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खेल-कूद

कोलकाता ने दूसरी बार जीता इंडियन सुपर लीग खिताब

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Kolkata islकोच्चि। सौरव गांगुली के मालिकाना हक वाली एटलेटिको दे कोलकाता टीम ने रविवार को खचाखच भरे जवाहरलाल नेहरू स्टेडियम में हुए रोमांचक खिताबी मुकाबले में केरला ब्लास्टर्स को पेनाल्टी शूटआउट के आधार पर 4-3 से हराते हुए हीरो इंडियन सुपर लीग (आईएसएल) के तीसरे सीजन का खिताब जीत लिया है। कोलकाता की टीम दूसरी बार चैम्पियन बनी है।

कोलकाता ने 2014 में केरल को ही मुम्बई में 1-0 से हराते हुए खिताब अपने नाम किया था। कोलकाता इस लीग का खिताब दो बार जीतने वाली पहली टीम बन गई है। दूसरी ओर, मास्टर ब्लास्टर सचिन तेंदुलकर के मालिकना हक वाली केरल की टीम दो फाइनल खेलने के बाद भी खिताब से महरूम रह गई।

निर्धारित समय में दोनों टीमों की ओर से पहले हाफ में एक-एक गोल हुआ। पहला गोल केरल के लिए 37वें मिनट में फारवर्ड मोहम्मद रफी ने मेहताब हुसैन के कार्नर क्रास पर हेडर के जरिए किया जबकि कोलकता की ओर से बराबरी का गोल समीघ दुटे के कार्नर पास पर पुर्तगाली डिफेंडर हेनरिक फोंसेका सेरेनो ने हेडर के जरिए 44वें मिनट में किया।

दूसरे हाफ में कोई गोल नहीं हुआ। इसके बाद मैच अतिरिक्त समय तक खिंचा। 30 मिनट के अतिरिक्त समय में भी कोई गोल नहीं हुआ। नतीजतन मैच का फैसला पेनाल्टी शूटआउट से हुआ। इसमें कोलकाता ने बाजी मारते हुए दूसरी बार यह खिताब अपने नाम किया। केरल का सेमीफाइनल (दूसरा चरण) भी शूटआउट तक खिंचा था। उसने दिल्ली को हराकर फाइनल में जगह बनाई थी।

शूटआउट में केरल के लिए पहला प्रयास टिमोथी जर्मन ने किया और वह सफल रहे। इसके बाद कोलकाता के लिए उसके स्टार इयान ह्यूमे ने पहला प्रसास किया लेकिन केरल के गोलकीपर ग्राहम स्टाक ने उसे रोक दिया।

केरल के लिए दूसरा प्रयास केरवेंस बेलफोर्ट ने किया और देबजीत मजूमदार को छकाने में सफल रहे। कोलकाता के लिए दूसरा प्रयास समीघ दुटे ने किया और वह सफल रहे। स्कोर 1-2 हो चुका था।

केरल के लिए तीसरा प्रयास इडाजी नदोए ने किया लेकिन उनका शॉट गोलपोस्ट के ऊपर से बाहर चला गया। इसके बाद कोलकाता के लिए तीसरा प्रयास बोर्जा फर्नाडीज ने किया और वह सफलता के साथ स्कोर 2-2 करने में सफल रहे। केरल के लिए चौथा प्रयास मोहम्मद रफीक ने किया और वह गोल करने में सफल रहे। स्कोर केरल के पक्ष में 3-2 हो चुका था। लारा ग्रांडे ने इसके बाद गोल करते हुए स्कोर 3-3 कर लिया।

हेंगबार्ट ने एक बार फिर अपनी किस्मत आजमाई लेकिन वह केरल के लिए शुभ साबित नहीं हुए। अब सबकुछ कोलकाता के ज्वेल राजा शेख के प्रयास पर निर्भर था। राजा ने गोल करते हुए अपनी टीम को एतिहासिक जीत दिला दी। शेख के इस गोल के बाद स्टेडियम में सन्नाटा छा गया लेकिन जो थोड़े बहुत कोलकाता के प्रेमी यहां मौजूद थे, उनकी खुशी देखने लायक थी। इस मैच को देखने केरल के करीब 60 हजार समर्थक स्टेडियम पहुंचे थे।

केरल और कोलकाता की टीमें दूसरी बार फाइनल में पहुंची थीं। कोलकाता ने 2014 में मुम्बई में खेले गए फाइनल मुकाबले में मोहम्मद रफी के गोल की मदद से केरल को ही 1-0 से हराते हुए खिताब जीता था। आज वही रफी केरल के लिए खेले और पेनाल्टी पर गोल भी किया लेकिन वह अपनी टीम को जीतता नहीं देख सके।

केरल की टीम 2015 में सेमीफाइनल में नहीं पहुंच सकी थी लेकिन कोलकाता की टीम तीनों साल सेमीफाइनल में पहुंची। 2015 में उसे सेमीफाइनल में चेन्नयन एफसी के हाथों हार मिली थी। चेन्नई ने बाद में एफसी गोवा को हराते हुए खिताब जीता था।

खेल-कूद

NADA ने रेसलर बजरंग पुनिया को अनिश्चित काल के लिए किया निलंबित, ये है वजह

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नई दिल्ली। राष्ट्रीय डोपिंग रोधी एजेंसी (नाडा) ने पहलवान बजरंग पुनिया को अनिश्चित काल के लिए निलंबित कर दिया। इस कार्रवाई से बजरंग के पेरिस ओलंपिक में खेलने के सपने पर संकट के बादल छाए हैं। जानकारी के अनुसार बजरंग पुनिया 10 मार्च को सोनीपत में हुए चयन ट्रायल के लिए अपना सैंपल देने में विफल रहे, जिसके बाद नाडा ने उन्हें भविष्य के किसी भी कार्यक्रम में भाग लेने से निलंबित करने का आदेश जारी किया।

भाजपा के पूर्व सांसद और भारतीय कुश्ती महासंघ (डब्ल्यूएफआई) के अध्यक्ष बृजभूषण शरण सिंह पर यौन उत्पीड़न का आरोप लगाने वालों में पुनिया, ओलंपियन साक्षी मलिक और विनेश सहित अन्य शीर्ष पहलवानों की कतार में सबसे आगे थे। निलंबन के बाद टोक्यो ओलंपिक में देश को कांस्य पदक दिलाने वाले पुनिया को इस महीने के अंत में होने वाले चयन ट्रायल में भाग लेने से रोक दिए जाने की संभावना है। 65 किग्रा वर्ग में अभी तक किसी भी भारतीय ने ओलंपिक कोटा नहीं जीता है।

निलंबन पत्र वर्ल्ड यूनाइटेड रेसलिंग (यूडब्ल्यूडब्ल्यू) द्वारा मान्यता प्राप्त भारतीय कुश्ती महासंघ (डब्ल्यूएफआई) की भंग हो चुकी तदर्थ समिति को भेजा गया था। वहीं, बजरंग ने कुछ महीने पहले एक वीडियो जारी कर डोप कलेक्शन किट के एक्पायर होने का आरोप लगाया था। उन्होंने डोप नियंत्रण अधिकारी के निर्देश की अवहेलना की और दावा किया कि नाडा अधिकारियों ने अभी तक उनकी चिंताओं का समाधान नहीं किया है।

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