Connect with us
https://www.aajkikhabar.com/wp-content/uploads/2020/12/Digital-Strip-Ad-1.jpg

खेल-कूद

‘भारत दौरा बीच में रद्द होने के लिए सभी पक्ष जिम्मेदार’

Published

on

Loading

सेंट जोंस (एंटिगा)| वेतन विवाद मुद्दा और फिर भारत दौरा रद्द करने संबंधी कारणों का पता लगाने के लिए वेस्टइंडीज क्रिकेट बोर्ड (डब्ल्यूआईसीबी) द्वारा नियुक्त टास्क फोर्स ने कहा कि इस इस विवाद से जुड़ी सभी तीनों पक्षों ने गलतियां कीं। समाचार एजेंसी सीएमसी के अनुसार इसी सप्ताहांत डब्ल्यूआईसीबी को जमा किए रिपोर्ट में टास्क फोर्स ने कहा है कि जहां कैरेबियाई बोर्ड और डब्ल्यूआईपीए ने गलती की है वहीं खिलाड़ियों को भी भारत दौरा बीच में रद्द होने के लिए जिम्मेदारी उठानी होगी।

माइकल गार्डन, डब्ल्यूआईसीबी के पूर्व अध्यक्ष वेस्ले हॉल और बारबाडोस के वरिष्ठ वकील रिचर्ड केल्टेनहाम की सदस्यता वाली इस टास्क फोर्स ने ऐसी परिस्थिति भविष्य में पैदा नहीं होने के लिए आठ सुझाव भी दिए।

टास्क फोर्स ने सुझाव दिया की डब्ल्यूआईसीबी को खिलाड़ियों के साथ विश्वास का माहौल बनाना चाहिए और इस कार्य में वेस्टइंडीज प्लेयर्स एसोसिएशन को भी बड़ी भूमिका निभानी होगी।

गौरतलब है कि इस विवाद को चलते कैरेबियाई खिलाड़ियों ने इसी साल अक्टूबर में चार एकदिवसीय मैचों के बाद भारत दौरा बीच में छोड़ दिया था। वेस्टइंडीज को अभी यहां कोलकाता में पांचवा एकदिवसीय, एक टी-20 और तीन टेस्ट मैच भी खेलने थे।

टास्क फोर्स ने कहा है कि बोर्ड और डब्ल्यूआईपीए कैरेबियाई खिलाड़ियो के साथ वित्तीय व्यवस्था में बड़े बदलाव की कोशिश कर रहे थे। इस कोशिश से पहले हालांकि उन्होंने खिलाड़ियों की रजामंदी नहीं ली।

साथ ही टास्क फोर्स ने कहा, “इस कोशिश के बावजूद हम डब्ल्यूआईसीबी और डब्ल्यूआईपीए की नीयत पर सवाल नहीं उठा रहे। वेस्टइंडीज क्रिकेट के भविष्य को लेकर वे अपनी बात ठीक तरह से खिलाड़ियों को समझाने में नाकाम रहे।”

टास्क फोर्स के अनुसार टीम के कुछ सीनियर खिलाड़ी भी इस दौरे को रद्द करवाने के लिए जिम्मेदार थे।

टास्क फोर्स ने कहा, “किसी भी विदेशी दौरे पर सीनियर खिलाड़ियों की जिम्मेदारी बड़ी होती है। उन्हें अपने व्यवहार से जूनियर खिलाड़ियों के सामने आदर्श पेश करना चाहिए लेकिन भारतीय दौरे में कुछ कैरेबियाई खिलाड़ी ऐसा करने में नाकाम रहे।”

उल्लेखनीय है कि भारतीय क्रिकेट कंट्रोल बोड (बीसीसीआई) द्वारा 4.2 करोड़ डॉलर का हर्जाना लगाए जाने बाद डब्ल्यूआईसीबी ने इस टास्क फोर्स का गठन किया था।

डब्ल्यूआईसीबी ने कहा है कि अभी वह पूरी रिपोर्ट पढ़ रहा है और जल्द ही इस विवाद जुड़ी महत्वपूर्ण घोषणाएं करेगा।

खेल-कूद

NADA ने रेसलर बजरंग पुनिया को अनिश्चित काल के लिए किया निलंबित, ये है वजह

Published

on

Loading

नई दिल्ली। राष्ट्रीय डोपिंग रोधी एजेंसी (नाडा) ने पहलवान बजरंग पुनिया को अनिश्चित काल के लिए निलंबित कर दिया। इस कार्रवाई से बजरंग के पेरिस ओलंपिक में खेलने के सपने पर संकट के बादल छाए हैं। जानकारी के अनुसार बजरंग पुनिया 10 मार्च को सोनीपत में हुए चयन ट्रायल के लिए अपना सैंपल देने में विफल रहे, जिसके बाद नाडा ने उन्हें भविष्य के किसी भी कार्यक्रम में भाग लेने से निलंबित करने का आदेश जारी किया।

भाजपा के पूर्व सांसद और भारतीय कुश्ती महासंघ (डब्ल्यूएफआई) के अध्यक्ष बृजभूषण शरण सिंह पर यौन उत्पीड़न का आरोप लगाने वालों में पुनिया, ओलंपियन साक्षी मलिक और विनेश सहित अन्य शीर्ष पहलवानों की कतार में सबसे आगे थे। निलंबन के बाद टोक्यो ओलंपिक में देश को कांस्य पदक दिलाने वाले पुनिया को इस महीने के अंत में होने वाले चयन ट्रायल में भाग लेने से रोक दिए जाने की संभावना है। 65 किग्रा वर्ग में अभी तक किसी भी भारतीय ने ओलंपिक कोटा नहीं जीता है।

निलंबन पत्र वर्ल्ड यूनाइटेड रेसलिंग (यूडब्ल्यूडब्ल्यू) द्वारा मान्यता प्राप्त भारतीय कुश्ती महासंघ (डब्ल्यूएफआई) की भंग हो चुकी तदर्थ समिति को भेजा गया था। वहीं, बजरंग ने कुछ महीने पहले एक वीडियो जारी कर डोप कलेक्शन किट के एक्पायर होने का आरोप लगाया था। उन्होंने डोप नियंत्रण अधिकारी के निर्देश की अवहेलना की और दावा किया कि नाडा अधिकारियों ने अभी तक उनकी चिंताओं का समाधान नहीं किया है।

Continue Reading

Trending