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बिजनेस

एयर इंडिया ने सीनियर सिटीजन को दिया बड़ा तोहफा

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मुंबई। एयर इंडिया ने टिकटों पर छूट देने के लिए सीनियर सिटीजन की न्यूनतम उम्र सीमा को 63 से घटाकर 60 वर्ष कर दिया है। आधिकारिक सूत्रों ने गुरुवार को यह जानकारी दी।

संशोधित उम्र सीमा सभी घरेलू उड़ानों के लिए तुरंत प्रभाव से लागू कर दिया है। वहीं, गर्मियों की छुट्टी का मौसम भी शुरू हो गया है और बड़ी संख्या में लोगों को इससे फायदा होगा।

संशोधित नियमों के मुताबिक कोई भी वरिष्ठ नागरिक जो भारत का हो और स्थायी रूप से देश में रहता हो, उसकी उम्र 60 या उससे अधिक होने पर इकॉनामी क्लास की टिकटों में मूल किराए में 50 फीसदी छूट वाला टिकट पाने का हकदार होगा।

इस छूट को प्राप्त करने के लिए यात्री को वैध फोटो पहचान पत्र प्रस्तुत करना होगा जिसमें उसकी जन्म तिथि भी लिखी हो। जैसे आधार, वोटर आईडी, ड्राइविंग लाइसेंस, पासपोर्ट आदि।

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Whatsapp ने दी भारत छोड़ने की धमकी, कहा- अगर सरकार ने मजबूर किया तो

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नई दिल्ली। व्हाट्सएप ने गुरुवार को दिल्ली हाईकोर्ट में कहा कि अगर उसे उसे संदेशों के एन्क्रिप्शन को तोड़ने के लिए मजबूर किया गया तो वह भारत में अपनी सेवाएं बंद कर देगा। मैसेजिंग प्लेटफॉर्म की ओर से पेश एक वकील ने कहा कि लोग गोपनीयता के लिए व्हाट्सएप का उपयोग करते हैं और सभी संदेश एंड-टू-एंड एन्क्रिप्टेड हैं।

व्हाट्सऐप का कहना है कि WhatsApp End-To-End Encryption फीचर यूजर्स की प्राइवेसी को सिक्योर रखने का काम करता है। इस फीचर की वजह से ही मैसेज भेजने वाले और रिसीव करने वाले ही इस बात को जान सकते हैं कि आखिर मैसेज में क्या लिखा है। व्हाट्सऐप की तरफ से पेश हुए वकील तेजस करिया ने अदालत में बताया कि हम एक प्लेटफॉर्म के तौर पर भारत में काम कर रहे हैं। अगर हमें एन्क्रिप्शन सिक्योरिटी फीचर को तोड़ने के लिए मजबूर किया जाता है तो व्हाट्सऐप भारत छोड़कर चला जाएगा।

तेजस करिया का कहना है कि करोड़ों यूजर्स व्हाट्सऐप को इसके एन्क्रिप्शन सिक्योरिटी फीचर की वजह से इस्तेमाल करते हैं। इस वक्त भारत में 40 करोड़ से ज्यादा व्हाट्सऐप यूजर्स हैं। यही नहीं उन्होंने ये भी तर्क दिया है कि नियम न सिर्फ एन्क्रिप्शन बल्कि यूजर्स की प्राइवेसी को भी कमजोर बनाने का काम कर रहे हैं।

व्हाट्सऐप के वकील ने बताया कि भारत के अलावा दुनिया में कहीं भी ऐसा कोई नियम नहीं है। वहीं सरकार का पक्ष रखने वाले वकील कीर्तिमान सिंह ने नियमों का बचाव करते हुए कहा कि आज जैसा माहौल है उसे देखते हुए मैसेज भेजने वाले का पता लगाने की जरूरत पर जोर दिया है। कोर्ट इस मामले पर अगली सुनवाई अब 14 अगस्त को करेगा।

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