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ट्रैवलिंग शोज का क्रेज खत्म नहीं होने वाला : कुणाल कपूर

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नई दिल्ली, 7 जून (आईएएनएस)| अभिनेता कुणाल कपूर का मानना है कि ट्रैवलिंग शोज का क्रेज कभी खत्म नहीं वाला है, क्योंकि इस तरह के शोज दर्शकों को एक साथ कई तरह के अनुभव कराते हैं।

कुणाल अपने करियर के पहले ट्रैवलिंग शो में नजर आने वाले हैं और यह ट्रैवलिंग शो दर्शकों को हिमालय के दुर्गम क्षेत्रों से रू-ब-रू कराएगा।

ट्रैवलिंग शो ‘ग्रेट एस्केप विद कुणाल एंड साइरस’ का सफर हिमालय के दुर्गम क्षेत्रों से शुरू होगा, जो कई पड़ावों को पार करता हुआ ‘हिक्किम’ भी पहुंचेगा। ‘हिक्किम’ जो सर्वाधिक ऊंचाई पर मौजूद डाक घर है, यह समुद्रतल से 15,500 फुट की ऊंचाई पर है और यह अपनी एक अलग कहानी बयां करता है।

शो के प्रचार के सिलसिले में नई दिल्ली पहुंचे कुणाल ने आईएएनएस से कहा, यह सिर्फ शो नहीं है, बल्कि मेरी जिंदगी के सबसे बेहतरीन आठ दिन रहे, जिस दौरान मैंने बहुत कुछ सीखा।

कुणाल के इस शो से जुड़ने का वाकया भी बहुत दिलचस्प है। वह कहते हैं, एक दिन मेरे पास फॉक्स लाइफ चैनल से फोन आया और उन्होंने मुझे यह शो करने का ऑफर दिया। चूंकि मुझे शो का फॉर्मेट काफी पसंद आया, लेकिन मैंने उनके सामने एक शर्त रखी कि अगर इस शो में मेरा दोस्त साइरस साहूकार काम करने की हामी भर दे तो मुझे शो करने में कोई दिक्कत नहीं है। साइरस की हां के बाद मैं इस शो से जुड़ गया।

साइरस से दोस्ती के बारे में पूछने पर कुणाल कहते हैं, मैं साइरस को पिछले 20-22 वर्षो से जानता हूं। हम दोनों काफी समय से एक साथ किसी ट्रिप पर जाने की प्लानिंग कर रहे थे, जो इस शो के जरिए पूरी हुई।

शो के दौरान के अनुभवों के बारे में वह कहते हैं, इस शो से हुआ अनुभव और यादें ताउम्र याद रहने वाली हैं। फिर चाहे वह पैराग्लाइडिंग, क्लिफ जंपिंग हो या साइरस के साथ गाड़ी से किया गया सफर। हमें इस शो के दौरान ऐसे भी लोग मिले, जो शहरों में रहते थे लेकिन अब शहरी जिंदगी छोड़कर पहाड़ों पर बस गए हैं। वहां के स्थानीय लोगों में एक अजीब-सा आकर्षण था, जो खुशी देता था।

इस तरह के एडवेंचर्स ट्रैवलिंग शो में तमाम तरह की चुनौतियां होती हैं। इस दौरान उन्हें किसी तरह की चुनौतियों का सामना करना पड़ा? उन्होंने कहा, हम हिमालय के जिन क्षेत्रों से गुजरे, वहां आधी सड़कें टूटी हुई थीं, कई जगह सड़क ही नहीं है, सिर्फ पत्थर हैं, लेकिन इस शो की खूबसूरती ने इन चुनौतियों को महसूस ही नहीं होने दिया।

टीवी शो के खत्म होते चार्म के बारे में वह कहते हैं, मुझे नहीं लगता कि टीवी शो, विशेष रूप से ट्रैवलिंग शो का चार्म कभी खत्म होगा। क्योंकि इस तरह के शो लोग यह देखने के लिए भी देखते हैं कि आखिर इस शो को प्रेजेंट कौन कर रहा है, उनके आपस की ट्यूनिंग कैसी है और यही चीज दर्शकों को शो से जोड़ती है।

वह आगे कहते हैं, फॉक्सलाइफ जैसे चैनल अलग तरह के एक्सपेरिमेंट कर रहे हैं। लोगों के टेस्ट को ध्यान में रखते हुए शो बना रहे हैं, जिन्हें देखने में मजा आता है।

