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प्रादेशिक

नंद गोपाल गुप्ता नन्दी ने मोतीलाल नेहरू मंडलीय चिकित्सालय (काल्विन) में टीकाकरण कार्यों का किया निरीक्षण

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लखनऊ। स्वास्थ सेवाओं को और बेहतर बनाने के लिए उत्तर प्रदेश के नागरिक उड्डयन, अल्पसंख्यक कल्याण, राजनीतिक पेंशन, मुस्लिम वक्फ एवं हज मंत्री व प्रयागराज शहर दक्षिणी विधायक नन्द गोपाल गुप्ता नन्दी ने आज अपने द्वारा गोद लिए हुए प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्र बहादुरगंज का निरीक्षण किया।

जहां जगह- जगह गंदगी मिलने और अवैध कब्जे के कारण स्वास्थ्य कर्मियों के वहां न रुकने की शिकायत पर मंत्री नन्दी ने अवैध तरीके से रह रहे लोगों को बाहर  निकालने के निर्देश दिए। मंत्री नन्दी ने मोतीलाल नेहरू मंडलीय चिकित्सालय (काल्विन) टीकाकरण कार्यों का निरीक्षण किया। जहां की बेहतर व्यवस्था पर मंत्री नन्दी ने प्रसन्नता जताई।

मंत्री नन्दी वर्षों पुराने भवन में अंग्रेजों के जमाने से लगातार आज तक चल रहे प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्र बहादुरगंज में पहुंचे, जहां उन्होंने स्वास्थ्य केंद्र की व्यवस्थाओं को देखा। स्वास्थ्य कर्मियों की उपस्थिति को चेक किया एवं स्वास्थ्य केंद्र की अध्यक्ष डॉक्टर श्रेया पांडे से अन्य व्यवस्थाओं एवं सुविधाओं की जानकारी ली।

डॉक्टर श्रेया पांडे ने बताया कि शाम 5ः00 बजे के बाद स्वास्थ्य कर्मचारी केंद्र पर नहीं रहते हैं घर चले जाते हैं क्योंकि स्वास्थ्य केंद्र में रहने की कोई व्यवस्था नहीं है। कमरे जरूर हैं जिसमें अवैध तरीके से लोग रह रहे हैं अगर कर्मचारियों के रहने की व्यवस्था हो जाए तो 24 घंटे स्वास्थ्य सेवाएं लोगों को उपलब्ध हो सकेगी, जिसमें मंत्री नंदी ने तत्काल संबंधित अधिकारियों को अवैध कब्जा हटाने का निर्देश दिया।

इसके बाद मंत्री नन्दी ने मोती लाल नेहरू मंडलीय हॉस्पिटल (कालविन) में वैक्सीन सेंटर का निरीक्षण किया। जहां की स्वास्थ्य सेवाओं व्यवस्थाओं पर मंत्री नन्दी ने संतुष्टि जताई। टीकाकरण कराने आए लोगों से स्वास्थ्य सेवाओं के बारे में जानकारी ली। इस दौरान सीएमएस डॉक्टर सुषमा श्रीवास्तव मंत्री नन्दी का स्वागत किया।

प्रादेशिक

गुजरात बोर्ड परीक्षा में टॉपर रही छात्रा की ब्रेन हैमरेज से मौत, आए थे 99.70 फीसदी अंक

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अहमदाबाद। गुजरात बोर्ड की टॉपर हीर घेटिया की ब्रेन हैमरेज से मौत हो गई है। 11 मई को गुजरात माध्यमिक और उच्चतर माध्यमिक शिक्षा बोर्ड (GSEB) के नतीजे आए थे। हीर इसके टॉपर्स में से एक थी। उसके 99.70 फीसदी अंक आये थे। मैथ्स में उसके 100 में से 100 नंबर थे। उसे ब्रेन हैमरेज हुआ था। बीते महीने राजकोट के प्राइवेट अस्पताल में उसका ऑपरेशन हुआ था। ऑपरेशन के बाद उसे छुट्टी दे दी गई। वो घर चली गई, लेकिन क़रीब एक हफ़्ते पहले उसे सांस लेने में फिर दिक़्क़त होने लगी और दिल में भी हल्का दर्द होने लगा।

इसके बाद उसे अस्पताल में ICU में भर्ती कराया गया था। हाॅस्पिटल में एमआरआई कराने पर सामने आया कि हीर के दिमाग का 80 से 90 प्रतिशत हिस्सा काम नहीं कर रहा था। इसके बाद हीर को सीसीयू में भर्ती कराया गया। हालांकि डाॅक्टरों की लाख कोशिशों के बाद ही उसे बचाया नहीं जा सका और 15 मई को हीर ने दम तोड़ दिया। हीर की मौत के बाद परिवार ने मिसाल पेश करते हुए उसकी आंखों और शरीर को डोनेट करने का फैसला किया।

हीर के पिता ने कहा, “हीर एक डॉक्टर बनना चाहती थी। हमने उसका शरीर दान कर दिया ताकि भले ही वह डॉक्टर न बन सके लेकिन दूसरों की जान बचाने में मदद कर सकेगी।

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