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शहाबुद्दीन की उम्रकैद की सजा बरकरार, चंदा बाबू बोले- फांसी मिले तो भरे घाव
पटना। पटना हाईकोर्ट ने साल 2004 के बहुचर्चित तेजाब कांड मामले में राजद के पूर्व सांसद मोहम्मद शहाबुद्दीन की उम्रकैद की सजा बुधवार को बरकरार रखी। जस्टिस केके मंडल और जस्टिस संजय कुमार ने सिवान की एक स्पेशल कोर्ट ने फैसले के खिलाफ शहाबुद्दीन की ओर से दायर याचिका खारिज कर दी। इस पर प्रतिक्रिया देते हुए अपीलकर्ता चंदा बाबू ने कहा कि दर्द कुछ हद तक कम जरूर हुआ है, लेकिन घाव तो फांसी की सजा से ही भरेगा। इसके लिए उनके वकील प्रशांत भूषण सुप्रीम कोर्ट में अपील करेंगे।
बता दें कि सीवान के कारोबारी चंदा बाबू के दो बेटों गिरीश राज उर्फ निक्कू और सतीश राज उर्फ सोनू को तेजाब डालकर मार डालने के अपराध में पूर्व सांसद को 11 दिसंबर 2015 को उम्रकैद की सजा सुनाई थी। शहाबुद्दीन के अलावा इस मामले के अन्य दोषियों-राजकुमार साह, मुन्ना मियां एवं शेख असलम- को भी उम्रकैद की सजा सुनायी गई थी। हाईकोर्ट ने शहाबुद्दीन के अलावा इन तीनों की उम्रकैद भी बरकरार रखी है।
चंदा बाबू ने कहा कि शहाबुद्दीन ने उनके बेटों को ही नहीं, बल्कि पूरे परिवार का जीवन ही छीन लिया है। इसके लिए फांसी की भी सजा कम होगी। उन्होंने कहा कि इस लड़ाई में उनका सब कुछ लुट गया है। बेटे मारे गए। दुकानें टूट गईं। जो जमा पूंजी थी, वह कानूनी लड़ाई में खर्च हो गई। अब तो खाने के भी लाले पड़े हैं। सरकार कुछ मदद कर दे तो उनको राहत मिल जाएगी।
गौरतलब है कि शहाबुद्दीन फिलहाल दिल्ली की तिहाड़ जेल में बंद हैं। शहाबुद्दीन को निचली कोर्ट द्वारा उम्र कैद की सजा सुनायी गयी थी। इस फैसले को चुनौती देते हुए शहाबुद्दीन के वकील ने पटना हाईकोर्ट में इस संबंध में एक याचिका दायर की थी।
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628 को उम्रकैद, 37 को दिलवाई फांसी, जानें कौन हैं मुंबई उत्तर मध्य सीट से बीजेपी उम्मीदवार उज्जवल निकम
मुंबई| लोकसभा चुनाव 2024 के लिए भाजपा ने शनिवार को 15वीं सूची जारी कर दी। इस सूची में उज्जवल निकम का नाम भी शामिल है। मशहूर वकील उज्जवल निकम को भाजपा ने 2024 लोकसभा चुनाव के लिए मुंबई उत्तर मध्य सीट से प्रत्याशी बनाया है। इस सीट से पूनम महाजन का टिकट काट गया है।
बता दें कि पूनम महाजन मुंबई की नॉर्थ सेंट्रल सीट से बीजेपी की निवर्तमान सांसद है। बीजेपी ने 2019 के लोकसभा चुनाव में उन्हें इस सीट से अपना उम्मीदवार बनाया था जिसमें उन्हें जीत हासिल हुई थी। इससे पहले 2014 में भी वह इसी सीट से चुनाव जीतकर लोकसभा पहुंची थीं लेकिन इस बार पार्टी ने उनपर भरोसा न जताकर वरिष्ठ वकील उज्जवल निकम को चुनावी मैदान में उतारा है।
बता दें कि उज्जवल निकल देश के जाने-माने वकील हैं उन्हीं ने मुंबई में 26/11 हमले को अंजाम देने वाले आतंकी आमिर कसाब को फांसी के फंदे तक पहुंचाया था। इस केस में वह विशेष लोक अभियोजक भी थे। इसके अलावा वह 1993 के बम धमाकों, गुलशन कुमार हत्याकांड और प्रमोद महाजन हत्याकांड जैसे हाई प्रोफाइल केसों में सरकारी की ओर से केस लड़ चुके हैं। उन्होंने अपने 30 साल लंबे करियर में 628 लोगों को आजीवन कारावास और 37 लोगों को मृत्युदंड की सजा दिलवाई।
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