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अन्तर्राष्ट्रीय

फतवा बंदूक से निकली गोली है, जो अपने टार्गेट को हिट किए बिना नहीं रुकेगी

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वॉशिंगटन। अमेरिका के न्यूयॉर्क में कल शुक्रवार को एक कार्यक्रम के दौरान प्रख्यात अंग्रेजी लेखक सलमान रुश्दी पर हमला हुआ। रुश्दी को 15 बार चाकू मारा गया। सलमान रुश्दी अपनी किताब ‘द सैटेनिक वर्सेज’ को लेकर विवादों में आए थे। 1988 से ये किताब ईरान में प्रतिबंधित है।

सलमान रुश्दी पर हुए हमले पर ईरान के समर्थक खुश दिख रहे हैं। 1989 में ईरान की ओर से रुश्दी के खिलाफ फतवा जारी कर मौत की सजा सुनाई गई थी। माना जाता है कि इस किताब ने पैगंबर मोहम्मद और कुरान का अपमान किया गया था, जिसके बाद ईरान के सबसे बड़े धार्मिक नेता अयातुल्ला खुमैनी ने रुश्दी की मौत का आह्वान किया था।

इसके अलावा उन्होंने उन लोगों की जानकारी देने को भी कहा था जो रुश्दी को मार सकते थे। रुश्दी पर हमला करने वाले की पहचान हादी मटर (24) के रूप में हुई है। ईरान ने आधिकारिक तौर पर हमले को लेकर कुछ नहीं कहा है। माना जा रहा है कि मटर ईरानी शासन और इस्लामिक रिवोल्यूशनरी गार्ड के प्रति सहानभूति रखता है।

खुमैनी का पुराना बयान हो रहा शेयर

भले ही ईरान आधिकारिक तौर पर इस मामले पर चुप हो, लेकिन सरकार के समर्थक इस हमले की सराहना कर रहे हैं। समर्थक कह रहे हैं कि खुमैनी का फतवा 33 साल बाद काम कर रहा है। वहीं कुछ इस बात की उम्मीद कर रहे हैं कि रुश्दी की इस हमले में मौत हो जाएगी।

कई चेतावनी दे रहे हैं कि इस्लामिक गणराज्य के दुश्मन इसी तरह का अंजाम भुगतेंगे। इस हमले के बाद ईरान के सुप्रीम लीडर आयतुल्ला खुमैनी का एक पुराना बयान शेयर किया जा रहा है, जिसमें उन्होंने कहा था, ‘रुश्दी के खिलाफ जारी फतवा बंदूक से निकली गोली की तरह है, जो बिना अपने टार्गेट को हिट किए नहीं रुकेगी।’

‘अमेरिका को भी लगेगा डर’

ईरान की परमाणु वार्ता टीम के एक वरिष्ठ सलाहकार सैयद मोहम्मद मरांडी ने कहा कि जो मुस्लिमों और इस्लाम के लिए अंतहीन नफरत और अवमानना की बात करता है वह उस लेखक के लिए आंसू नहीं बहाएंगे।

ईरान रिवोल्यूशनरी गार्ड से जुड़े कई अकाउंट्स में इस हमले की बढ़-चढ़कर सराहना की गई। सीरिया के एक न्यूज आउटलेट ने लिखा कि इससे कोई फर्क नहीं पड़ता कि रुश्दी मरते हैं या नहीं, लेकिन ये हमला दिखाता है कि लड़ाई खत्म नहीं हुई। इसके अलावा लिखा गया कि ईरान के जनरल कासिम सुलेमानी को मारने वाले अमेरिकी अधिकारियों को भी इस हमले से डर लगेगा।

अन्तर्राष्ट्रीय

पाकिस्तान के बलूचिस्तान में खाई में गिरी बस, 28 की मौत

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इस्लामाबाद। पाकिस्तान में बलूचिस्तान में दर्दनाक हादसा हुआ है। यहां एक बस के खाई में गिर जाने से 28 लोगों की मौत हो गई जबकि कई लोग घायल हैं। घायलों को इलाज के लिए अस्पताल में भर्ती कराया गया है।

मीडिया रिपोर्ट के अनुसार, बस ग्वादर से क्वेटा जा रही थी। इसी दौरान बस का एक टायर फट गया और अनियंत्रित होकर नाले में गिर गई। हादसे में घायल लोगों को इलाज के लिए बसिमा सिविल अस्पताल पहुंचाया गया है। सूत्रों ने कहा, कुछ घायलों की हालत गंभीर है, इसलिए मरने वालों की संख्या में इजाफा हो सकता है।” ।

प्रधानमंत्री शहबाज शरीफ और बलूचिस्तान के मुख्यमंत्री मीर सरफराज बुगती ने इस घटना पर गहरा दुख व्यक्त किया है। पीएम शहबाज शरीफ ने कहा कि इस कठिन समय में हम शोक संतप्त परिवारों के साथ खड़े हैं। प्रधानमंत्री शरीफ और बुगती ने अधिकारियों को घायलों को हर संभव चिकित्सा सहायता उपलब्ध कराने का भी आदेश दिया है।

सीएम बुगती ने घायलों के जल्द स्वस्थ होने की प्रार्थना की। पाकिस्तान में सड़कों की हालत खराब होने से अक्सर हादसे होते रहते हैं। इसकी मुख्य वजह निवेश की कमी बताई जा रही है।

 

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