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अन्तर्राष्ट्रीय

मिस्र के पूर्व राष्ट्रपति मोहम्मद मुर्सी को मौत की सजा

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काहिरा | मिस्र की एक अदालत ने पूर्व राष्ट्रपति मोहम्मद मुर्सी को साल 2011 के जेलब्रेक मामले में मौत की सजा सुनाई है। वेबसाइट अल अहराम की एक रपट के मुताबिक, काहिरा अपराध अदालत ने शनिवार को नेत्रौं जेल ब्रेक मामले में मुर्सी तथा 105 अन्य दोषियों को मौत की सजा सुनाई।

अदालत ने अपने फैसले को परामर्श समीक्षा के लिए देश के ग्रैंड मुफ्ती के पास भेज दिया है। दो जून को इसपर अंतिम फैसला आएगा। मुर्सी तथा 130 अन्य दोषियों पर तत्कालीन राष्ट्रपति होस्नी मुबारक के खिलाफ विद्रोह के दौरान साल 2011 में जेल ब्रेक का आरोप है। वहीं, हमास जासूसी मामले में अदालत ने मुस्लिम ब्रदरहुड के नेताओं मोहम्मद अल-बेल्तागी व खैरत अल-शेतर तथा अन्य 14 दोषियों को मौत की सजा सुनाई। यह फैसला भी परामर्श समीक्षा के लिए ग्रैंड मुफ्ती के पास भेज दिया गया।

इसी मामले में, मुर्सी तथा 35 अन्य को मिस्र को अस्थिर करने के लिए विदेशी ताकतों के साथ साजिश रचने के लिए आरोपित किया गया है। ग्रैंड मुफ्ती की राय आमतौर पर औपचारिक मानी जाती है। दोषियों के पास सजा के खिलाफ अपील का अधिकार है। अल अहराम की रपट के मुताबिक, अगर अदालत दो जून को अपने फैसले में कोई बदलाव नहीं करता है या मुर्सी की अपील मंजूर नहीं होती, तो मिस्र के इतिहास में मुर्सी पहले राष्ट्रपति होंगे जिन्हें फांसी दी जाएगी।

अन्तर्राष्ट्रीय

इब्राहिम रईसी के निधन पर शोक पीएम मोदी ने जताया शोक, कहा- दुःख की इस घड़ी में भारत ईरान के साथ खड़ा है

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नई दिल्ली। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने ईरान के राष्ट्रपति इब्राहिम रईसी के निधन पर शोक जताया है। इब्राहिम रईसी की रविवार को को एक हेलीकॉप्टर दुर्घटना में मौत हो गई थी। पीएम मोदी ने ट्वीट कर लिखा, इस्लामी गणतंत्र ईरान के राष्ट्रपति डॉ. सैयद इब्राहिम रायसी के निधन से मुझे गहरा दुख और सदमा लगा है। भारत-ईरान द्विपक्षीय संबंधों को मजबूत करने में उनके योगदान को हमेशा याद किया जाएगा। उनके परिवार और ईरान के लोगों के प्रति मेरी संवेदना है। दुख की इस घड़ी में भारत ईरान के साथ खड़ा है।

बता दें कि अजरबैजान के घने और पहाड़ी इलाके में रविवार को राष्ट्रपति का विमान क्रैश हो गया था। इसके बाद ईरान की सेना ने हेलीकॉप्टर की तलाश में रेस्क्यू ऑपरेशन चलाया, जिसमें विमान का मलबा मिल गया। हालांकि, दुर्घटनास्थल पर जीवन के कोई संकेत नहीं मिले हैं। रॉयटर्स की रिपोर्ट्स के मुताबिक, हेलीकॉप्टर दुर्घटना के बाद राष्ट्रपति रईसी के जीवित होने की उम्मीदें न के बराबर हैं।

बता दें कि अजरबैजान के जंगल में खराब मौसम की वजह से इब्राहिम रईसी के विमान की आपात लैंडिंग कराई गई थी, जिससे हेलीकॉप्टर दुर्घटनाग्रस्त हो गया। कई घंटों की कड़ी मशक्कत के बाद ईरान की जांच एजेंसियों को विमान का मलबा मिला। इसके बाद ईरानी मीडिया ने हेलीकॉप्टर हादसे में राष्ट्रपति और विदेश मंत्री की मौत की पुष्टि की। ईरानी रेड क्रिसेंट प्रमुख ने बताया कि बचाव टीमें दुर्घटनास्थल पर पहुंच चुकी हैं। इस हादसे में विमान का पूरा केबिन जलकर राख हो गया, जिसमें किसी के जिंदा होने के निशान नहीं मिले हैं। इस बीच ईरानी न्यूज एजेंसी ने बताया कि हादसे में किसी के बचने की कोई उम्मीद नहीं है, क्योंकि राष्ट्रपति का चॉपर पूरी तरह से तबाह हो गया।

ईरान के प्रेस टीवी के अनुसार, रेस्क्यू दल ने ईरानी राष्ट्रपति इब्राहिम रईसी के हेलीकॉप्टर का पता लगा लिया है। दुर्घटनास्थल पर किसी भी जीवित व्यक्ति का कोई सुराग नहीं मिला है। आपको बता दें कि राष्ट्रपति इब्राहिम रईसी पूर्वी अजरबैजान के दौरे गए थे। वे अपने विमान से राजधानी तेहरान लौट रहे थे, तभी उत्तर-पश्चिम में अजरबैजान देश की सीमा से सटे जुल्फा शहर के पास हादसा हो गया। उनके साथ हेलीकॉप्टर में विदेश मंत्री हुसैन अमीर-अब्दुल्लाहियन, पूर्वी अजरबैजान प्रांत के गवर्नर और अन्य अधिकारी मौजूद थे।

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