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अन्तर्राष्ट्रीय

‘टाइटेनिक हिमशिला’ की तस्वीर होगी नीलाम

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'टाइटेनिक हिमशिला' की तस्वीर, नीलाम, वर्ष 1912 में टाइटेनिक जहाज, प्रिंज अडलबर्ट जहाज

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वाशिंगटन| वर्ष 1912 में टाइटेनिक जहाज के डूबने का कारण बनी हिमशिला की एक श्वेत श्याम तस्वीर नीलामी के लिए तैयार है। हिमशिला से टकराने के बाद टाइटेनिक के डूबने के कई घंटों बाद अगले दिन सुबह 15 अप्रैल 1912 को प्रिंज अडलबर्ट जहाज के मुख्य प्रबंधक ने शांत समुद्र के बीच हिमशिला की यह तस्वीर ली थी। सीएनएन की खबर के मुताबिक प्रिंज अडलबर्ट के आने तक टाइटेनिक डूब चुका था और मुख्य प्रबंधक इस दुर्घटना से अनभिज्ञ था। तस्वीर के साथ मुख्य प्रबंधक का लिखा एक नोट इसे खास बनाता है जिसमें उन्होंने लिखा था कि उन्हें हिमशिला पर लाल पेंट स्पष्ट दिखाई दे रहा था जो कि किसी जहाज के टकराने के कारण बना प्रतीत हो रहा था।

तस्वीर कई दशकों तक टाइटेनिक के स्वामित्व वाली कानूनी कंपनी ‘व्हाइट स्टार लाइन’ की दीवारों पर टंगी रही जो 2002 में बंद हो गई। अब कंपनी के चार प्रतिभागियों ने नोट के साथ तस्वीर को नीलाम करने का फैसला किया है। नोट और तस्वीर के लिए हेनरी एलड्रिज और सन नीलामीकर्ता ब्रिटेन ने दस से 15 हजार पाउंड का विक्रयपूर्व अनुमान दिया है। नीलामी 24 अक्टूबर को तय की गई है। टाइटेनिक अपनी पहली यात्रा में अटलांटिक को पार करते हुए हिमशिला से टकरा गया था। 2,200 यात्रियों और चालकदल को ले जा रहे इस जहाज दुर्घटना में 1,517 लोगों की की मौत हो गई थी।

अन्तर्राष्ट्रीय

पाकिस्तान के रक्षा मंत्री का बयान, ‘पाकिस्तान के इस सैन्य तानाशाह को कब्र से निकालकर फांसी पर लटकाना चाहिए’

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नई दिल्ली। पाकिस्तान के रक्षा मंत्री ख्वाजा आसिफ ने नेशनल असेंबली में एक बहस के दौरान कहा कि संविधान को निरस्त करने के लिए अयूब खान के शव को कब्र से निकालकर उसको फांसी पर लटका दिया जाना चाहिए। उन्होंने कहा कि अयूब खान ने संविधान को रद्द करने का जो काम किया था, उसके लिए उनको कभी माफ नहीं किया जा सकता है। आसिफ ने ये कमेंट असेंबली में विपक्ष के नेता और अयूब खान के पोते उमर अयूब खान से बहस के दौरान किया। उमर ने सेना की पिछले सप्ताह की प्रेस कॉन्फ्रेंस पर सवाल उठाते हुए फौज के राजनीति में हस्तक्षेप पर एतराज जताया था। इसके बाद जवाब में ख्वाजा ने कड़ी प्रतिक्रिया दी।

इससे पहले उमर अयूब खान ने कहा कि संविधान के अनुसार सुरक्षा एजेंसियां राजनीति में शामिल नहीं हो सकती हैं। उन्होंने संविधान के विभिन्न अनुच्छेदों का हवाला देते हुए कहा कि सैन्य अधिकारियों की शपथ उन्हें राजनीति में हस्तक्षेप करने की इजाजत नहीं देती। उन्होंने कहा ‘‘सुरक्षा संस्थानों को संविधान के अनुसार, राजनीति में शामिल नहीं होना चाहिए। यह संवाददाता सम्मेलन नहीं होना चाहिए था।’’ उन्होंने अनुच्छेद छह का हवाला देते हुआ कहा कि संविधान को निरस्त करना दंडनीय देशद्रोह है जिसके लिए मौत की सजा तय है। उन्होंने आग्रह किया कि सभी संस्थानों को संवैधानिक सीमाओं के भीतर रहना चाहिए।

रक्षा मंत्री आसिफ ने कहा कि अयूब खान संविधान का उल्लंघन करने वाले पहले व्यक्ति थे और उन्हें अनुच्छेद छह का सामना करने वाला भी पहला व्यक्ति होना चाहिए। रक्षा मंत्री आसिफ ने कहा, “देश में पहला मार्शल लॉ लागू करने वाले झूठे फील्ड मार्शल अयूब खान के शरीर को भी (अनुच्छेद 6 के अनुसार) खोदकर निकाला जाना चाहिए और फांसी दी जानी चाहिए।”

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