Connect with us
https://www.aajkikhabar.com/wp-content/uploads/2020/12/Digital-Strip-Ad-1.jpg

प्रादेशिक

कश्मीर : एक दिन की बारिश में बाढ़ जैसे हालात

Published

on

श्रीनगर,कश्मीर में एक दिन की बारिश,बाढ़ जैसे हालात,राज्य सरकार,चक्करदार मार्ग, स्कूली इमारतें,नियंत्रण विभाग

Loading

श्रीनगर | कश्मीर में एक दिन की बारिश से बाढ़ जैसे हालात पैदा हो गए हैं। इसका सीधा संदेश यह है कि पिछले साल आई अप्रत्याशित बाढ़ से राज्य सरकार ने कोई सीख नहीं ली। दक्षिणी कश्मीर के कुलगाम जिले में दो दर्जन से अधिक गांवों को जलप्लावित करने के लिए सिर्फ एक दिन की मध्यम से भारी बारिश काफी थी, जिससे पुल नष्ट हो गए, चक्करदार मार्ग, स्कूली इमारतें बह गईं तथा जम्मू-श्रीनगर राष्ट्रीय राजमार्ग सहित अन्य राजमार्ग बंद हो गए।

अचानक आई बाढ़ के कारण कश्मीर का पहलगाम स्वास्थ्य केंद्र जाने वाला पहाड़ी मार्ग बंद हो गया। श्रीनगर के राजबाग, जवाहर नगर, गोजिबाग और वजीरबाग रिहायशी इलाके के लोगों ने अपने घरेलू चीजों और अमूल्य वस्तुओं को अटारी में रख दिया और रातभर जगकर अपने दोस्तों और रिश्तेदारों से बातें करते रहे। झेलम नदी में जल स्तर संगम तथा दक्षिण कश्मीर के अनंतनाग जिले तथा श्रीनगर के राम मुंशी बाग में खतरे के निशान को पार कर गई। इसके बाद अधिकारियों ने घाटी में 24 जून की सुबह बाढ़ को लेकर हाई अलर्ट जारी कर दिया। हरि सिंह हाई स्ट्रीट और इसके नजदीकी गोनी खोन बाजारों में पानी भूमिगत तल और कुछ दुकानों में घुसना शुरू हो गया, जिसके बाद दुकानदारों ने मध्यरात्रि को अपने सामानों को हटाना शुरू कर दिया।

25 जून की दोपहर से मौसम में सुधार आना शुरू हुआ और घाटी को छोटी-बड़ी नदियों का जलस्तर घटने लगा। राज्य सरकार नदियों के जलस्तर तो बढ़ता देखती रही, वहीं नदियों तथा जलाशयों के बढ़ते जलस्तर ने यह संदेश दिया कि पिछले साल सितंबर में जम्मू एवं कश्मीर में आई अप्रत्याशित बाढ़ से लेकर हालात में अब तक कोई बदलाव नहीं हुआ है। हाईड्रॉलिक इंजीनियर शौकत अहमद ने आईएएनएस को यहां बताया, “पिछली बार चार दिन की बारिश में वो नहीं हुआ था, जो कि सिर्फ एक दिन की बारिश में हो गया। इसका मतलब है कि हमारे जलाशयों की क्षमता खतरे के स्तर तक घट रही है, इसकी वजह साल दर साल जलाशयों में बढ़ता कीचड़ है।”

प्रशासन जहां अप्रभावित रही, स्थानीय बाढ़ नियंत्रण विभाग के इंजीनियर ने यह दलील दी कि किसी भी तरह की अनहोनी को देखते हुए उन्होंने सैंडबैग रखे हैं और आपातकालीन राहत तथा बचाव प्रबंध किए हैं। वहीं, यहां अधिकांश लोगों का मानना है कि कुछ सरकार ने आपदा प्रबंधन तथा प्राकृतिक आपदा से निपटने के लिए काफी कम काम किया है। सेवानिवृत्त मुख्य इंजीनियर नासिर हुसैन नाराजगी भरे स्वर में कहते हैं, “सरकार ने झेलम नदी के जल स्तर का अध्ययन करने तथा मीडिया के समक्ष बाढ़ संबंधी चेतावनी जारी करने के अलावा कोई काम नहीं किया।”

उत्तर प्रदेश

यूपी के जौनपुर में बीजेपी नेता व पत्रकार की गोली मारकर हत्या

Published

on

Loading

जौनपुर। यूपी के जौनपुर में भाजपा नेता की गोली मारकर हत्या कर दी गई। मृतक का नाम आशुतोष श्रीवास्तव है। वो भाजपा के सक्रिय सदस्य होने के साथ ही सुदर्शन न्यूज के पत्रकार थे।

रिपोर्ट्स के मुताबिक, आशुतोष श्रीवास्तव सुबह बाइक से प्रचार के लिए निकले थे। सुबह करीब नौ बजे एक अज्ञात बाइक सवार ने उन्‍हें रोका और चार अन्य लोग भी वहां आ गए। उन्होंने भाजपा नेता पर ताबड़तोड़ गोलीबारी कर दी। आशुतोष को शाहगंज सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र ले जाया गया जहां डॉक्टरों ने उन्हें मृत घोषित कर दिया।

घटना के बाद शाहगंज विधायक रमेश सिंह और अन्य भाजपा नेता भी वहां पहुंच रहेे हैं। क्षेत्राधिकारी अजीत सिंह चौहान ने बताया कि हत्या का मुकदमा दर्ज कर लिया गया है और मामले की जांच की जा रही है।

 

Continue Reading

Trending