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मुख्य समाचार

#भारत, नेपाल के बीच 9 समझौतों पर हस्ताक्षर

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भारत नेपाल संबंध, 9 समझौतों पर हस्ताक्षर, प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और उनके नेपाली समकक्ष के. पी. शर्मा ओली, विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता विकास स्वरूप, विदेश मंत्री सुषमा स्वराज

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नई दिल्ली| नेपाल और भारत के बीच प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और उनके नेपाली समकक्ष के. पी. शर्मा ओली के नेतृत्व में शनिवार को प्रतिनिधिमंडल स्तरीय वार्ता में नौ समझौतों पर हस्ताक्षर हुए। विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता विकास स्वरूप ने ट्वीट कर बताया, “भारत और नेपाल ने साझेदारी और विकास के लिए नौ समझौतों पर हस्ताक्षर किए।” भारत और नेपाल के बीच शनिवार को हुए नौ समझौतों में- भूकंप के बाद पुनर्निर्माण के लिए 25 करोड़ डॉलर के भारतीय अनुदान के उपयोग, नेपाल के तराई क्षेत्र में सड़क के बुनियादी ढांचे के सुधार, सांस्कृतिक साझेदारी, काकरबित्ता बांग्लाबांध कॉरिडोर के माध्यम से नेपाल और बांग्लादेश के बीच पारगमन, विशाखापत्तनम बंदरगाह का संचालन और विशाखापत्तनम से तथा यहां के लिए रेल परिवहन का संचालन शामिल है।

ओली शुक्रवार को छह दिवसीय भारत दौरे पर यहां पहुंचे। यह 2011 के बाद किसी नेपाली प्रधानमंत्री का पहला द्विपक्षीय भारत दौरा है। इससे पहले 2011 में बाबूराम भट्टराई ने भारत का दौरा किया था। वर्ष 2014 में नेपाल के तत्कालीन प्रधानमंत्री सुशील कोइराला, नरेंद्र मोदी के शपथ-ग्रहण समारोह में हिस्सा लेने के लिए भारत आए थे। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने अगस्त 2014 में नेपाल का द्विपक्षीय दौरा किया था, जो 17 वर्षो में किसी भारतीय प्रधानमंत्री का पहला नेपाल दौरा था।

मोदी ने इसके बाद नवम्बर 2014 में काठमांडू में आयोजित दक्षिण एशियाई क्षेत्रीय सहयोग संगठन (सार्क) सम्मेलन में शिरकत की थी। इससे पहले शनिवार को ओली का राष्ट्रपति भवन में औपचारिक स्वागत किया गया, जहां उन्हें ‘गार्ड ऑफ ऑनर’ दिया गया। इसके बाद विदेश मंत्री सुषमा स्वराज ने ओली से मुलाकात की। स्वरूप के मुताबिक, इस मुलाकात के दौरान ओली ने सुषमा से कहा कि भारत और नेपाल के बीच स्वाभाविक और सांस्कृतिक संबंध हैं।

नेशनल

पश्चिम बंगाल सरकार ने राज्य में युवाओं के विकास के सभी रास्ते बंद कर दिए हैं: पीएम मोदी

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कोलकाता। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने शुक्रवार को मालदा में एक चुनावी जनसभा को संबोधित किया। उन्होंने कहा कि मेरा बंगाल से ऐसा नाता है जैसे मानो मैं पिछले जन्म में बंगाल में पैदा हुआ था या फिर शायद अगले जन्म में बंगाल में पैदा होना है। इसके साथ ही मोदी ने प्रदेश की सत्तारूढ़ दल तृणमूल कांग्रेस पर खूब हमला बोला। उन्होंने कहा कि पश्चिम बंगाल में तृणमूल कांग्रेस द्वारा किए गए बड़े पैमाने पर भ्रष्टाचार के कारण लगभग 26 हजार परिवारों की शांति और खुशी खत्म हो गई है। पीएम मोदी ने यह बयान कलकत्ता हाईकोर्ट की एक खंडपीठ के हालिया आदेश के संदर्भ में दिया। जिसमें सरकारी स्कूलों में 25 हजार 753 टीचिंग (शिक्षण) और गैर-शिक्षण नौकरियों को रद्द कर दिया गया था।

पीएम मोदी ने आगे कहा, “नौकरियों और आजीविका के इस नुकसान के लिए केवल तृणमूल कांग्रेस जिम्मेदार है। राज्य सरकार ने राज्य में युवाओं के विकास के सभी रास्ते बंद कर दिए हैं। जिन लोगों ने पैसे उधार लेकर तृणमूल कांग्रेस के नेताओं को दिए उनकी हालत तो और भी खराब है।” पीएम मोदी ने राज्य सरकार और सत्तारूढ़ दल पर विभिन्न केंद्र-प्रायोजित योजनाओं के तहत दिए गए केंद्रीय फंड के उपयोग के संबंध में बड़े पैमाने पर भ्रष्टाचार करने का भी आरोप लगाया। पीएम ने कहा, केंद्र सरकार ने राज्य के 80 लाख किसानों के लिए 8 हजार करोड़ रुपये उपलब्ध कराए हैं। लेकिन राज्य सरकार बाधा उत्पन्न कर रही है, इसलिए किसानों को राशि नहीं मिल पा रही है। राज्य सरकार सभी केंद्रीय परियोजनाओं के कार्यान्वयन को खराब करने की कोशिश कर रही है। वे राज्य में आयुष्मान भारत योजना लागू नहीं होने दे रहे। हमारे पास मालदा जिले के आम किसानों के लिए योजनाएं हैं। लेकिन मुझे चिंता है कि तृणमूल कांग्रेस के नेता वहां भी कमीशन की मांग करेंगे। पीएम मोदी ने राज्य के विभिन्न हिस्सों में महिलाओं के यौन उत्पीड़न के लिए जिम्मेदार लोगों को बचाने का प्रयास करने का भी आरोप राज्य सरकार पर लगाया।

उन्होंने कहा कि संदेशखाली में महिलाओं को प्रताड़ित किया गया। मालदा में भी ऐसी ही घटनाओं की खबरें आई थीं। लेकिन तृणमूल कांग्रेस सरकार ने हमेशा आरोपियों को बचाने का प्रयास किया है। पीएम मोदी ने आगे कहा कि कांग्रेस और तृणमूल कांग्रेस के बीच तुष्टिकरण की राजनीति की प्रतिस्पर्धा चल रही है। एक तरफ तृणमूल कांग्रेस पश्चिम बंगाल में अवैध घुसपैठ को बढ़ावा दे रही है। वहीं दूसरी ओर, कांग्रेस आम लोगों से पैसा जब्त करने और इसे केवल उन लोगों के बीच वितरित करने की योजना बना रही है जो उनके समर्पित वोट बैंक का हिस्सा हैं। कांग्रेस और तृणमूल कांग्रेस का गुप्त समझौता है।

 

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