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लोकसभा अनिश्चितकाल के लिए स्थगित, जीएसटी समेत 13 विधेयक पारित

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लोकसभा की कार्यवाही, अनिश्चितकाल के लिए स्थगित, 18 जुलाई को शुरू हुए मानसून सत्र, जीएसटी विधेयक पारित, लोकसभा अध्यक्ष सुमित्रा महाजन

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लोकसभा की कार्यवाही, अनिश्चितकाल के लिए स्थगित, 18 जुलाई को शुरू हुए मानसून सत्र, जीएसटी विधेयक पारित, लोकसभा अध्यक्ष सुमित्रा महाजन

sumitra mahajan in loksabha

जीएसटी बिल पारित होना सरकार की बड़ी उपलब्धि

नई दिल्ली। लोकसभा की कार्यवाही आज अनिश्चितकाल के लिए स्थगित कर दी गई। 18 जुलाई को शुरू हुए इस मानसून सत्र में जीएसटी विधेयक का पारित होना राजग सरकार की सबसे बड़ी उपलब्धि रही। सदन की 20 बैठकों में 121 घंटे कामकाज हुआ तथा जीएसटी समेत 13 विधेयक पारित हुए।

लोकसभा अध्यक्ष सुमित्रा महाजन ने सदन की कार्यवाही अनिश्चितकाल के लिए स्थगित करने की घोषणा से पूर्व मानसून सत्र में संपन्न कामकाज की जानकारी सदन के समक्ष रखी। उन्होंने बताया कि 16 वीं लोकसभा का 9वां सत्र 18 जुलाई को शुरू हुआ और एक वर्तमान एवं कुछ पूर्व सांसदों के निधन पर दिवंगत नेताओं को श्रद्धांजलि दी गयी। उन्होंने कहा कि सत्र के दौरान कुछ महत्वपूर्ण विधायी एवं वित्तीय कामकाज को पूरा किया गया। इस दौरान 2016.17 के लिए अनुदान की अनुपूरक मांगों एवं संबंधित विनियोग विधेयक को पारित किया गया जिस पर 4 घंटे 53 मिनट चर्चा हुई।

अध्यक्ष ने कहा कि सत्र के दौरान लोकसभा में 14 सरकारी विधेयक पेश किये गए और 13 विधेयक पारित हुए जिनमें भारतीय चिकित्सा परिषद संशोधन विधेयक 2016, दंत चिकित्सक संशोधन विधेयक 2016, बाल श्रम रोकथाम एवं नियमन संशोधन विधेयक 2016, बेनामी लेनदेन रोकथाम विधेयक 2015, रिण वसूल से संबंधित संशोधन विधेयक, कर्मचारी मुआवजा संशोधन विधेयक, कराधान संशोधन विधेयक और कारखाना संशोधन विधेयक 2016 शामिल हैं।

अध्यक्ष ने बताया कि सदन ने राज्यसभा की ओर से जीएसटी से संबंधित 122वें संविधान संशोधन विधेयक में किये गए संशोधनों को पारित किया और राज्यसभा के संशोधनों पर सहमति व्यक्त की। उन्होंने कहा कि सत्र के दौरान 400 तारांकित प्रश्न सूचीबद्ध थे जिसमें से 99 प्रश्नों के मौखित उत्तर दिये गए। यह प्रतिदिन के हिसाब से 4.95 प्रश्न होते हैं। शेष तारांकित प्रश्नों एवं 4600 अतारांकित प्रश्नों के लिखित उत्तर सभापटल पर रखे गए।

सत्र के अंतिम दिन लोकसभा ने कश्मीर की स्थिति पर एक प्रस्ताव पारित किया और वहां लंबे समय से जारी कफ्र्यू, हिंसा तथा लोगों के मारे जाने पर गंभीर चिंता प्रकट की गयी। प्रस्ताव में यह दृढ़ विचार व्यक्त किया गया कि भारत की एकता, अखंडता और राष्ट्रीय सुरक्षा पर कोई समझौता नहीं हो सकता।

नेशनल

जेपी नड्डा का ममता पर हमला, कहा- संदेशखाली में जनता की रक्षा के लिए एनएसजी कमांडो को भी उतरना पड़ा

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नई दिल्‍ली। भाजपा के राष्‍ट्रीय अध्‍यक्ष जेपी नड्डा ने मुख्‍यमंत्री ममता बनर्जी पर तगड़ा हमला बोला है। उन्‍होंने कहा कि ममता दीदी ने बंगाल को क्‍या बना दिया है। जेपी नड्डा ने कहा कि संदेशखाली, ममता बनर्जी की निर्ममता और बर्बरता का संदेश चीख-चीख कर दे रहा है। ममता दीदी ने बंगाल को क्या बना दिया है? जहां रवींद्र संगीत गूंजना चाहिए था, वहां बम-पिस्तौल मिल रहे हैं।

संदेशखाली में जनता की रक्षा के लिए एनएसजी कमांडो को भी उतरना पड़ा। इसी से समझ सकते हैं कि पश्चिम बंगाल में ममता बनर्जी की सरकार ने किस तरह अराजकता फैला रखी है। मैं बंगाल के सभी भाजपा कार्यकर्ताओं और जनता से अपील करता हूं कि आप सभी संदेशखाली पर ममता बनर्जी से जवाब मांगे।

प्रधानमंत्री मोदी ने संदेशखाली की पीड़िता को पार्टी का टिकट देकर भाजपा महिला सशक्तिकरण के संदेश को मजबूती दी है। इसके साथ ही पीएम मोदी ने ममता बनर्जी को जवाब दिया है कि ये महिलाएं अकेली नहीं है उनके साथ पूरा समाज, पूरा देश खड़ा है। संदेशखाली में महिलाओं की इज्जत-आबरू और उनकी जमीनें बचाने के लिए वहां गई जांच एजेंसियों के अधिकारियों पर भी घातक हमला किया गया।

जेपी नड्डा ने आगे कहा, “मैं आज समाचार पढ़ रहा था कि संदेशखाली में तलाशी के दौरान सीबीआई ने तीन विदेशी रिवॉल्वर, पुलिस द्वारा इस्तेमाल की जाने वाली एक रिवॉल्वर, बंदूकें, कई गोलियां और कारतूस बरामद किए हैं।” इसी से समझा जा सकता है कि ममता सरकार ने राज्य में किस तरह अराजकता फैला रखी है। उन्होंने पूछा कि क्या ममता बनर्जी जनता को डराकर, उनकी जान लेकर चुनाव जीतेंगी। क्या नेताजी सुभाष चंद्र बोस, रवीन्द्रनाथ टैगोर, स्वामी विवेकानंद और महर्षि अरबिंदो जैसे मनीषियों ने ऐसे बंगाल की कल्पना की थी।

संदेशखाली में जनता की रक्षा के लिए एनएसजी कमांडो को भी उतरना पड़ा। ममता दीदी, यदि आपको ऐसा लगता है कि आप ऐसा करके चुनाव जीत जाएंगी तो ये आपकी भूल है। जनता आपको इसका करारा जवाब देगी। उन्होंने कहा कि हमने देखा कि ममता सरकार में तृणमूल कांग्रेस के शाहजहां शेख जैसे असामाजिक तत्व संदेशखाली में महिलाओं के अस्तित्व पर खतरा बने हुए हैं। महिलाओं के साथ जिस तरह का सलूक हो रहा है वह सच में बहुत ही संवेदनशील और कष्टदायी है।

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