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अन्तर्राष्ट्रीय

फिलीपींस में आईएस से जुड़े 2 शीर्ष आतंकवादी मारे गए

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मनीला, 16 अक्टूबर (आईएएनएस)| संघर्षरत मारावी शहर में फिलीपींस के सुरक्षा बलों के साथ मुठभेड़ में इस्लामिक स्टेट से जुड़े दो प्रमुख आतंकवादी मारे गए। एक शीर्ष अधिकारी ने सोमवार को यह जानकारी दी। सीएनएन की रिपोर्ट के अनुसार, रक्षा मंत्री डेल्फिन लोरेनजाना के मुताबिक मारे गए आतंकवादियों की पहचान इस्नीलोन हैपिलोन और उमर मॉते के रूप में की गई है। इस्नीलोन हैपिलोन दक्षिणपूर्व एशिया में आतंकवादी समूह का सरगना था, जबकि उमर मॉते आईएस से जुड़े एक आतंकवादी समूह का सरगना था।

रक्षा विभाग ने एक बयान में कहा कि उनके शव बरामद कर लिए गए हैं। बंधक बनाए गए 17 नागरिकों को भी बचा लिया गया।

फेडरल ब्यूरो ऑफ इन्वेस्टिगेशन (एफबीआई) ने बंधक बनाने, हत्या और अन्य आतंकवादी गतिविधियों समेत कई कथित आरोपों में लिप्त हैपीलोन की गिरफ्तारी के लिए सूचना देने पर 50 लाख डॉलर का इनाम देने की पेशकश की थी।

मिंडानाओ द्वीप पर हैपिलोन को निशाना बनाकर शुरू किए गए सैन्य अभियान के कारण 23 मई को मालावी में संघर्ष शुरू हो गया था।

माना जा रहा है कि हैपीलोन ने मॉते समूह के सदस्यों को सहायता के लिए आपातकालीन संदेश भेजा था। मॉते समूह का नेतृत्व उमर और उसके भाई अब्दुल्ला कर रहे थे।

सीएनएन के अनुसार, सितंबर की शुरुआत में अब्दुल्ला के मारे जाने की खबरें आई थीं, लेकिन सेना ने अभी तक उसके मौत की पुष्टि नहीं की है।

उमर की मौत की खबरें पहले भी कई बार आ चुकी हैं। हालांकि इसकी कभी पुष्टि नहीं की गई।

हिंसा के कारण 350,000 से अधिक निवासियों को शहर और आसपास के इलाकों से पलायन के लिए मजबूर होना पड़ा था, जिसके कुछ ही समय बाद फिलीपींस के राष्ट्रपति रॉड्रिगो दुतेर्ते ने मिंडानाओ द्वीप पर मार्शल लॉ लगाने की घोषणा की थी।

फिलीपींस सरकार के मुताबिक, 47 नागरिकों सहित कम से कम 1,066 लोग मारे जा चुके हैं और 1,700 से ज्यादा सैनिक और पुलिसकर्मी घायल हुए हैं।

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अन्तर्राष्ट्रीय

इब्राहिम रईसी के निधन पर शोक पीएम मोदी ने जताया शोक, कहा- दुःख की इस घड़ी में भारत ईरान के साथ खड़ा है

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नई दिल्ली। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने ईरान के राष्ट्रपति इब्राहिम रईसी के निधन पर शोक जताया है। इब्राहिम रईसी की रविवार को को एक हेलीकॉप्टर दुर्घटना में मौत हो गई थी। पीएम मोदी ने ट्वीट कर लिखा, इस्लामी गणतंत्र ईरान के राष्ट्रपति डॉ. सैयद इब्राहिम रायसी के निधन से मुझे गहरा दुख और सदमा लगा है। भारत-ईरान द्विपक्षीय संबंधों को मजबूत करने में उनके योगदान को हमेशा याद किया जाएगा। उनके परिवार और ईरान के लोगों के प्रति मेरी संवेदना है। दुख की इस घड़ी में भारत ईरान के साथ खड़ा है।

बता दें कि अजरबैजान के घने और पहाड़ी इलाके में रविवार को राष्ट्रपति का विमान क्रैश हो गया था। इसके बाद ईरान की सेना ने हेलीकॉप्टर की तलाश में रेस्क्यू ऑपरेशन चलाया, जिसमें विमान का मलबा मिल गया। हालांकि, दुर्घटनास्थल पर जीवन के कोई संकेत नहीं मिले हैं। रॉयटर्स की रिपोर्ट्स के मुताबिक, हेलीकॉप्टर दुर्घटना के बाद राष्ट्रपति रईसी के जीवित होने की उम्मीदें न के बराबर हैं।

बता दें कि अजरबैजान के जंगल में खराब मौसम की वजह से इब्राहिम रईसी के विमान की आपात लैंडिंग कराई गई थी, जिससे हेलीकॉप्टर दुर्घटनाग्रस्त हो गया। कई घंटों की कड़ी मशक्कत के बाद ईरान की जांच एजेंसियों को विमान का मलबा मिला। इसके बाद ईरानी मीडिया ने हेलीकॉप्टर हादसे में राष्ट्रपति और विदेश मंत्री की मौत की पुष्टि की। ईरानी रेड क्रिसेंट प्रमुख ने बताया कि बचाव टीमें दुर्घटनास्थल पर पहुंच चुकी हैं। इस हादसे में विमान का पूरा केबिन जलकर राख हो गया, जिसमें किसी के जिंदा होने के निशान नहीं मिले हैं। इस बीच ईरानी न्यूज एजेंसी ने बताया कि हादसे में किसी के बचने की कोई उम्मीद नहीं है, क्योंकि राष्ट्रपति का चॉपर पूरी तरह से तबाह हो गया।

ईरान के प्रेस टीवी के अनुसार, रेस्क्यू दल ने ईरानी राष्ट्रपति इब्राहिम रईसी के हेलीकॉप्टर का पता लगा लिया है। दुर्घटनास्थल पर किसी भी जीवित व्यक्ति का कोई सुराग नहीं मिला है। आपको बता दें कि राष्ट्रपति इब्राहिम रईसी पूर्वी अजरबैजान के दौरे गए थे। वे अपने विमान से राजधानी तेहरान लौट रहे थे, तभी उत्तर-पश्चिम में अजरबैजान देश की सीमा से सटे जुल्फा शहर के पास हादसा हो गया। उनके साथ हेलीकॉप्टर में विदेश मंत्री हुसैन अमीर-अब्दुल्लाहियन, पूर्वी अजरबैजान प्रांत के गवर्नर और अन्य अधिकारी मौजूद थे।

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