Connect with us
https://www.aajkikhabar.com/wp-content/uploads/2020/12/Digital-Strip-Ad-1.jpg

मुख्य समाचार

नोटबंदी को लेकर संसद में संग्राम जारी, पीएम मोदी को बुलाने पर अड़ा विपक्ष

Published

on

Loading

Sansad hungamaनई दिल्ली। संसद के दोनों सदनों में नोटबंदी के मुद्दे पर विपक्ष व सत्तापक्ष के बीच जारी घमासान आठवें दिन सोमवार को भी जारी रहा, जिसके कारण सोमवार की कार्यवाही भी हंगामे की भेंट चढ़ गई। लोकसभा में हालांकि सरकार ने अघोषित आय पर भारी कर लगाने को लेकर एक विधेयक पेश किया।

संसद के दोनों सदनों की कार्यवाही सुबह 11 बजे शुरू होने के बाद क्यूबा के क्रांतिकारी नेता फिदेल कास्त्रो के निधन पर उन्हें श्रद्धांजलि दी गई। उनके सम्मान में एक मिनट का मौन रखा गया। इसके बाद, दोनों सदनों में नोटबंदी पर हंगामे के कारण सदनों की कार्यवाही कई बार स्थगित करनी पड़ी। विपक्ष राज्यसभा में प्रधानमंत्री की मौजूदगी तथा लोकसभा में स्थगन प्रस्ताव के तहत नोटबंदी पर चर्चा की मांग को लेकर अड़े रहे।

लोकसभा अध्यक्ष सुमित्रा महाजन ने प्रश्नकाल का संचालन करने का प्रयास किया, लेकिन हंगामे के बीच सदन की कार्यवाही दोपहर 12 बजे तक स्थगित करनी पड़ी। सदन की कार्यवाही दोबारा शुरू होने पर अध्यक्ष ने सदस्यों से नोटबंदी पर बोलने को कहा। कांग्रेस नेता मल्लिकार्जुन खडग़े ने इस स्थिति को आर्थिक अव्यवस्था करार दिया।

उन्होंने कहा, नोटबंदी की सर्वाधिक मार गरीबों पर पड़ी है। वे अपने खुद के खातों से पैसा नहीं निकाल पा रहे हैं। यह आर्थिक अव्यवस्था है। खडग़े ने कहा, हम काले धन को रोकने का समर्थन करते हैं, लेकिन इस तरह से नहीं। उन्होंने लोकसभा अध्यक्ष से स्थगन प्रस्ताव के तहत चर्चा का आग्रह किया। केंद्रीय गृहमंत्री राजनाथ सिंह ने कहा कि नोटबंदी का फैसला देशहित में काफी विचार-विमर्श के बाद लिया गया है।

उन्होंने सदन को आश्वस्त किया कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी सदन में आएंगे और चर्चा में हिस्सा लेंगे। विपक्षी सदस्यों ने हालांकि स्थगन प्रस्ताव शुरू करो की नारेबाजी जारी रखी। सदन में जारी हंगामे के बीच कार्यवाही अपराह्न दो बजे तक स्थगित कर दी गई। सदन की कार्रवाई दोबारा शुरू होने पर हंगामा जारी रहने पर उसे दिन भर के लिए स्थगित कर दिया गया।

वहीं, राज्यसभा में नोटबंदी तथा एकजुट विपक्ष द्वारा इसके विरोध में आहूत आक्रोश दिवस को लेकर सत्ता पक्ष व विपक्ष के बीच तीखी नोकझोंक देखने को मिली, जिसके कारण सदन की कार्यवाही कई बार स्थगित करनी पड़ी। नोटबंदी पर चर्चा के दौरान सदन में प्रधानमंत्री की मौजूदगी की मांग को विपक्षी सदस्यों ने दोहराया और हंगामा किया।

सदन में नेता प्रतिपक्ष गुलाम नबी आजाद ने कहा कि ऐसा पहली बार हो रहा है कि नीति से संबंधित एक महत्वपूर्ण मुद्दे पर संसद के किसी भी सदन में सरकार ने कोई बयान नहीं दिया है। इस बीच, केंद्रीय मंत्री एम.वेंकैया नायडू ने मामले में हस्तक्षेप करते हुए कहा, मैं आपसे (अध्यक्ष) से आग्रह करता हूं कि प्रक्रिया के अनुसार शून्यकाल चलने दें। वे (विपक्ष) जो चाह रहे हैं, उसी पर चर्चा कर रहे हैं।

सदन की कार्यवाही दोबारा शुरू होने पर आजाद ने कहा, ऐसा पहली बार है, जब प्रधानमंत्री ने किसी भी सदन में बयान नहीं दिया है। इस मुद्दे पर दोनों सदनों में चर्चा होनी चाहिए। विमुद्रीकरण के फैसले के बाद से ही कांग्रेस नेता संसद में चर्चा के दौरान प्रधानमंत्री मोदी के मौजूद रहने की मांग कर रहे हैं।