यह शो ‘ग्रेट एस्केप’ का दूसरा सीजन है। पहले सीजन में कल्कि कोचलिन और उनके पिता ने शो की मेजबानी की थी और वे मोटरसाइकिल से हिमालय के भ्रमण पर निकल गए थे। दूसरा सीजन पहले सीजन से कितना अलग है? कुणाल कहते हैं, पहले सीजन से यह काफी अलग है। पहले सीजन में एक बाप-बेटी के रिश्ते के जरिए यह शो आगे बढ़ा था, लेकिन इस बार दो दोस्त एक साथ आए हैं। कल्कि अपने पिता के साथ मोटरसाइकिल पर थीं, जबकि हम गाड़ी में हैं, जिसमें ज्यादा फन है, क्योंकि मोटरसाइकिल पर दो लोगों के बीच संवाद कम हो पाता है।

‘ग्रेट एस्केप विद कुणाल एंड साइरस’ 23 जून से फॉक्स लाइफ पर प्रसारित होने जा रहा है।

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नेशनल

जेपी नड्डा का ममता पर हमला, कहा- संदेशखाली में जनता की रक्षा के लिए एनएसजी कमांडो को भी उतरना पड़ा

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नई दिल्‍ली। भाजपा के राष्‍ट्रीय अध्‍यक्ष जेपी नड्डा ने मुख्‍यमंत्री ममता बनर्जी पर तगड़ा हमला बोला है। उन्‍होंने कहा कि ममता दीदी ने बंगाल को क्‍या बना दिया है। जेपी नड्डा ने कहा कि संदेशखाली, ममता बनर्जी की निर्ममता और बर्बरता का संदेश चीख-चीख कर दे रहा है। ममता दीदी ने बंगाल को क्या बना दिया है? जहां रवींद्र संगीत गूंजना चाहिए था, वहां बम-पिस्तौल मिल रहे हैं।

संदेशखाली में जनता की रक्षा के लिए एनएसजी कमांडो को भी उतरना पड़ा। इसी से समझ सकते हैं कि पश्चिम बंगाल में ममता बनर्जी की सरकार ने किस तरह अराजकता फैला रखी है। मैं बंगाल के सभी भाजपा कार्यकर्ताओं और जनता से अपील करता हूं कि आप सभी संदेशखाली पर ममता बनर्जी से जवाब मांगे।

प्रधानमंत्री मोदी ने संदेशखाली की पीड़िता को पार्टी का टिकट देकर भाजपा महिला सशक्तिकरण के संदेश को मजबूती दी है। इसके साथ ही पीएम मोदी ने ममता बनर्जी को जवाब दिया है कि ये महिलाएं अकेली नहीं है उनके साथ पूरा समाज, पूरा देश खड़ा है। संदेशखाली में महिलाओं की इज्जत-आबरू और उनकी जमीनें बचाने के लिए वहां गई जांच एजेंसियों के अधिकारियों पर भी घातक हमला किया गया।

जेपी नड्डा ने आगे कहा, “मैं आज समाचार पढ़ रहा था कि संदेशखाली में तलाशी के दौरान सीबीआई ने तीन विदेशी रिवॉल्वर, पुलिस द्वारा इस्तेमाल की जाने वाली एक रिवॉल्वर, बंदूकें, कई गोलियां और कारतूस बरामद किए हैं।” इसी से समझा जा सकता है कि ममता सरकार ने राज्य में किस तरह अराजकता फैला रखी है। उन्होंने पूछा कि क्या ममता बनर्जी जनता को डराकर, उनकी जान लेकर चुनाव जीतेंगी। क्या नेताजी सुभाष चंद्र बोस, रवीन्द्रनाथ टैगोर, स्वामी विवेकानंद और महर्षि अरबिंदो जैसे मनीषियों ने ऐसे बंगाल की कल्पना की थी।

संदेशखाली में जनता की रक्षा के लिए एनएसजी कमांडो को भी उतरना पड़ा। ममता दीदी, यदि आपको ऐसा लगता है कि आप ऐसा करके चुनाव जीत जाएंगी तो ये आपकी भूल है। जनता आपको इसका करारा जवाब देगी। उन्होंने कहा कि हमने देखा कि ममता सरकार में तृणमूल कांग्रेस के शाहजहां शेख जैसे असामाजिक तत्व संदेशखाली में महिलाओं के अस्तित्व पर खतरा बने हुए हैं। महिलाओं के साथ जिस तरह का सलूक हो रहा है वह सच में बहुत ही संवेदनशील और कष्टदायी है।

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