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प्रादेशिक

महिला स्वावलंबन व सशक्तिकरण पर योगी सरकार की एक और पहल, आत्मनिर्भर हो रहीं महिलाएं

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लखनऊ। योगी सरकार की पहल पर यूपी में महिलाओं को आत्मनिर्भर बनाया जा रहा है। राज्य आजीविका मिशन के तहत गठित स्वयं सहायता समूहों, संकुल स्तरीय संगठनों व ग्राम स्तरीय संगठनों से जुड़ी महिलाओं को स्वावलंबी व आत्मनिर्भर बनाने के लिए प्रभावी व ठोस कदम उठाए जा रहे हैं। इस कड़ी में उत्तर प्रदेश के 832 सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्रों पर स्वयं सहायता समूहों की महिलाओं ने प्रेरणा कैंटीन खोली है। इससे मरीजों सहित तीमारदारों को भी इन दीदी कैफे से ताजा भोजन और नाश्ता मिल रहा है तो समूहों की महिलाएं आत्मनिर्भर होने के साथ अपनी आमदनी भी बढ़ा रही हैं।

यूपी में 832 सीएचसी पर खोली गई कैंटीन

आजमगढ़ में 23, सीतापुर-जौनपुर में 21-21, प्रतापगढ़ व प्रयागराज में 20-20, सहारनपुर में 19 ,रायबरेली में 18, आगरा, बुलंदशहर, गोरखपुर व हरदोई में 17-17, गोंडा, बहराइच, खीरी व उन्नाव में 16- 16, अलीगढ़, बलिया, बाराबंकी व बरेली में 15 -15, बस्ती, बदायूं, कुशीनगर व सुल्तानपुर में 14 -14, अमेठी, गाजीपुर, देवरिया, महाराजगंज, मिर्जापुर व शाहजहांपुर में 13-13, कानपुर देहात में 12, अयोध्या, बिजनौर, झांसी, मथुरा व सिद्धार्थ नगर में 11-11, बलरामपुर, फतेहपुर, कन्नौज, कानपुर नगर, मैनपुरी, मुजफ्फरनगर, व संभल में 10-10, अंबेडकर नगर, फर्रुखाबाद, फिरोजाबाद, हमीरपुर, लखनऊ, मऊ, मेरठ व वाराणसी में 9-9, इटावा, हाथरस, जालौन, कौशांबी व पीलीभीत 8-8, अमरोहा, औरैया, बांदा, एटा, मुरादाबाद, शामली, श्रावस्ती व सोनभद्र में 7-7, चित्रकूट, हापुड़, संत कबीर नगर व संत रविदास नगर में 6-6, बागपत, कासगंज, ललितपुर व रामपुर में 5-5, चंदौली, गाजियाबाद व महोबा में 4-4, गौतमबुद्ध नगर में तीन प्रेरणा कैंटीन चल रही है।

जहां आवागमन अधिक, वहां किया जा रहा कैंटीन का चुनाव

राज्य ग्रामीण आजीविका मिशन की मिशन निदेशक सी० इन्दुमती ने बताया कि योगी सरकार की देखरेख में समूहों की महिलाओं की आमदनी बढ़ाने के लिये विभाग हरसंभव कदम उठा रहा है। महिलाओं को विभिन्न गतिविधियों से जोड़कर उन्हें स्वावलंबी बनाया जा रहा है। उन्होंने बताया कि प्रेरणा कैंटीन संचालन हेतु सामुदायिक निवेश निधि, ग्राम संगठन आजीविका निधि अथवा सीसीएल का उपयोग कराते हुए कैंटीन के लिए ऐसे स्थान का चुनाव किया जाए, जहां आवागमन अधिक है। स्वास्थ्य केन्द्र के अलावा आम जनमानस द्वारा भी कैंटीन का उपयोग किया जा सके तथा समूहों को भी इसका लाभ प्राप्त हो। सभी 832 सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्रों में प्रेरणा कैंटीन समूहों की महिलाओं द्वारा संचालित हो रही हैं। एक तरफ जहां प्रेरणा कैंटीन के जरिए स्वयं सहायता समूह की महिलाओं को आत्मनिर्भर बनने के अवसर मुहैया कराए जा रहे हैं, वहीं सामुदायिक/ प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्रों पर मरीजों व तीमारदारों को पौष्टिक व कम दरों पर भोजन उपलब्ध कराया जा रहा है। जननी सुरक्षा के तहत गर्भवती को भी पौष्टिक भोजन की व्यवस्था हो रही है।

