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नेशनल

पंजाब में जेल से खूंखार आतंकवादी, गैंगस्टर फरार

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नाभा जेल, गैंगस्टर, अमरिंदर सिंह, आईएसआई, सुखबीर सिंह

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नाभा जेल, गैंगस्टर, अमरिंदर सिंह, आईएसआई, सुखबीर सिंह

नाभा जेल

नाभा(पंजाब) | पंजाब की अतिसुरक्षित नाभा जेल पर  हथियारबंद लोगों ने हमला कर दिया और खालिस्तान लिबरेशन फोर्स (केएलएफ) के सरगना हरमिंदर सिंह मिंटू सहित दो आतंकवादियों और चार अन्य गैंगस्टर्स को लेकर फरार हो गए। जेल अधिकारियों ने कहा कि पुलिस की वर्दी में आए हमलावरों ने सुबह करीब 9.30 बजे नाभा जेल की कड़ी सुरक्षा-व्यवस्था में सेंध लगा दी। सुनियोजित हमले के दौरान 100 चक्र गोलियां चलीं।

एक संबंधित घटनाक्रम में पुलिस सूत्रों ने बताया कि पुलिस ने हरियाणा की ओर जाने वाली पटियाला-चीका सड़क पर फरार कैदियों को पकड़ने के लिए लगाए गए एक बैरिकेड पर न रुकने पर एक वाहन पर गोलीबारी की। इस घटना में कुछ लोगों के हताहत होने का पता चला है, लेकिन अभी इसकी पुष्टि नहीं हुई है।

जेल अधिकारियों ने पुलिस को बताया कि हमलावर बाहरी सुरक्षाकर्मियों को यह कहकर जेल परिसर में घुस गए कि वे एक कैदी को सत्यापन के लिए लाए हैं।

जेल से सुबह फरार हुए आतंकवादियों में मिंटू और एक अन्य आतंकवादी कश्मीर गलवाडी भी शामिल है। मिंटू को 2014 में गिरफ्तार किया गया था और उसके खिलाफ 10 मामले चल रहे हैं।

मिंटू कई बार पाकिस्तान जा चुका है और उसे कथित तौर पर इंटर सर्विसिस इंटेलिजेंस (आईएसआई) से प्रशिक्षण मिला था।

फरार अन्य अपराधियों में गैंगस्टर विकी गोंडर, गुरप्रीत सेखोन, नीता देओल और विक्रमजीत भी शामिल हैं।

पंजाब पुलिस महानिदेशक सुरेश अरोड़ा ने चंडीगढ़ में कहा कि वह नाभा रवाना हो रहे हैं।

हथियारों से लैस करीब 10-12 हमलावर एक टोयोटा फॉरच्यूनर एसयूवी सहित दो कारों से जेल परिसर में घुसे थे।

जेल सूत्रों ने बताया कि हमला 10 मिनट से भी कम समय तक चला और जेल के सुरक्षाकर्मी हमले को नाकाम करने में विफल रहे। हमलावरों ने जेल के सुरक्षाकर्मियों की एक एसएलआर (सेल्फ लोडिंग राइफल) भी छीन ली।

पंजाब पुलिस और सुरक्षा एजेंसियों ने इलाके की घेरेबंदी कर ली है और फरार कैदियों को पकड़ने के लिए व्यापक तलाशी अभियान चलाया गया है।

जेल सूत्रों के मुताबिक, जब कैदियों को सुबह के दैनिक कार्यो के लिए उनके बैरकों से बाहर लाया गया, तभी यह हमला हुआ।

प्रत्यक्षदर्शियों ने कहा कि उन्होंने नौ-9.30 बजे के बीच कई चक्र गोलियों की आवाज सुनी।

पंजाब कांग्रेस अध्यक्ष अमरिंदर सिंह ने जेल तोड़ने में बादल सरकार की मिलीभगत का आरोप लगाते हुए कहा, “इस घटना से राज्य में कानून-व्यवस्था की बिगड़ी हालत का पता चलता है और साथ ही विधानसभा चुनाव से पहले फिर से आतंकवाद के पनपने की आशंका बढ़ गई है।”

अमरिंदर ने कहा, “गैंगस्टर्स जिस प्रकार कड़ी सुरक्षा-व्यवस्था वाली जेल में घुस गए और अन्य अभियुक्तों के साथ ही खालिस्तान समर्थक खूंखार आतंकवादी को छुड़ा ले गए, उससे ऊपरी स्तर पर मिलीभगत का पता चलता है।”

पंजाब के उप मुख्यमंत्री और गृहमंत्री सुखबीर सिंह बादल ने स्थिति का ब्योरा लेने के लिए शीर्ष पुलिस अधिकारियों की एक आपात बैठक बुलाई है।

कैदियों द्वारा जेल तोड़कर फरार होने की यह घटना पंजाब में होने वाले विधानसभा चुनाव से दो महीने पहले हुई है। इस घटना को सुरक्षा में बड़ी चूक और खुफिया तंत्र की नाकामी के रूप में देखा जा रहा है।

 

नेशनल

कैंसर से जूझ रहे सीपीआई नेता अतुल कुमार अंजान का निधन, लखनऊ के अस्पताल में ली अंतिम सांस

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लखनऊ। भारतीय कम्युनिस्ट पार्टी (CPI) के राष्ट्रीय सचिव अतुल कुमार अंजान का शुक्रवार को निधन हो गया। वो लखनऊ के मेयो अस्पताल में भर्ती थे जहां उनका काफी समय से कैंसर का इलाज चल रहा था। उनकी हालत दिन ब दिन खराब होती जा रही थी। शुक्रवार को उन्होंने अंतिम सांस ली।

बता दें कि अतुल अंजान ने अपना राजनीतिक सफर 1977 में शुरू किया था। वह सबसे पहले लखनऊ विश्वविद्यालय छात्र संघ के अध्यक्ष चुने गए थे। वह सबसे प्रतिभाशील और सक्रिय कम्युनिस्ट नेताओं में से एक थे।

वह टीवी डिबेट में और कई दूसरे राजनीतिक कार्यक्रमों में लगातार पार्टी का प्रतिनिधित्व करते थे। अपनी राजनीति का लोहा इन्होंने कॉलेज के दिनों से ही मनवा लिया था। छात्र राजनीति में इनके कद का अंदाजा इसी बात से लगा सकते हैं कि अतुल कुमार अंजान 20 साल की उम्र में नेशनल कॉलेज स्टूडेंट्स यूनियन के अध्यक्ष बन गए थे। अतुल कुमार लगातार चार बार लखनऊ विश्वविद्यालय छात्र संघ के अध्यक्ष चुने गए. यूनिवर्सिटी के समय से ही वह लेफ्ट की विचारधारा पर चलते थे।

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