरमपंथियों के रिहा करने का सईद का फैसला और उनके पुनर्वास की बात करने से कश्मीरी पंडितों की घर वापसी को लेकर उनके प्रस्ताव पर आशंका पैदा हुई है। पार्टी ने कहा, “सईद ने कश्मीरी पंडितों के लिए अलग इलाका तैयार करने की बात की है.. कहीं यह धरती पुत्रों के लिए झुग्गी या झुग्गी निर्माण परियोजना तो नहीं है?” मुस्लिम समुदाय से मतदान का अधिकार वापस ले लेने की पार्टी की मांग से संबंधित विवाद का उल्लेख करते हुए इसने पूछा कि जम्मू एवं कश्मीर चुनाव में कितने कश्मीरी पंडित मताधिकार का इस्तेमाल कर पाए।

 

पार्टी के मुताबिक, “कुछ लोग मुसलमानों के मताधिकार को लेकर चीख-चिल्ला रहे हैं, लेकिन न ओवैसी (असदुद्दीन ओवैसी) और न ही अन्य धर्मनिरपेक्ष लोगों ने कभी कश्मीरी पंडितों के लिए यह बात कही। धार्मिक आधार पर उम्मीदवारों की जीत सुनिश्चित करने या जम्मू एवं कश्मीर में पाकिस्तान समर्थकों के लिए कश्मीरी पंडितों के मताधिकार समाप्त कर दिए गए।” शिवसेना ने कहा कि सच्चाई यह है कि कश्मीरी पंडितों को उनके घरों को छोड़ कर जाना पड़ा, जिस वजह से पिछले चुनाव में एक भी हिंदू घाटी से विधायक नहीं निर्वाचित हुआ। यह अशुभ संकेत है।

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रायबरेली में होगी अमेठी से भी बड़ी हार, बीजेपी का राहुल गांधी पर निशाना

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लखनऊ। कांग्रेस ने रायबरेली और अमेठी से उम्‍मीदवार कौन होगा? इसपर सस्‍पेंस खत्‍म कर दिया है। पार्टी ने शुक्रवार को नामांकन के आखि‍री द‍िन नई ल‍िस्‍ट जारी कर इन दोनों सीटों पर प्रत्‍याशि‍यों के नाम का एलान कर द‍िया है। कांग्रेस ने अमेठी से केएल शर्मा को टिकट दिया है जबकि कांग्रेस की पारंपरिक सीट रायबरेली से खुद राहुल गांधी चुनाव लड़ेंगे। इसके बाद भाजपा ने राहुल गांधी के रायबरेली से चुनाव लड़ने पर निशाना साधा है।

उपमुख्मंत्री केशव प्रसाद मौर्य ने कहा, ‘राहुल गांधी और गांधी परिवार में अमेठी-रायबरेली से चुनाव लड़ने का साहस नहीं हो रहा है, लेकिन किसी ने उन्हें (राहुल गांधी) समझाया होगा कि पिछली बार सोनिया गांधी इतने मतों से जीत गई थीं इसलिए आप अमेठी न जाकर रायबरेली चलिए। रायबरेली में राहुल गांधी की अमेठी से भी बड़ी पराजय होने जा रही है। हम ये दोनों सीटें तो बहुत बड़ें नंबर से जीतेंगे ही साथ ही उत्तर प्रदेश की 80 की 80 सीटें भी जीतेंगे’

उप मुख्यमंत्री ब्रजेश पाठक ने कहा कि राहुल गांधी पहले अमेठी छोड़कर वायनाड भाग गए थे, अब वायनाड छोड़कर रायबरेली आ गए हैं, रायबरेली के लोग उन्हें कभी स्वीकार नहीं करेंगे। वहीं मध्य प्रदेश के मुख्यमंत्री मोहन यादव ने कहा, ‘प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की तीसरी पारी को लेकर जिस तरह का माहौल बना है, वही कारण है कि कांग्रेस पहले तो तय नहीं कर पा रही थी कि क्या करना चाहिए। पिछली बार राहुल गांधी अमेठी से हार कर केरल की तरफ भागे थे। अब वायनाड से हार की आशंका देखते हुए रायबरेली आ गए। उत्तर प्रदेश का माहौल मोदीमय हो चुका है। हम पुराना रिकॉर्ड भी तोड़ने जा रहे हैं… रायबरेली की जनता भी उनका(राहुल गांधी) इंतजार कर रही है कि कांग्रेस ने पीएम मोदी के बारे में जो भी हल्की बातें कही हैं उसका हिसाब उन्हें देना पड़ेगा।’

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