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प्रादेशिक

राज्यसभा चुनाव : बिगड़ा ‘बुआ-बबुआ’ का खेल, क्या बरकरार रहेगी दोस्ती?

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लखनऊ। उत्तर प्रदेश की 10 राज्यसभा सीटों को लेकर शुक्रवार को हुई वोटिंग में कई विधायकों ने क्रॉस वोटिंग की जिसके चलते बसपा के उम्मीदवार को हार का सामना करना पड़ा और भाजपा अपने नौवें उम्मीदवार को भी राज्यसभा भेजने में सफल हो गई। वोटिंग के आखिरी दो घंटे में हुए इस खेल ने सपा और बसपा की रणनीति पर पानी फेर दिया, जिसके बाद भाजपा के खाते में नौ और सपा के खाते में एक सीट आई, जबकि बसपा खाली हाथ रह गई।

चुनाव में जीत के लिए एक उम्मीदवार को 37 वोटों की जरूरत थी। बीजेपी के 8 और एसपी के 1 प्रत्याशी को पूरे वोट मिल गए लेकिन बीजेपी नौंवे प्रत्याशी अनिल अग्रवाल और बीएसपी के भीमराव आंबेडकर को पूरे वोट नहीं मिले। फिर दूसरे वरीयता के वोटों से फैसला हुआ और बीजेपी उम्मीदवार को जीत मिली। बीजेपी ने बीएसपी को एसपी-कांग्रेस के समर्थन के बावजूद, 37 के जादुई आंकड़े तक पहुंचने से रोक दिया।

इस हार से एसपी और बीसएपी को झटका लगा लेकिन सवाल यह है कि क्या हार से दोनों के बीच दोस्ती में कोई फर्क पड़ेगा? इस पर बीएसपी नेता सतीश चंद्र मिश्रा ने कहा कि उनको समाजवादी पार्टी से कोई शिकायत नहीं है। उन्होंने आरोप लगाते हुए कहा कि योगी सरकार ने पैसे का इस्तेमाल किया और विधायकों को धमकाया भी है सिर्फ इस बात के लिए कि दलित को हराना चाहते थे।

बीएसपी के महासचिव सतीश मिश्रा ने बीजेपी को दलित विरोधी बताया। उन्होंने कहा कि हमने भीमराव अंबेडकर को खड़ा किया था, बीजेपी को इस नाम से ही चिढ़ है। यही वजह है कि उसने पार्टी प्रत्याशी को हराने के लिए हर हथकंडा अपनाया।

उत्तर प्रदेश

अखिलेश यादव ने श्याम लाल पाल को बनाया सपा का नया प्रदेश अध्यक्ष

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लखनऊ। समाजवादी पार्टी ने अपना प्रदेश अध्यक्ष बदल दिया है। पार्टी ने नरेश उत्तम पटेल की जगह श्याम लाल पाल को नया प्रदेश अध्यक्ष बनाया है। बीते साल ही श्याम लाल पाल को प्रदेश उपाध्यक्ष की जिम्मेदारी सौंपी गई थी। वर्तमान में नरेश उत्तम पटेल यूपी की फतेहपुर सीट से लोकसभा चुनाव लड़ रहे हैं। ऐसा कहा जाता है कि वह अखिलेश यादव के करीबी है। ऐसें में चुनाव पर उनका फोकस हो, इसी वजह से अखिलेश यादव ने प्रदेश अध्यक्ष की जिम्मेदारी श्याम लाल पाल को सौंप दी है।

श्यामलाल पाल शिक्षाविद् हैं और एक इंटर कॉलेज से प्रधानाचार्य के पद से सेवानिवृत्त हो चुके हैं। वह लगभग 20 सालों से समाजवादी पार्टी में हैं। श्याम लाल पाल 2002 में अपना दल के टिकट पर प्रतापपुर सीट से विधानसभा का चुनाव भी लड़े चुके थे। हालांकि, इसके कुछ दिन बाद ही वह समाजवादी पार्टी में शामिल हो गए।

वह सपा में अलग-अलग पदों पर रहकर लगातार काम कर रहे हैं। श्याम लाल पाल को प्रदेश अध्यक्ष बनाए जाने पर प्रयागराज के कार्यकर्ताओं ने खुशी जाहिर की है।

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