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बिजनेस

एप्पल ने चाइना यूनियनपे से मिलाया हाथ

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बीजिंग। एप्पल और ‘चाइना यूनियनपे’ ने ‘एप्पल पे’ के डिजिटल वॉलेट को चीन में पेश करने के लिए शुक्रवार को हाथ मिलाया। 

कंपनियों के संयुक्त बयान के मुताबिक, चाइना यूनियनपे कार्डधारक अब आईफोन, एप्पल वॉच और आईपैड के जरिए अपने बैंक कार्ड का इस्तेमाल कर सकेंगे। इससे रोजमर्रा की जिंदगी में शॉपिंग करने वालों को सुविधा और सुरक्षा दोनों प्राप्त होगी।

चाइना यूनियनपे के कार्यकारी उपाध्यक्ष चाई होंगफेंग ने कहा, “चाइना यूनियनपे अपने लाखों कार्डधारकों के लिए भुगतान के नवीन साधनों को बढ़ावा देने, सुरक्षा और सुविधाजनक भुगतान के माध्यम उपलब्ध कराने के लिए समर्पित है।”

एप्पल के इंटरनेट सॉफ्टवेयर एंड सर्विसेज के वरिष्ठ उपाध्यक्ष एडी क्यू ने कहा, “चीन एप्पल के लिए सर्वाधिक महत्वपूर्ण बाजार है और चाइना यूनियनपे और चीन के 15 अग्रणी बैंकों की मदद से जल्द ही उपभोक्ताओं को सुविधाजनक, निजी एवं सुरक्षित भुगतान का अनुभव प्राप्त होगा।”

अमेरिका के बाद चीन एप्पल का दूसरा सबसे बड़ा बाजार है।

बिजनेस

Whatsapp ने दी भारत छोड़ने की धमकी, कहा- अगर सरकार ने मजबूर किया तो

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नई दिल्ली। व्हाट्सएप ने गुरुवार को दिल्ली हाईकोर्ट में कहा कि अगर उसे उसे संदेशों के एन्क्रिप्शन को तोड़ने के लिए मजबूर किया गया तो वह भारत में अपनी सेवाएं बंद कर देगा। मैसेजिंग प्लेटफॉर्म की ओर से पेश एक वकील ने कहा कि लोग गोपनीयता के लिए व्हाट्सएप का उपयोग करते हैं और सभी संदेश एंड-टू-एंड एन्क्रिप्टेड हैं।

व्हाट्सऐप का कहना है कि WhatsApp End-To-End Encryption फीचर यूजर्स की प्राइवेसी को सिक्योर रखने का काम करता है। इस फीचर की वजह से ही मैसेज भेजने वाले और रिसीव करने वाले ही इस बात को जान सकते हैं कि आखिर मैसेज में क्या लिखा है। व्हाट्सऐप की तरफ से पेश हुए वकील तेजस करिया ने अदालत में बताया कि हम एक प्लेटफॉर्म के तौर पर भारत में काम कर रहे हैं। अगर हमें एन्क्रिप्शन सिक्योरिटी फीचर को तोड़ने के लिए मजबूर किया जाता है तो व्हाट्सऐप भारत छोड़कर चला जाएगा।

तेजस करिया का कहना है कि करोड़ों यूजर्स व्हाट्सऐप को इसके एन्क्रिप्शन सिक्योरिटी फीचर की वजह से इस्तेमाल करते हैं। इस वक्त भारत में 40 करोड़ से ज्यादा व्हाट्सऐप यूजर्स हैं। यही नहीं उन्होंने ये भी तर्क दिया है कि नियम न सिर्फ एन्क्रिप्शन बल्कि यूजर्स की प्राइवेसी को भी कमजोर बनाने का काम कर रहे हैं।

व्हाट्सऐप के वकील ने बताया कि भारत के अलावा दुनिया में कहीं भी ऐसा कोई नियम नहीं है। वहीं सरकार का पक्ष रखने वाले वकील कीर्तिमान सिंह ने नियमों का बचाव करते हुए कहा कि आज जैसा माहौल है उसे देखते हुए मैसेज भेजने वाले का पता लगाने की जरूरत पर जोर दिया है। कोर्ट इस मामले पर अगली सुनवाई अब 14 अगस्त को करेगा।

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