महिलाओं ने संभाली कैंटीन, मरीजों को भी गरमागरम भोजन

अस्पताल में भर्ती रोगियों व तीमारदारों को कैंटीन का गरमागरम भोजन मुहैया कराया जा रहा है। इससे जहां इनका स्वास्थ्य बेहतर हो रहा है, वहीं समूह की यह पहल महिलाओं को आत्मनिर्भरता से भी जोड़ रही है। मिशन ने देश में पहली बार प्रदेश के समस्त सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्रों पर समूह द्वारा संचालित 832 प्रेरणा कैंटीन की स्थापना करते हुए समूह सदस्यों के जीवन में अभूतपूर्व परिवर्तन का मार्ग प्रशस्त किया है।

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ऑफ़बीट

ज्वैलर बाप-बेटे ने अमेरिकी महिला से की ठगी, 300 रु वाली ज्वैलरी 6 करोड़ में बेची

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जयपुर। राजस्थान की राजधानी जयपुर में धोखाधड़ी का एक हैरान कर देने वाला मामला सामने आया है। यहां एक ज्वैलर बाप-बेटे की जोड़ी ने एक अमेरिकी महिला को चूना लगाते हुए 300 रु वाली ज्वेलरी 6 करोड़ में बेच दी। ज्वैलरी खरीदकर महिला वापस अमेरका लौट गई। दो साल बीत गए लेकिन महिला को ज्वेलरी के नकली होने का पता नहीं चला। इस बीच महिला ने अमेरिका में ही एक एग्जीबिशन में स्टॉल लगाई। इस दौरान उसे पता चला कि उसके जेवर नकली हैं। यह सुनते ही उसके होश उड़ गए। वो शिकायत करने के लिए एक महीने पहले वापस जयपुर पहुंची। महिला ने अपने साथ हुई धोखाधड़ी की शिकायत पुलिस से दर्ज कराई है।

पुलिस ने बताया कि जयपुर के एक ज्वैलर पिता-पुत्र ने अमेरिकी नागरिक महिला को 6 करोड़ रुपये के नकली आभूषण बेचे। ये दोनों आरोपी गौरव सोनी और उसके पिता राजेंद्र सोनी फरार हैं। गौरव की पत्नी और बच्चे भी फरार हैं। गौरव सोनी के लिए लुकआउट नोटिस जारी किया गया है। उन्होंने बताया कि महिला ने फरवरी-मार्च में अमेरिका में प्रदर्शनी लगाई। वहां आभूषणों की जांच की जा रही थी, तो उसने कुछ आभूषणों की जांच कराई। उसे पता चला कि सोना 9 कैरेट का है, जबकि हॉलमार्क पेपर में 14 कैरेट का लिखा था। हीरा मोइसैनाइट निकला।

अधिकारी के अनुसार, इसके बाद महिला जयपुर आई और उसने गौरव सोनी से आभूषण बदलने का अनुरोध किया, लेकिन कोई फायदा नहींहुआ। उसने उन्हें पुलिस केस करने की चेतावनी दी, लेकिन उन्होंने उसे रोकने की कोशिश की। गौरव सोनी और उसके पिता ने उसे रोकने का वीडियो पुलिस को भेज दिया और आरोप लगाया कि विदेशी महिला ने उनकी दुकान में लूटपाट की है लेकिन जब जांच हुई तो उसके पास सारे बिल और सबूत थे। इसलिए मामला नहीं बना।

महिला ने अमेरिकी दूतावास में भी शिकायत की। महिला की शिकायत पर मामला दर्ज हुआ और जांच हुई। इसी दौरान महिला की दोनों बाप-बेटों के साथ एक मीटिंग हुई जिसमें वो चेरिस को करीब 3 करोड़ रुपये मुआवजा देने पर सहमत हुए। उन्होंने 2 दिन का समय मांगा लेकिन आखिरी दिन पिता-पुत्र ने अपने मोबाइल फोन बंद कर लिए और फरार हो गए।

पुलिस ने बताया कि इसके बाद हमने उस व्यक्ति को गिरफ्तार किया जिसने ज्वैलरी के झूठे प्रमाण पत्र जारी किए। हमने गौरव सोनी के लिए लुकआउट नोटिस जारी किया है। हम पिता के लिए भी लुकआउट नोटिस जारी करने की कोशिश कर रहे हैं। यह भी पता चला कि गौरव सोनी की पत्नी के नाम पर एक फर्म है और उसे उसी खाते में ज़्यादातर पैसे मिले हैं।

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