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अखिलेश सरकार का बड़ा फैसला, यश भारती पाने वालों को मिलेगी 50 हजार पेंशन

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लखनऊ। उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री अखिलेश यादव की अध्यक्षता में मंगलवार को कैबिनेट की बैठक में प्रदेश सरकार ने कुछ बड़े फैसलों पर अपनी मुहर लगा दी। यश भारती सम्मान पाने वालों को अब राज्य सरकार 50 हजार रुपये की पेंशन देगी। अखिलेश ने महंगाई को लेकर केंद्र सरकार पर जमकर निशाना भी साधा। अखिलेश यादव ने सात्यिकारों द्वारा पुरस्कार लौटाए जाने के मुद्दे पर कहा कि उप्र में समाजवादियों की सरकार है और इस सरकार में पुरस्कार लौटाने की नौबत नहीं आएगी। अखिलेश ने इस मौके पर एक अहम घोषणा करते हुए कहा कि यश भारती सम्मान पाने वालों को अब राज्य सरकार 50 हजार रुपये की पेंशन देगी।

कैबिनेट की बैठक के बाद पत्रकारों से मुखातिब मुख्यमंत्री अखिलेश यादव ने कहा कि सरकार उप्र से जुड़े अंतर्राष्ट्रीय खिलाड़ियों को राजपत्रित अधिकारी बनाने की पहल करेगी। अखिलेश ने कहा, “जहां तक पुरस्कार लौटाने का सवाल है तो समाजवादियों की सरकार में ऐसी नौबत कभी नहीं आएगी। सरकार उप्र में यश भारती सम्मान पाने वालों को 50 हजार रुपये पेंशन देगी।” मुंबई में बीसीसीआई दफ्तर पर शिव सैनिकों की ओर से प्रदर्शन किए जाने के बारे में उन्होंने कहा कि ऐसा नहीं होना चाहिए। खेल के साथ राजनीति नहीं होनी चाहिए। यदि विरोध है तो बैठकर बहस की जा सकती है, लेकिन विरोध का यह तरीका सही नहीं है।

देश में बिगड़ते माहौल पर अखिलेश ने कहा, “यह हम सबकी जिम्मेदारी है कि सोशल मीडिया को लेकर सतर्क रहें और इस तरह की चीजें सामने न आए।” महंगाई के मुद्दे पर अखिलेश यादव ने केंद्र सरकार पर जमकर निशाना साधा। उन्होंने कहा कि लोकसभा चुनाव के दौरान इन लोगों ने वादा किया था कि इनके पास महंगाई के निपटने का फार्मूला मौजूद है, तो अब समय आ गया है कि उन्हें इस फार्मूले का इस्तेमाल करना चाहिए।

उप्र में दाल की कालाबाजारी के सवाल पर अखिलेश ने कहा कि दाल की कीमतों पर नजर रखी जा रही है। सरकार मंडियों को और विकसित करेगी। अधिकारियों को सख्त निर्देश दिया गया है कि दाल की कालाबाजारी न होने पाए। ऐसा करने वालों से सख्ती से निपटा जाएगा। कैबिनेट की बैठक में राजस्व संहिता 2015 को मंजूरी दे दी गई है। नई राजस्व संहिता में दलितों के पास सवा तीन एकड़ से कम जमीन होने पर भी शर्तो के साथ उसे बेचने का अधिकार देने का प्रावधान किया गया है।

फुटपाथ पर दुकान लगाने वालों के लिए वेंडिंग जोन बनाते हुए स्थान उपलब्ध कराने के लिए फेरी नीति, राज्य सरकार बालकों को उनका हक देने के लिए उत्तर प्रदेश बालक अधिकार संरक्षण आयोग नियमावली 2015 को भी मंजूरी कैबिनेट की बैठक में दी गई है।

चीनी के लिए मंडी शुल्क समाधान योजना लाने, वित्त विकास निगम में एनआरआई सेल की स्थापना, सुल्तानपुर के 29 गांवों को अमेठी की मुसाफिरखाना तहसील में शामिल करने, प्रादेशिक को-अपरेटिव डेयरी फेडरेशन लिमिटेड के प्रस्तावों और यमुना एक्सप्रेसवे औद्योगिक विकास प्राधिकरण की अर्जित जमीन को वितरित करने के लिए नियमों में छूट देने संबंधी प्रस्ताव को भी मंजूरी मिल मिली है।

28 सदस्यीय परिषद में उद्यमियों की संख्या करीब 15 रखी जाएगी। इसका संयोजक और उपाध्यक्ष उद्यमी होगा जबकि सदस्य सचिव सरकारी होगा। विशेषज्ञ समूहों के चार प्रतिनिधि भी परिषद में होंगे। परिषद की गतिविधियों को आगे बढ़ाने के लिए विभाग ने 10 वर्ष के लिए पांच करोड़ रुपये का फंड बनाने का भी प्रस्ताव किया गया है।

नेशनल

पश्चिम बंगाल में हुए रेल हादसे पर रेल मंत्री अश्विनी वैष्णव ने जताया दुःख, दार्जिलिंग रवाना

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कोलकाता। पश्चिम बंगाल में हुए रेल हादसे पर रेल मंत्री अश्विनी वैष्णव ने दुःख जताया है। उन्होंने अपने सोशल मीडिया हैंडल X पर लिखा है, NFR जोन में दुर्भाग्यपूर्ण दुर्घटना हुई है। बचाव कार्य युद्ध स्तर पर जारी है। रेलवे, एनडीआरएफ और एसडीआरएफ मिलकर काम कर रहे हैं। घायलों को अस्पताल पहुंचाया जा रहा है। वरिष्ठ अधिकारी घटनास्थल पर पहुंच गए हैं।

बता दें कि इस हादसे में आठ लोगों की मौत हो गई है। मृतकों में ट्रेन के लोको पायलट भी शामिल हैं। मृतकों का आंकड़ा अभी और बढ़ सकता है। कंचनजंगा एक्सप्रेस ट्रेन दुर्घटना एनएफ रेलवे के सीपीआरओ सब्यसाची डे का कहना है कि लगभग 25 लोग घायल हो गए हैं और उन्हें पास के अस्पताल में स्थानांतरित कर दिया गया है। बचाव अभियान युद्ध स्तर पर चल रहा है। हम बचाव अभियान को समाप्त करने की कोशिश कर रहे हैं। वरिष्ठ अधिकारी पहले ही घटनास्थल पर पहुंच चुके हैं। प्रारंभिक जानकारी के अनुसार कंचनजंगा को एक मालगाड़ी ने पीछे से टक्कर मार दी है। हमें 8 लोगों की मौत की जानकारी मिली है।

पश्चिम बंगाल में कंचनजंगा एक्सप्रेस ट्रेन दुर्घटना पर पूर्व रेल मंत्री दिनेश त्रिवेदी का बयान भी सामने आया है। उन्होंने कहा कि अभी इसके कारण के बारे में बात करना जल्दबाजी होगी लेकिन आधुनिक समय में इसकी जांच और गहन सुधार की आवश्यकता है। मैं अनुमान लगा रहा हूं कि संभवतः यह इंजन ‘कवच’ (एक स्वचालित ट्रेन सुरक्षा (एटीपी) प्रणाली) नहीं थी। मुझे इसमें कोई संदेह नहीं है कि सरकार सुधारात्मक कार्रवाई करेगी।

 

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