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मनोरंजन

‘जय गंगाजल’ सीक्वल नहीं, नई कहानी : प्रकाश झा

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निर्देशक प्रकाश झा का कहना है कि उनकी आगामी फिल्म ‘जय गंगाजल’ को 2003 की फिल्म ‘गंगाजल’ का सीक्वल नहीं कहा जा सकता, क्योंकि यह पुलिस और समाज के संबंध पर आधारित एक नया अध्याय है। अभिनेत्री प्रियंका चोपड़ा इसमें मुख्य भूमिका में हैं।

फिल्म में प्रियंका पुलिकर्मी की भूमिका में हैं। फिल्म अगले साल 4 मार्च को प्रदर्शित होगी। इससे पहले फिल्म का नाम ‘गंगाजल 2’ था।

झा ने मुंबई से फोन पर आईएएनएस को बताया, “इसे सीक्वल नहीं कहा जा सकता। पहली फिल्म मुख्य पात्र की स्थिति पर आधारित थी और अपने आप में पूरी थी। ‘जय गंगाजल’ पुलिस और समाज के संबंध पर आधारित है। मैं पुलिसकर्मी की कहानी बता रहा हूं, जो आज के समय में है।”

उन्होंने कहा, “अजय के साथ किया हुआ, वह किरदार पूरी तरह अलग था और प्रियंका के साथ क्या होगा, यह पूरी तरह अलग होगा।”

झा द्वारा लिखित और निर्देशित ‘जय गंगाजल’ प्रकाश झा प्रोडक्शंस और प्ले एंटरटेनमेंट द्वारा निर्मित है। इसमें मानव कौल, राहुल भट्ट, मुरली शर्मा और निनाद कामत भी हैं।

 

प्रादेशिक

13 साल बाद एक्ट्रेस को मिला इंसाफ, कोर्ट ने हत्यारे बाप को सुनाई फांसी की सजा

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मुंबई। एक्ट्रेस लैला खान और उसके पूरे परिवार के हत्यारे सौतेले पिता को मुंबई की सेशन कोर्ट ने फांसी की सजा सुनाई है। कोर्ट ने इस महीने की शुरुआत में परवेज टाक को लैला, उनकी मां और चार भाई-बहन की हत्या और सबूतों को नष्ट करने का दोषी ठहराया था। यह मामला 13 वर्ष पुराना है। सौतेले प‍िता ने लैला, उसकी मां व चार भाई-बहनों की हत्या की थी, इसके बाद शवों को फार्म हाउस में गड्ढा खोदकर दफन कर दिया था।

बता दें कि बीते सप्ताह सरकारी वकील पंकज चव्हाण ने दोषी परवेज टाक के लिए मौत की सजा की मांग की थी। उनका कहना था कि इस हत्या को पूरी तरह से प्लान करके किया गया था, जिसमें एक ही परिवार के छह लोगों को बड़ी ही बेरहमी से मौत के घाट उतार दिया गया और शवों को ठिकाने लगा दिया गया।

लैला खान हत्याकांड में मंगलवार को कोर्ट में सुनवाई हुई थी। इस दौरान आरोपी के वकील वहाब खान ने दलील पेश की, जिसमें उन्होंने कम से कम आजीवन कारावास की सजा की मांग की। वकील ने कहा कि कोई प्रत्यक्ष सबूत नहीं है और शव उनके कहने पर बरामद किए गए थे। इतना ही नहीं बल्कि दोषी के वकील ने जेल में टाक के अच्छे व्यवहार की ओर इशारा करते हुए कहा कि उसमें सुधार हुआ है और इसलिए उन्होंने इसे भी सजा को कम करने का आधार बताया है। हालांकि कोर्ट ने उनकी एक न सुनी और परवेज टाक को फांसी की सजा सुना दी।

बता दें कि परवेज टाक, लैला का सौतेला पिता है। परवेज ने लैला की मां संग तीसरी शादी की थे। साल 2011 में फरवरी में लैला खान, उनकी मां और चार भाई-बहनों की महाराष्ट्र के नासिक जिले के इगतपुरी स्थित उनके बंगले में हत्या कर दी गई थी। रिपोर्ट्स की मानें तो कहा गया कि संपत्तियों पर बहस के बाद परवेज ने इस घटना को अंजाम दिया था।

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