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पीएम मोदी ने पुराने दोस्त को देखकर रुकवाया अपना काफिला, पूछा हालचाल

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अहमदाबाद। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी शनिवार को अपनी दो दिवसीय यात्रा पर अपने गृह राज्य गुजरात पहुंच गए हैं। अपनी इस यात्रा का शुभारंभ उन्होंने ऐतिहासिक द्वारकाधीश मंदिर में पूजा-अर्चना के साथ किया।

द्वारकाधीश मंदिर से निकलने के बाद पीएम मोदी का काफिला अचानक रूक गया। इसके बाद मोदी खुद गाड़ी से निकले और एक बुजुर्ग से मुलाक़ात की। बुजुर्ग का नाम हरि‍भाई है और वह पीएम मोदी के पुराने दोस्त हैं। हाल ही मैं उनकी पत्नी की मौत हो गई है और इस बात की जानकारी पीएम मोदी को थी। पीएम मोदी ने उन्हें सांत्वना दी। हरिभाई और पीएम मोदी 52 साल से दोस्त रहे हैं। हरिभाई खुद गुजरात में संघ प्रचारक रह चुके हैं।

बता दें कि पीएम नरेंद्र मोदी दो दिन के गुजरात दौरे पर हैं। इस यात्रा के दौरान मोदी का राज्य के तीन क्षेत्रों में पांच स्थानों पर विभिन्न योजनाओं और परियोजनाओं को पेश करने और छह सार्वजनिक सभाओं को संबोधित करने का कार्यक्रम है।

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सीएम योगी का सपा पर निशाना, कहा- इनके शासनकाल में आतंकवादियों के मुकदमे वापस लिए जाते थे

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उन्नाव। यूपी के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने सोमवार को उन्नाव में एक सभा को संबोधित करते हुए कांग्रेस और सपा पर जमकर हमला बोला। उन्होंने कहा कि सपा-कांग्रेस का इतिहास प्रभु श्रीराम का विरोध करने वाला रहा है। कांग्रेस कहती थी कि प्रभु राम का अस्तित्व ही नहीं है। वहीं, दूसरी तरफ सपा कहती थी कि अयोध्या में एक भी परिंदा पर नहीं मार सकता है, यह इनका दोहरा चरित्र है। सपा के शासनकाल में आतंकवादियों के मुकदमे वापस लिए जाते थे।

सीम योगी ने कहा कि इन लोगों ने अयोध्या, रामपुर में सीआरपीएफ कैंप, काशी में संकटमोचन मंदिर, लखनऊ, अयोध्या और वाराणसी की कचहरी पर हमला करने वाले आतंकियों के मुकदमे वापस लेने का प्रयास किया था। जिस पर कोर्ट ने तल्ख टिप्पणी करते हुए कहा था कि आप इनके मुकदमे वापस लेने की बात कह रहे हैं और कल इन्हें पद्म पुरस्कार से नवाजेंगे।”

उन्होंने कहा कि अयोध्या में जहां एक ओर रामलला विराजमान हो गए हैं। वहीं, दूसरी ओर बड़े-बड़े माफिया की ‘राम नाम सत्य’ हो रही है। इंडिया गठबंधन पर हमला बोलते हुए उन्होंने कहा कि इनके मेनिफेस्टो में अल्पसंख्यकों को खाने-पीने की पूरी स्वतंत्रता देने की बात कही गई है। यह जनता को नहीं बता रहे हैं कि ऐसा कौन सा खान-पान है जो बहुसंख्यक समाज नापसंद करता है। बहुसंख्यक समाज गोमाता की पूजा करता है और वह गोकशी को बर्दाश्त नहीं कर सकता है।

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