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यूपी चुनाव: पांचवें चरण में 117 दागी तो 168 उम्मीदवार करोड़पति

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लखनऊ। उत्तर प्रदेश विधानसभा चुनाव के महासमर में जनता का प्रतिनिधित्व के लिए उतरे उम्मीदवारों में दागियों, आपराधिक छवि वालों और करोड़पति नेताओं की भरमार देखने को मिल रही है। पहले, दूसरे, तीसरे और चौथे चरण की तरह पांचवें चरण के विधानसभा चुनाव में भी दागियों की कमी नहीं है। पांचवे चरण के चुनावी मैदान में उतरे 600 से ज्यादा उम्मीदवारों में से 117 यानी 19 प्रतिशत प्रत्याशी आपराधिक छवि वाले हंै। वहीं 168 यानी 27 प्रतिशत उम्मीदवार ऐसे हैं जो करोड़पति की हैसियत रखते हैं।

यह लेखा जोखा शुक्रवार को उत्तर प्रदेश इलेक्शन वॉच और एसोसिएशन फॉर डेमोक्रेटिक र्फिोम्स (एडीआर) ने अपनी रिपोर्ट जारी करते हुए दिया है।

एडीआर ने 11 जिलों की 52 विधानसभा सीटों पर 27 फरवरी को होने वाले उप्र विधानसभा चुनाव के पांचवे चरण में चुनाव लडऩे वाले 617 उम्मीदवारों में से 612 प्रत्याशियों के शपथ पत्रों का विश्लेषण किया। पांचवे चरण में 75 राजनीतिक दलों के 617 उम्मीदवार प्रतिनिधित्व कर रहे हैं, जिनमें 6 राष्ट्रीय दल, 4 क्षेत्रीय दल, 65 गैर मान्यता प्राप्त दल और 220 निर्दलीय उम्मीदवार शामिल है। 22 विधानसभा सीटों पर तीन से अधिक दागी उम्मीदवार मैदान में हैं।

एडीआर रिपोर्ट के मुताबिक पांचवे चरण में 612 उम्मीदवारों में से 117 (19 प्रतिशत) उम्मीदवारों पर आपराधिक मुकदमे चल रहे हैं। इनमें से 96 उम्मीदवारों ने हलफनामे में हत्या, हत्या के प्रयास, अपहरण, महिलाओं के खिलाफ अपराध जैसे गंभीर आपराधिक मामले होने की जानकारी दी है।

रिपोर्ट के मुताबिक बहुजन समाज पार्टी के 51 में से 23 (45 प्रतिशत) उम्मीदवारों पर आपराधिक मामले दर्ज हैं। भाजपा के 51 में से 21 (41 प्रतिशत) उम्मीदवारों पर आपराधिक मामला दर्ज है। आएलडी के 30 में से 08 उम्मीदवारों, सपा के 42 में से 17 (41 प्रतिशत) उम्मीदवारों पर, कांग्रेस के 14 में से 3 (21 प्रतिशत) उम्मीदवारों पर आपराधिक मामले दर्ज हैं।

वहीं 220 निर्दलीय उम्मीदवारों में से 19 पर आपराधिक मुकदमे दर्ज है। बसपा के 51 में से 19 उम्मीदवारों पर गंभीर आपराधिक मामले दर्ज हैं। वहीं भाजपा के 51 उम्मीदवारों से 14 पर गंभीर आपराधिक मामले दर्ज हैं। रालोद के 30 में से 07 उम्मीदवारों पर, सपा के 42 में से 12, कांग्रेस के 14 से दो उम्मीदवारों पर आपराधिक मामले दर्ज हैं। वहीं 220 में से 17 निर्दलीय उम्मीदवारों पर गंभीर आपराधिक मामले दर्ज है।

एडीआर ने अपनी रिपोर्ट में बताया कि पांचवे चरण में 612 में से 168 (27 प्रतिशत) करोड़पति उम्मीदवार हैं। पांचवे चरण में मैदान में उतरे उम्मीदवारों की औसतन आय 1.56 करोड़ रुपये है।

गोंडा के कर्लनगंज सीट से भाजपा प्रत्याशी अजय प्रताप सिंह सबसे अमीर उम्मीदवार घोषित किए गए हैं। उनके पास 49,05,62,192 करोड़ की कुल सम्पत्ति है। वहीं अमेठी की अमेठी सीट से कांग्रेस उम्मीदवार अमीता सिंह के पास 36,77,31,633 करोड़ रुपये की कुल सम्पत्ति हैं। अमेठी की ही तिलोई सीट से भाजपा उम्मीदवार मयंकेश्वर शरण सिंह के पास कुल 32,71,29,454 करोड़ रुपये की सम्पत्ति है।

