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अन्तर्राष्ट्रीय

अफगानिस्तान, पाकिस्तान से विस्तृत वार्ता को तैयार

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अस्ताना, 11 सितंबर (आईएएनएस)| अफगानस्तिान के राष्ट्रपति मोहम्मद अशरफ गनी ने कजाकिस्तान में ऑर्गनाइजेशन ऑफ इस्लामिक कोऑपरेशन (ओआईसी) सम्मलेन के दौरान तुर्की के अपने समकक्ष रेसेप तैयप एर्दोगन से मुलाकात की और अपने रुख की पुष्टि की है कि उनका देश पाकिस्तान के साथ विस्तृत वार्ता के लिए तैयार है। गनी के कार्यालय की ओर से सोमवार को कहा गया कि दोनों पक्षों ने अफगानिस्तान और तुर्की के बीच द्विपक्षीय संबंधों और अफगानस्तिान और पाकिस्तान के बीच उथल-पुथल वाले संबंधों सहित विभिन्न विषयों पर चर्चा की।

राष्ट्रपति एर्दोगन ने कहा कि तुर्की की सरकार अफगानिस्तान और काबुल के बीच रिश्ते सुधारने के लिए महत्वपूर्ण भूमिका निभाने के लिए तैयार है।

गनी ने अफगानिस्तान का समर्थन करने के लिए एर्दोगन का आभार जताया और दोनों देशों के बीच द्विपक्षीय संबंध मजबूत बनाने पर जोर दिया।

उन्होंने कहा कि नई अमेरिकी नीति की घोषणा ने अवसरों के नए दरवाजे खोल दिए हैं और इन अवसरों व उपलब्ध अवसरों के समुचित उपयोग के लिए क्षेत्रीय स्तर पर आवश्यक कदम उठाने पर जोर दिया है।

गनी ने कहा कि अफगानिस्तान इस्लामाबाद के साथ विस्तृत रूप से बात करने के लिए तैयार है और कहा कि क्षेत्र में वर्तमान स्थितियों में बदलाव आना चाहिए।

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अन्तर्राष्ट्रीय

पाकिस्तान के रक्षा मंत्री का बयान, ‘पाकिस्तान के इस सैन्य तानाशाह को कब्र से निकालकर फांसी पर लटकाना चाहिए’

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नई दिल्ली। पाकिस्तान के रक्षा मंत्री ख्वाजा आसिफ ने नेशनल असेंबली में एक बहस के दौरान कहा कि संविधान को निरस्त करने के लिए अयूब खान के शव को कब्र से निकालकर उसको फांसी पर लटका दिया जाना चाहिए। उन्होंने कहा कि अयूब खान ने संविधान को रद्द करने का जो काम किया था, उसके लिए उनको कभी माफ नहीं किया जा सकता है। आसिफ ने ये कमेंट असेंबली में विपक्ष के नेता और अयूब खान के पोते उमर अयूब खान से बहस के दौरान किया। उमर ने सेना की पिछले सप्ताह की प्रेस कॉन्फ्रेंस पर सवाल उठाते हुए फौज के राजनीति में हस्तक्षेप पर एतराज जताया था। इसके बाद जवाब में ख्वाजा ने कड़ी प्रतिक्रिया दी।

इससे पहले उमर अयूब खान ने कहा कि संविधान के अनुसार सुरक्षा एजेंसियां राजनीति में शामिल नहीं हो सकती हैं। उन्होंने संविधान के विभिन्न अनुच्छेदों का हवाला देते हुए कहा कि सैन्य अधिकारियों की शपथ उन्हें राजनीति में हस्तक्षेप करने की इजाजत नहीं देती। उन्होंने कहा ‘‘सुरक्षा संस्थानों को संविधान के अनुसार, राजनीति में शामिल नहीं होना चाहिए। यह संवाददाता सम्मेलन नहीं होना चाहिए था।’’ उन्होंने अनुच्छेद छह का हवाला देते हुआ कहा कि संविधान को निरस्त करना दंडनीय देशद्रोह है जिसके लिए मौत की सजा तय है। उन्होंने आग्रह किया कि सभी संस्थानों को संवैधानिक सीमाओं के भीतर रहना चाहिए।

रक्षा मंत्री आसिफ ने कहा कि अयूब खान संविधान का उल्लंघन करने वाले पहले व्यक्ति थे और उन्हें अनुच्छेद छह का सामना करने वाला भी पहला व्यक्ति होना चाहिए। रक्षा मंत्री आसिफ ने कहा, “देश में पहला मार्शल लॉ लागू करने वाले झूठे फील्ड मार्शल अयूब खान के शरीर को भी (अनुच्छेद 6 के अनुसार) खोदकर निकाला जाना चाहिए और फांसी दी जानी चाहिए।”

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