कांग्रेस के वरिष्ठ नेता तथा केंद्रीय वाणिज्य मंत्री आनंद शर्मा ने कहा कि संविधान या किसी भी अन्य कानून ने प्रधानमंत्री को लोगों के अपने पैसे निकालने से रोकने का कोई अधिकार नहीं दिया है। शर्मा ने कहा, यहां तक कि वित्तीय आपातकाल में भी प्रधानमंत्री ऐसा नहीं कर सकते हैं।” उन्होंने कहा कि नोटबंदी अवैध है।

इस पर प्रतिक्रिया जताते हुए केंद्रीय संसदीय मामलों के मंत्री मुख्तार अब्बास नकवी ने कहा कि प्रधानमंत्री सदन में आएंगे और चर्चा का जवाब देंगे। लेकिन, विपक्षी सदस्यों ने उनकी नहीं सुनी और मोदी तथा केंद्र सरकार के खिलाफ नारे लगाना जारी रखा।

विपक्षी सदस्यों ने एक सुर में सुर मिलाते हुए नारा लगाया, मोदी तेरे मन की बात, गरीब खाए पेट पे लात। इसके बाद उपसभापति ने सदन की कार्यवाही पूरे दिन के लिए स्थगित कर दी।

नेशनल

जेपी नड्डा का ममता पर हमला, कहा- संदेशखाली में जनता की रक्षा के लिए एनएसजी कमांडो को भी उतरना पड़ा

Published

on

Loading

नई दिल्‍ली। भाजपा के राष्‍ट्रीय अध्‍यक्ष जेपी नड्डा ने मुख्‍यमंत्री ममता बनर्जी पर तगड़ा हमला बोला है। उन्‍होंने कहा कि ममता दीदी ने बंगाल को क्‍या बना दिया है। जेपी नड्डा ने कहा कि संदेशखाली, ममता बनर्जी की निर्ममता और बर्बरता का संदेश चीख-चीख कर दे रहा है। ममता दीदी ने बंगाल को क्या बना दिया है? जहां रवींद्र संगीत गूंजना चाहिए था, वहां बम-पिस्तौल मिल रहे हैं।

संदेशखाली में जनता की रक्षा के लिए एनएसजी कमांडो को भी उतरना पड़ा। इसी से समझ सकते हैं कि पश्चिम बंगाल में ममता बनर्जी की सरकार ने किस तरह अराजकता फैला रखी है। मैं बंगाल के सभी भाजपा कार्यकर्ताओं और जनता से अपील करता हूं कि आप सभी संदेशखाली पर ममता बनर्जी से जवाब मांगे।

प्रधानमंत्री मोदी ने संदेशखाली की पीड़िता को पार्टी का टिकट देकर भाजपा महिला सशक्तिकरण के संदेश को मजबूती दी है। इसके साथ ही पीएम मोदी ने ममता बनर्जी को जवाब दिया है कि ये महिलाएं अकेली नहीं है उनके साथ पूरा समाज, पूरा देश खड़ा है। संदेशखाली में महिलाओं की इज्जत-आबरू और उनकी जमीनें बचाने के लिए वहां गई जांच एजेंसियों के अधिकारियों पर भी घातक हमला किया गया।

जेपी नड्डा ने आगे कहा, “मैं आज समाचार पढ़ रहा था कि संदेशखाली में तलाशी के दौरान सीबीआई ने तीन विदेशी रिवॉल्वर, पुलिस द्वारा इस्तेमाल की जाने वाली एक रिवॉल्वर, बंदूकें, कई गोलियां और कारतूस बरामद किए हैं।” इसी से समझा जा सकता है कि ममता सरकार ने राज्य में किस तरह अराजकता फैला रखी है। उन्होंने पूछा कि क्या ममता बनर्जी जनता को डराकर, उनकी जान लेकर चुनाव जीतेंगी। क्या नेताजी सुभाष चंद्र बोस, रवीन्द्रनाथ टैगोर, स्वामी विवेकानंद और महर्षि अरबिंदो जैसे मनीषियों ने ऐसे बंगाल की कल्पना की थी।

संदेशखाली में जनता की रक्षा के लिए एनएसजी कमांडो को भी उतरना पड़ा। ममता दीदी, यदि आपको ऐसा लगता है कि आप ऐसा करके चुनाव जीत जाएंगी तो ये आपकी भूल है। जनता आपको इसका करारा जवाब देगी। उन्होंने कहा कि हमने देखा कि ममता सरकार में तृणमूल कांग्रेस के शाहजहां शेख जैसे असामाजिक तत्व संदेशखाली में महिलाओं के अस्तित्व पर खतरा बने हुए हैं। महिलाओं के साथ जिस तरह का सलूक हो रहा है वह सच में बहुत ही संवेदनशील और कष्टदायी है।

Continue Reading

Trending