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झारखंड रेस्क्यू ऑपरेशन हुआ खत्म, रस्सी से फिसल कर महिला की हुई मौत, 45 घंटे चला कार्य

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झारखंड के देवघर में त्रिकूट पर्वत पर रोपवे में फंसे लोगों को सुरक्षित निकालने के लिए चलाया गया रेस्क्यू ऑपरेशन खत्म हो गया है। करीब 45 घंटे की जद्दोजहद के बाद हवा में अटके लोगों को बचा लिया गया है। इस हादसे में तीन लोगों की मौत हुई है, जिसमें से दो की मौत तो रेस्क्यू ऑपरेशन के दौरान हुई।

देवघर रोपवे हादसे का रेस्क्यू ऑपरेशन करीब 45 घंटे तक चला

रविवार शाम 4 बजे त्रिकूट पर्वत पर रोपवे की ट्रालियां आपस में टकरा गई थीं। इस हादसे में करीब आधा दर्जन ट्रालियां हवा में अटक गई थीं, जिसमें करीब 50 से अधिक लोग सवार थे। जिस वक्त हादसा हुआ, उस वक्त कुछ लोग घायल हुए थे, जिनमें एक की मौत हो गई थी। इसके बाद सेना, आईटीबीपी, एनडीआरएफ और स्थानीय प्रशासन ने 45 घंटे तक रेस्क्यू अभियान चलाकर बाकी लोगों को निकाला।

इस हादसे में अब तक तीन लोगों की मौत हो चुकी है। मंगलवार को एक महिला रस्सी से फिसल गई, जिसकी भी मौत हो गई। आईटीबीपी का कहना है कि यह मुश्किल रेस्क्यू अभियान था, क्योंकि हजारों मीटर की ऊंचाई पर लोग हवा में अटके हुए थे, उनके पास पहुंचना मुश्किल था। ट्रालियों में फंसे लोगों को ड्रोन के जरिए खाना और पानी पहुंचाया जा रहा था।

रेस्क्यू करके लाई गई महिला को एंबुलेंस तक ले जाते आर्मी जवान।

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पुणे हिट एंड रन केस: कोर्ट ने आरोपी के पिता को 5 दिन की पुलिस कस्टडी में भेजा

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पुणे। पुणे हिट एंड रन केस में पुलिस ने नाबालिग आरोपी के पिता विशाल अग्रवाल को 5 दिन की पुलिस कस्टडी में भेज दिया है। इससे पहले मामले में कोर्ट ने सुनवाई करते हुए फैसला सुरक्षित रख लिया था। मामले में पुलिस ने नाबालिग आरोपी को जमानत मिलने के बाद फिर से अरेस्ट कर लिया। इतना ही नहीं पुलिस ने मामले में नई धारा भी जोड़ी है। इसके साथ ही कोर्ट ने बार के मालिक जितेश शेवनी और जयेश बोनकर को भी 5 दिन की पुलिस कस्टडी में भेजा है।

बता दें कि महाराष्ट्र के पुणे में एक नाबालिग लड़के ने अपनी करोड़ों की पोर्शे कार से दो लोगों को कुचलकर मार डाला। चश्मदीदों का कहना है कि कार की स्पीड करीब 200 किलोमीटर प्रति घंटा था। इस हादसे में मारे गए लोगों की पहचान अनीस दुधिया और अश्विनी कोस्टा के तौर पर हुई थी। दोनों राजस्थान के हैं। बाद में पुलिस ने इस मामले में कार चला रहे 17 वर्षीय आरोपी को हिरासत में लेकर जुवेनाइल कोर्ट में पेश किया, जहां से उसे जमानत मिल गई।

पुलिस ने उस पर बालिग लोगों की तरह मुकदमा चलाने और उसे पुलिस हिरासत में भेजने की इजाजत मांगी थी, लेकिन कोर्ट ने इससे इनकार करते हुए आरोपी को जमानत दे दी थे। आरोपी को कोर्ट ने 15 दिनों के लिए येरवडा की ट्रैफिक पुलिस के साथ काम करने’ और ‘हादसे पर एक निबंध लिखने’ के लिए कहा। वकील प्रशांत पाटिल ने कहा कि जमानत की शर्तों में आरोपी को एक ऐसे डॉक्टर से इलाज कराने का निर्देश दिया गया है जो उसे शराब छोड़ने में मदद कर सके। इसके अलावा उसे ‘साइकेट्रिस्ट से सलाह’ लेकर उसकी रिपोर्ट अदालत में जमा करने का निर्देश दिया गया है।

चश्मदीदों का कहना है कि कार की स्पीड करीब 200 किलोमीटर प्रति घंटा था.पुलिस का दावा है कि बार में शराब पीने के बाद नशे में धुत होकर 17 साल का आरोपी पोर्शे कार को चला रहा था। उसने रविवार तड़के शहर के कल्याणी नगर इलाके में मोटरसाइकिल पर सवार दो लोगों को टक्कर मार दी थी, जिसके चलते उनकी मौत हो गई।

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