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उत्तराखंड

धूमधाम से मना गोर्खाली सुधार सभा का स्थापना दिवस

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गोर्खाली सुधार सभा का 78 वां स्थापना दिवस

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गोर्खाली सुधार सभा का 78 वां स्थापना दिवस

देहरादून। आज गोर्खाली सुधार सभा गढ़ी कैन्ट ने अपना 78 वां स्थापना दिवस अत्यंत धूमधाम से मनाया। समारोह के मुख्य अतिथि लै. जन. नंद किशोर, लै. जन. शक्ति गुंरुग, लै. जन. राम प्रधान, ब्रिगेडियर अनिल मल्होत्रा, ब्रिगेडियर ऐ.के. सानियाल, गोर्खाली सुधार सभा के अध्यक्ष लै. जन. बी.एस. क्षेत्री एंव स्थानीय विधायक गणेश जोशी ने दीप प्रज्वलित करते हुए कार्यक्रम की विधिवत शुरुआत की। अध्यक्ष ने कहा की गोर्खाली सुधार सभा की स्थापना 17 अप्रैल 1938 में हुई थी तब से लेकर आज तक सभा समाज के हित में कार्यरत है। आज अपने उद्ेश्य ”समाज सेवा अस्माकम कत्र्तव्यम“ पर चलते हुए समाज के गरीब एंव असहाय लोंगों को आर्थिक सहायता, योग्य एंव कुशल विद्यार्थियों को शिक्षा में सहायता हेतु छात्रवृतियाँ, उच्च अंक प्राप्त करने वाले छात्रों को प्रोत्साहन राशि प्रादान करती है। सभा सदैव समाज की प्रगति हेतु कार्यरत रहेगी।

समारोह में अपनी संस्कृति एंव लोकनृत्यों की परम्परा को बढ़ावा देने हेतु सभा की विभिन्न शाखाओं एंव गुँरास सांस्कृतिक कला कैन्द्र की ओर से रंगारंग प्रस्तुतियाँ दी गईं। इसके अतिरिक्त समारोह में शिक्षा एंव खेल में उत्कृष्ठ प्रदर्शन हेतु युवाओं को सम्मानित किया गया। वरिष्ठ नागरिकों एंव वीर सैनिकों एंव उनके परिवार जनों को भी सम्मानित किया गया। इस बार समारोह के मुख्य अतिथि एंव सम्मानित अतिथियों में देश भर के विभिन्न शहरों से सेवा निवृत्त उच्च सैन्य अधिकारी, सभा की कार्यशैली से प्रभावित होकर इस समारोह में शिरकत करने हेतु पधारे, यह सभा के लिए अत्यंत गौरवपूर्ण विषय है।

इस अवसर पर “स्थापना दिवस विशेषांक” पत्रिका का विमोचन भी किया गया जिसमें सभा के विगत 78 वर्षों का इतिहास एंव उपलब्धियों का संक्षिप्त विवरण भी दिया गया है। क्षेत्री जी ने बताया कि सभा में समाज के नवयुवकों को नशे से दूर रखने हेतु नशा मुक्ति केन्द्र की ओर से काउंसिलिंग कार्यशाला भी चलाई जा रही है जो सप्ताह में दो दिन बृहस्पतिवार एंव शनिवार को 5-7 बजे तक चलती है। महिला प्रकोष्ठ अध्यक्षा सारिका प्रधान ने बताया कि सभा में महिलाओं के लिए सिलाई-कढ़ाई एंव युवाओं के लिए निःशुल्क प्रशिक्षण केन्द्र भी चलाये जा रहे हैं एंव भ्विष्य में अन्य प्रशिक्षण हेतु भी प्रयासरत है। इस समारोह में उपाध्यक्ष सुनील थापा, महामंत्री पी.एस. थापा, मेनेजर विरेन्द्र थापा, सास्ंकृतिक मंत्री प्रीतम सिंह गुंरुग, अरुण खत्री, पूर्व अध्यक्षा, सहयोजित सदस्य, शाखा अध्यक्ष, पुष्पा क्षेत्री, ब्रिगे. पी.एस. गुंरुग, कर्नल नारायण थापा, कर्नल एम.वी. राना, कर्नल बी.एस. खत्री, कर्नल डी.एस. खड़का, देवमाया गुंरुग, मंजू कार्की, सीमा शाही, विमला थापा, कविता गुंरुग, आकाश गुंरुग, गजेन्द्र विक्रम शाही, पदम शाही एंव भारी संख्या में समाज के गणमान्य अतिथि उपस्थित रहे।

उत्तराखंड

चारधाम यात्रा में 31 मई तक VIP दर्शन पर रोक, ऑफलाइन रजिस्ट्रेशन 19 मई तक बंद

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हरिद्वार। अगर आप भी चारधाम यात्रा पर जा रहे हैं तो ये खबर आपके लिए काफी अहम है। चारधाम यात्रा में VIP दर्शन व्यवस्था पर रोक लगा दी गई है। लोग 31 मई तक VIP सिस्टम के तहत दर्शन नहीं कर पाएंगे। वहीं ऑफलाइन रजिस्ट्रेशन भी 19 मई तक बंद रहेंगे। खराब मौसम और श्रद्धालुओं की बढ़ती संख्या को देखते हुए यह फैसला लिया गया है।

चार धाम यात्रा 10 मई को शुरू हुई थी। छह दिन में ही देश-विदेश के 3,34,732 श्रद्धालु इनके दर्शन के लिए पहुंच चुके हैं। उत्तराखंड सरकार ने यात्रा के लिए 25 अप्रैल से चारधामों के लिए पंजीकरण शुरू किया और गुरुवार तक 27 लाख से ज्यादा श्रद्धालुओं के पंजीकरण हो गए।

मुख्य सचिव राधा रतूड़ी ने पत्र जारी कर 31 मई तक वीआईपी दर्शन पर रोक लगा दी है। यह भी कहा है कि धामों में सुगम दर्शन के लिए सरकार ने श्रद्धालुओं का पंजीकरण अनिवार्य किया है। अब दर्शन उसी दिन होंगे जिस तिथि का पंजीकरण किया गया है। इससे पहले 30 अप्रैल को राज्यों के मुख्य सचिवों को पत्र लिखकर 25 मई तक वीआईपी दर्शन की व्यवस्था पर रोके जाने का आदेश दिया था।

50 मीटर में रील्स बनाने पर प्रतिबंध

उत्तराखंड सरकार ने भीड़ प्रबंधन की दिशा में बड़ा कदम उठाया है। इसमें 50 मीटर के दायरे में चारों धामों के मंदिर के परिसर में रील्स बनाने पर प्रतिबंध लगा दिया है। इसके साथ ही सोशल मीडिया लाइव आदि पर भी रोक लगा दी गई है। सरकार ने कहा है कि कुछ यात्रियों द्वारा मंदिर परिसर में वीडियो एवं रील बनायी जाती है और उन्हें देखने के लिए एक स्थान पर भीड़ एकत्रित हो जाती है जिससे श्रद्धालुओं को दर्शन करने में असुविधा होती है ।

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