Connect with us
https://www.aajkikhabar.com/wp-content/uploads/2020/12/Digital-Strip-Ad-1.jpg

नेशनल

‘UPSC परीक्षा में किन्नरों के लिए नियम नहीं बन सकते’

Published

on

नई दिल्ली,केंद्र सरकार,दिल्ली उच्च न्यायालय,संघ लोक सेवा आयोग,यूपीएससी

Loading

नई दिल्ली | केंद्र सरकार ने बुधवार को दिल्ली उच्च न्यायालय से कहा कि वह संघ लोक सेवा आयोग (यूपीएससी) की परीक्षा के लिए दिए जाने वाले आवेदन में किन्नरों के लिए लिंग का अलग विकल्प देने से संबंधित नियम नहीं बना सकती, क्योंकि सर्वोच्च न्यायालय ने उन्हें लेकर कोई स्पष्ट परिभाषा नहीं दी है। केंद्र सरकार और लोक सेवा आयोग ने न्यायमूर्ति मुक्ता गुप्ता और न्यायमूर्ति पी.एस.तेजी की खंडपीठ को बताया कि किन्नर शब्द पर स्पष्टीकरण देने के लिए एक याचिका दायर की गई है।

केंद्र सरकार ने कहा, “सर्वोच्च न्यायालय ने अपने फैसले में किन्नरों की कोई परिभाषा स्पष्ट नहीं की है, इसलिए हमने उनकी परिभाषा को लेकर स्पष्टीकरण की मांग करने वाली याचिका दायर की है। स्पष्टीकरण के बाद नियम बनाए जा सकते हैं।” न्यायालय एक जनहित याचिका की सुनवाई कर रहा था, जिसमें सिविल सर्विस की प्राथमिक परीक्षा के आवेदन पत्र में उनके लिए विकल्प न रखे जाने संबंधी यूपीएससी की नोटिस को रद्द करने की मांग की गई है। दिल्ली उच्च न्यायालय ने सोमवार को केंद्र सरकार और यूपीएससी से पूछा था कि इसकी प्रारंभिक परीक्षा से संबंधित आवेदन में किन्नरों के लिए लिंग का अलग विकल्प क्यों नहीं है?

अप्रैल 2014 में सर्वोच्च न्यायालय ने किन्नर समुदाय को तीसरा लिंग का दर्जा दिया था और केंद्र सरकार से कहा था कि किन्नरों को सामाजिक तथा आर्थिक रूप से पिछड़ा माना जाए। इससे पहले किन्नरों को अपने लिंग के आगे महिला या फिर पुरुष लिखना पड़ता था। सर्वोच्च न्यायालय ने कहा था कि किन्नरों को तीसरे लिंग से संबंध रखने के आधार पर शिक्षण संस्थानों में प्रवेश मिलेगा और नौकरी मिलेगी। अपनी प्रतिक्रिया में केंद्र सरकार ने कहा कि मामला न्यायालय में विचाराधीन है और आवेदन में बदलाव या स्पष्टीकरण अभी लंबित है। ‘केंद्र सरकार की तरफ से किन्नरों को तीसरा लिंग माने जाने को लेकर न कोई फैसला लिया गया है न ही आदेश दिया गया है।’

सरकार ने कहा, “यूपीएससी के आवेदन पत्र में किन्नरों को इस प्रकार से शामिल किए जाने का काम शुरू नहीं किया गया है।” सरकार ने आगे कहा कि सर्वोच्च न्यायालय ने गे, लेस्बियन, बायसेक्सुअल लोगों को भी किन्नर माना है। इसने कहा, “हालांकि, गे, लेस्बियन, बायसेक्सुअल को लेकर सरकार की राय उनकी यौन इच्छा पर आधारित है, जबकि किन्नर का मामला किसी की लैंगिक पहचान से जुड़ा है।” सरकार ने कोई भी अंतरिम आदेश न जारी किए जाने की मांग करते हुए कहा, “सर्वोच्च न्यायालय के फैसले से ऐसा लगता है कि सभी किन्नरों को तीसरा लिंग माना गया है। हालांकि, किन्नरों की परिभाषा अभी तक स्पष्ट नहीं है।”

वकील जमशेद अंसारी ने अपनी याचिका में यूपीएससी के आवेदन पत्र में किन्नरों के लिए भी लिंग का विकल्प रखने की मांग की है। उनका कहना है कि यह किन्नर समुदाय के लिए फायदेमंद रहेगा, जो रोजगार से वंचित हैं और सामाजिक पिछड़ापन झेल रहे हैं। याचिका में कहा गया है कि तीसरे लिंग का विकल्प शामिल न किए जाने के कारण वे 23 अगस्त को होने वाली परीक्षा के लिए आवेदन नहीं दे पाए।

नेशनल

15 दिन की पैरोल मिलने के बाद जेल से बाहर आए पूर्व बाहुबली विधायक अनंत सिंह, समर्थकों ने किया स्वागत

Published

on

Loading

पटना। पूर्व बाहुबली विधायक अनंत सिंह रविवार को पटना की बेऊर जेल से बाहर निकल गये हैं। गृह विभाग से हरी झंडी मिलने के बाद अनंत सिंह को जेल से 15 दिनों की पैरोल मिली है। वह सुबह लगभग 4:00 बजे जेल से बाहर निकले।आनंद सिंह के जेल से बाहर निकलने की सूचना के साथ ही उनके समर्थकों में काफी उत्साह का माहौल है। अनंत सिंह लगभग 5 वर्षों से जेल में बंद है। अनंत सिंह पर एके 47 रखने का आरोप है, जिसके तहत कोर्ट ने उन्हें 10 वर्ष की सजा सुनाई थी। तब से मोकामा के पूर्व विधायक अनंत सिंह पटना के बेउर जेल में सजायाफ्ता बंदी के रूप में सजा काट रहे हैं।

जानकारी के मुताबिक़ आपसी पारिवारिक बंटवारे को लेकर अनंत सिंह ने न्यायालय में कोर्ट से पैरोल पर इसके लिए आदेश मांगा था। पेरोल पर आदेश मिलने के बाद आनंद सिंह को लेकर गृह विभाग ने यह आदेश जारी किया था। रविवार की अहले सुबह जब अनंत सिंह को 15 दिनों के पैरोल पर बेउर जेल से बाहर निकाला जा रहा था, उस समय जेल के बाहरी एवं भीतरी सुरक्षा को चुस्त दुरुस्त कर दिया गया था।

अनंत सिंह की पत्नी नीलम सिंह वर्तमान में राजद के विधायक हैं। बिहार में वर्तमान में लोकसभा का चुनाव चल रहा है। चौथे चरण 13 में को बिहार के मुंगेर में लोकसभा के चुनाव का मतदान होना है। इसे लेकर भी अनंत सिंह के जेल से बाहर आने को लेकर राजनीतिक गलियारे में चर्चाओं का बाजार गर्म हो गया है।

Continue Reading

Trending