करोड़पति उम्मीदवारों में बसपा के 43, भाजपा के 38, सपा के 32, कांग्रेस के 14, रालोद के 9 प्रत्याशी शामिल हैं। साथ ही 14 निर्दलीय उम्मीदवार भी करोड़पति हैं। वहीं पांचवे चरण में उतरे 612 में से एक भी उम्मीदवारों ने अपनी संपत्ति शून्य घोषित नहीं की है।

नेशनल

पश्चिम बंगाल सरकार ने राज्य में युवाओं के विकास के सभी रास्ते बंद कर दिए हैं: पीएम मोदी

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कोलकाता। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने शुक्रवार को मालदा में एक चुनावी जनसभा को संबोधित किया। उन्होंने कहा कि मेरा बंगाल से ऐसा नाता है जैसे मानो मैं पिछले जन्म में बंगाल में पैदा हुआ था या फिर शायद अगले जन्म में बंगाल में पैदा होना है। इसके साथ ही मोदी ने प्रदेश की सत्तारूढ़ दल तृणमूल कांग्रेस पर खूब हमला बोला। उन्होंने कहा कि पश्चिम बंगाल में तृणमूल कांग्रेस द्वारा किए गए बड़े पैमाने पर भ्रष्टाचार के कारण लगभग 26 हजार परिवारों की शांति और खुशी खत्म हो गई है। पीएम मोदी ने यह बयान कलकत्ता हाईकोर्ट की एक खंडपीठ के हालिया आदेश के संदर्भ में दिया। जिसमें सरकारी स्कूलों में 25 हजार 753 टीचिंग (शिक्षण) और गैर-शिक्षण नौकरियों को रद्द कर दिया गया था।

पीएम मोदी ने आगे कहा, “नौकरियों और आजीविका के इस नुकसान के लिए केवल तृणमूल कांग्रेस जिम्मेदार है। राज्य सरकार ने राज्य में युवाओं के विकास के सभी रास्ते बंद कर दिए हैं। जिन लोगों ने पैसे उधार लेकर तृणमूल कांग्रेस के नेताओं को दिए उनकी हालत तो और भी खराब है।” पीएम मोदी ने राज्य सरकार और सत्तारूढ़ दल पर विभिन्न केंद्र-प्रायोजित योजनाओं के तहत दिए गए केंद्रीय फंड के उपयोग के संबंध में बड़े पैमाने पर भ्रष्टाचार करने का भी आरोप लगाया। पीएम ने कहा, केंद्र सरकार ने राज्य के 80 लाख किसानों के लिए 8 हजार करोड़ रुपये उपलब्ध कराए हैं। लेकिन राज्य सरकार बाधा उत्पन्न कर रही है, इसलिए किसानों को राशि नहीं मिल पा रही है। राज्य सरकार सभी केंद्रीय परियोजनाओं के कार्यान्वयन को खराब करने की कोशिश कर रही है। वे राज्य में आयुष्मान भारत योजना लागू नहीं होने दे रहे। हमारे पास मालदा जिले के आम किसानों के लिए योजनाएं हैं। लेकिन मुझे चिंता है कि तृणमूल कांग्रेस के नेता वहां भी कमीशन की मांग करेंगे। पीएम मोदी ने राज्य के विभिन्न हिस्सों में महिलाओं के यौन उत्पीड़न के लिए जिम्मेदार लोगों को बचाने का प्रयास करने का भी आरोप राज्य सरकार पर लगाया।

उन्होंने कहा कि संदेशखाली में महिलाओं को प्रताड़ित किया गया। मालदा में भी ऐसी ही घटनाओं की खबरें आई थीं। लेकिन तृणमूल कांग्रेस सरकार ने हमेशा आरोपियों को बचाने का प्रयास किया है। पीएम मोदी ने आगे कहा कि कांग्रेस और तृणमूल कांग्रेस के बीच तुष्टिकरण की राजनीति की प्रतिस्पर्धा चल रही है। एक तरफ तृणमूल कांग्रेस पश्चिम बंगाल में अवैध घुसपैठ को बढ़ावा दे रही है। वहीं दूसरी ओर, कांग्रेस आम लोगों से पैसा जब्त करने और इसे केवल उन लोगों के बीच वितरित करने की योजना बना रही है जो उनके समर्पित वोट बैंक का हिस्सा हैं। कांग्रेस और तृणमूल कांग्रेस का गुप्त समझौता है।

 

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