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तो क्या सेंट फे‍डलिस के फॉदर पर लगे आरोप बेबुनियाद हैं?

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इसाई मिशनरी स्कूडल सेंट फिडलिस, महा‍महिम राज्यीपाल राम नाइक, वाइस प्रिंसिपल लैन्सीम वी. लोबो

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इसाई मिशनरी स्कूडल सेंट फिडलिस, महा‍महिम राज्यीपाल राम नाइक, वाइस प्रिंसिपल लैन्सीम वी. लोबो

st. fedilis

लखनऊ। राजधानी के प्रतिष्ठित इसाई मिशनरी स्‍कूल सेंट फिडलिस में पिछले दिनों एक छात्रा के साथ कथित तौर पर स्‍कूल के वाइस प्रिंसिपल लैन्‍सी वी. लोबो द्वारा की गई अभद्र घटना के मामले में नया मोड़ आता दिख रहा है। ईसाई अल्‍पसंख्‍यक समुदाय, डायोसिस आफ लखनऊ ने महा‍महिम राज्‍यपाल राम नाइक से मिलकर पूरे मामले की जानकारी दी।

ईसाई प्रतिनिधिमंडल ने महा‍महिम के साथ हुई मुलाकात के बारे में एक प्रेस कांफ्रेस में जानकारी देते हुए बताया कि कक्षा आठ में पढ़ने वाली उक्‍त छात्रा पढ़ाई में काफी कमजोर है जिसके कारण पिछली कक्षाओं से भी उसका प्रमोशन बमुश्किल ही हो पाया था। अभिभावकों के इस आश्‍वासन के बाद कि हमारी बेटी प्रथम यूनिट टेस्‍ट से पहले सुधार कर लेगी हमने उसका प्रवेश कक्षा आठ में लिया था जबकि छात्रा इस योग्‍य नहीं थी। प्रथम यूनिट टेस्‍ट में भी कोई सुधार न होता देख अभिभावकों व छात्रा ने जब यह समझ लिया कि अगली कक्षा में प्रमोशन असंभव है तो एक झूठी व आधारहीन कहानी गढ़कर उप प्रधानाचार्य व प्रधानाचार्य को फंसाने का प्रयास किया।

ईसाई प्रतिनिधिमंडल ने बताया कि जिस प्रेमपत्र की बात छात्रा कह रही थी वह उसी के रजिस्‍टर के पन्‍नों पर लिखा गया था। इसके अलावा हमने जो पांच लोगों की कमेटी जांच के लिए बनाई थी उसने पाया कि सारे आरोप बेबुनियाद व झूठे हैं। प्रेमपत्र में हैंडराइटिंग उक्‍त छात्रा की ही पाई गई। सोसायटी के फादरों व सेंट फेडलिस कालेज के लोगों ने बताया कि कथित पीडि़त छात्रा का एक चाचा वकील है जिसके कारण पुलिस वकीलों के एक समूह के दबाव में आकर कार्य कर रही है। हमलोगों का कोई भी बयान नहीं लिया गया है स्‍वयं ही बयान लिखकर अदालत में पेश कर दिया गया है।

स्‍कूल मैनेजमेंट ने महामहिम से भी अपील की है कि मामले की निष्‍पक्ष जांच किसी अन्‍य सक्षम एजेंसी से करवाकर हमें न्‍याय दिलाया जाय। ईसाई प्रतिनिधिमंडल ने यह भी बताया कि पूरे स्‍कूल में 45 सीसीटीवी कैमरे लगे हुए हैं जिसमे पूरी घटना की निष्‍पक्षता छिपी हुई है लेकिन पुलिस ने उसकी जांच करने की जहमत नहीं उठाई।

प्रतिनिधिमंडल ने भी बताया कि पूरे लखनऊ में मिशनरी के तहत 35 स्‍कूलों में वर्षों से सेवाभाव से पढ़ाई का कार्य किया जा रहा है। इन स्‍कूलों ने निकले तमाम बच्‍चे आज देश के सरकारी व गैरसरकारी विभिन्‍न संस्‍थानों में उच्‍च पदों पर आसीन होकर देश की सेवा कर रहे हैं आज तक लखनऊ में ऐसी कोई घटना नहीं हुई जिससे किसी मिशनरी स्‍कूल पर कोई उंगली उठी हो। ईसाई प्रतिनिधिमंडल ने महामहिम राज्‍यपाल और मीडिया से उन्‍हे न्‍याय दिलाने की अपील की है।

प्रतिनिधमंडल में फादर पॉल रोड्रिग्‍स, ब्रदर मैथ्‍यू, फादर रेमिश एक्‍का, सिस्‍टर फ्लोरेन्‍स, फादर मेलविन, फादर रोनाल्‍ड डिसूजा, ब्रदर जॉस थामस, फादर डोनाल्‍ड डिसूजा, फादर लॉरेंस आदि मौजूद रहे।

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नेशनल

दिल्ली के स्कूलों की जांच में कुछ नहीं मिला, पुलिस बोली- ई-मेल्स और कॉल्स फर्जी

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नई दिल्ली। दिल्ली के स्कूलों में बम होने के धमकी भरे ईमेल के बाद जांच की गई तो वहां कुछ नहीं मिला। पुलिस अधिकारियों ने भी इसे होक्स ईमेल बताया है, लेकिन उन्होंने कहा कि चेकिंग जारी रहेगी। गृह मंत्रालय ने कहा कि घबराने की जरूरत नहीं है। ऐसा प्रतीत होता है कि यह फर्जी कॉल है। दिल्ली पुलिस और सुरक्षा एजेंसियां प्रोटोकॉल के मुताबिक जरूरी कदम उठा रही हैं।

वहीं दिल्ली पुलिस ने कहा कि दिल्ली के कुछ स्कूलों को बम की धमकी वाले ई-मेल मिले। दिल्ली पुलिस ने प्रोटोकॉल के तहत ऐसे सभी स्कूलों की गहन जांच की। कुछ भी आपत्तिजनक नहीं मिल। ऐसा प्रतीत होता है कि ये कॉल्स फर्जी हैं। हम जनता से अनुरोध करते हैं कि वे घबराएं नहीं और शांति बनाए रखें।

स्कूल में आए इस धमकी भरे ईमेल के बाद कई स्कूलों ने बच्चों की जल्द छुट्टी का मैसेज पेरेंट्स को भेज दिया, तो कुछ पेरेंट्स अपने बच्चों को स्कूल जाकर पहले ही ले आए। इसके अलावा कई स्कूल के प्रिंसिपल ने पेरेंट्स को मैसेज भेज कर कहा कि घबराने की बात नहीं है।

नोएडा में इंद्रप्रस्थ ग्लोबल स्कूल (आईपीजीएस) की प्रिंसिपल निकिता तोमर मान ने बताया, “मैं लोगों से आग्रह करूंगी कि वे अनावश्यक घबराहट पैदा न करें और इस स्थिति को एक परिपक्व वयस्क के रूप में लें। दिल्ली-एनसीआर के जिन स्कूलों को धमकियां मिलीं, उन्हें खाली करा लिया गया है और हमारे सहित बाकी स्कूल सामान्य रूप से काम कर रहे हैं। कोई धमकी भरा संदेश प्राप्त नहीं हुआ है।”

 

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