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खेल-कूद

विंबलडन : दिग्गज वीनस पस्त, मुगुरुजा बनी चैम्पियन

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लंदन, 15 जुलाई (आईएएनएस)| वेनेजुएला में जन्मीं, स्विट्जरलैंड में रहने वाली और स्पेन के लिए खेलने वाली गार्बीन मुगुरुजा ने शनिवार को अमेरिका की दिग्गज वीनस विलियम्स को हराते हुए साल के तीसरे ग्रैंड स्लैम-विंबलडन का महिला एकल खिताब जीत लिया। सेंटर कोर्ट पर खेले गए खिताबी मुकाबले में 23 साल की मुगुरुजा ने सात बार की ग्रैंड स्लैम विजेता वीनस को 7-5, 6-0 से हराया। यह उनका पहला विंबलडन खिताब है। साथ ही यह उनका दूसरा ग्रैंड स्लैम है। 2016 में मुगुरुजा ने फ्रेंच ओपन जीता था।

दूसरी ओर, 37 साल की वीनस छठी बार विंबलडन खिताब जीतने से चूक गईं। वह मुगुरुजा के सामने पूरी तरह दोयम साबित हुईं। वीनस ने दो बार अमेरिकी ओपन खिताब भी जीता है। वीनस अगर मुगुरुजा को हराने में सफल हो जातीं तो वह इतिहास कायम कर सकती थीं।

वीनस की छोटी बहन सेरेना ने बीते साल 35 साल 125 दिन की उम्र में आस्ट्रेलियन ओपन खिताब जीतकर एक नया इतिहास कायम किया था। वीनस के पास अपनी छोटी बहन को पीछे छोड़ने का मौका था लेकिन मुगुरुजा ने ऐसा नहीं होने दिया।

मजेदार बात यह है कि मुगुरुजा ने बीते साल सेरेना को ही हराकर फ्रेंच ओपन खिताब जीता था। और मजेदार बात यह है कि वीनस 31 अक्टूबर, 1990 को पेशेवर टेनिस खिलाड़ी बनी थीं और उस समय स्पेनिश पिता और वेनेजुएला निवासी मां की पुत्री मुगुरुजा (जन्म : 8 अक्टूबर, 1993) की उम्र एक साल थी।

पहले सेट के खेल को देखते हुए लगा कि दोनों खिलाड़ियों के बीच कड़ी टक्कर होगी। पहले सेट में वीनस थोड़ा बैकफुट पर नजर आईं थीं लेकिन वह आसानी से हार मानने के मूड में नहीं थीं। पहले सेट में बेहतर खेल दिखाने के कारण मुगुरुजा को जीत मिली।

वीनस जैसी अनुभवी खिलाड़ी कभी भी वापसी कर सकती है, यह जानते हुए मुगुरुजा ने अपने दूसरे ग्रैंड स्लैम खिताब की ओर सावधान कदम बढ़ाया। इस सेट में मुगुरुजा ने अपना श्रेष्ठ खेल दिखाते हुए पांच बार की चैम्पियन को बेदम कर दिया और अंतत: 6-0 से सेट अपने नाम विजेता बनीं।

इस मैच में मुगुरुजा ने एक एस लगाया जबकि वीनस ने तीन एस लगाए। पहले और दूसरे सर्व के आधार पर मुगुरुजा बेहतर खिलाड़ी साबित हुईँ। मुगुरुजा ने सिर्फ दो डबल फाल्ट किए जबकि वीनस ने पांच बार डबल फॉल्ट किया। विनर्स में भी वीनस (17) अपनी प्रतिद्वंद्वी (14) से आगे रहीं लेकिन किस्मत उनके साथ नहीं थी।

पूरे मैच में मुगुरुजा ने चार बार वीनस की सर्विस ब्रेक की। उनके हाथ ऐसा करने के सात मौके आए और वह चार को भुनाने में सफल रहीं । दूसरी ओर, वीनस के हाथ तीन बार सर्विस ब्रेक करने के मौके आए लेकिन वह एक बार भी ऐसा नहीं कर सकीं।

मुगुरुजा दो साल पहले भी यहां फाइनल में पहुंची थी लेकिन सेरेना ने उन्हें हराया था। मैच के बाद मुगुरुजा ने कहा, दो साल पहले मैं सेरेना के हाथों हार गई थी। उस समय उन्होंने कहा था कि एक दिन तुम यह खिताब जरूर जीतोगी। लीजिए मैंने कर दिखाया। वीनस एक शानदार खिलाड़ी हैं और मैं उन्हें खेलते देखकर बड़ी हुई हूं। मेरे लिए यह खास पल है।

दूसरी ओर, वीनस ने कहा, मुझे यकीन है कि यह खिताब तुम्हारे और तुम्हारे परिवार के लिए बेहद खास होगा। आज तुम अच्छा खेली। शानदार खेल दिखाया। बधाई।

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खेल-कूद

NADA ने रेसलर बजरंग पुनिया को अनिश्चित काल के लिए किया निलंबित, ये है वजह

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नई दिल्ली। राष्ट्रीय डोपिंग रोधी एजेंसी (नाडा) ने पहलवान बजरंग पुनिया को अनिश्चित काल के लिए निलंबित कर दिया। इस कार्रवाई से बजरंग के पेरिस ओलंपिक में खेलने के सपने पर संकट के बादल छाए हैं। जानकारी के अनुसार बजरंग पुनिया 10 मार्च को सोनीपत में हुए चयन ट्रायल के लिए अपना सैंपल देने में विफल रहे, जिसके बाद नाडा ने उन्हें भविष्य के किसी भी कार्यक्रम में भाग लेने से निलंबित करने का आदेश जारी किया।

भाजपा के पूर्व सांसद और भारतीय कुश्ती महासंघ (डब्ल्यूएफआई) के अध्यक्ष बृजभूषण शरण सिंह पर यौन उत्पीड़न का आरोप लगाने वालों में पुनिया, ओलंपियन साक्षी मलिक और विनेश सहित अन्य शीर्ष पहलवानों की कतार में सबसे आगे थे। निलंबन के बाद टोक्यो ओलंपिक में देश को कांस्य पदक दिलाने वाले पुनिया को इस महीने के अंत में होने वाले चयन ट्रायल में भाग लेने से रोक दिए जाने की संभावना है। 65 किग्रा वर्ग में अभी तक किसी भी भारतीय ने ओलंपिक कोटा नहीं जीता है।

निलंबन पत्र वर्ल्ड यूनाइटेड रेसलिंग (यूडब्ल्यूडब्ल्यू) द्वारा मान्यता प्राप्त भारतीय कुश्ती महासंघ (डब्ल्यूएफआई) की भंग हो चुकी तदर्थ समिति को भेजा गया था। वहीं, बजरंग ने कुछ महीने पहले एक वीडियो जारी कर डोप कलेक्शन किट के एक्पायर होने का आरोप लगाया था। उन्होंने डोप नियंत्रण अधिकारी के निर्देश की अवहेलना की और दावा किया कि नाडा अधिकारियों ने अभी तक उनकी चिंताओं का समाधान नहीं किया है।

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