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योगी सरकार ने हासिल की खास उपलब्धि, एक साथ 9 मेडिकल कॉलेजों का उद्घाटन करने वाला पहला राज्य बना यूपी

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लखनऊ। भगवान बुद्ध की क्रीड़ास्थली सिद्धार्थनगर से प्रधानमंत्री नरेन्‍द्र मोदी ने उत्‍तर प्रदेश में स्‍वास्‍थ्‍य सेवाओं को बूस्‍टर डोज दी है। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के हाथों नौ नए राजकीय मेडिकल कॉलेजों का शुभारंभ सोमवार को किया गया।

एक साथ नौ मेडिकल कॉलेजों का उद्घाटन करने वाला देश का इकलौता राज्य यूपी है। हेल्थ इंफ्रास्ट्रक्चर और चिकित्सा शिक्षा के क्षेत्र में उत्‍तर प्रदेश को देश में सिरमौर बनाने में जुटे सीएम योगी के इस क्रांतिकारी प्रयास से एक ही दिन में तीन हजार बेड से अधिक अस्पतालों और एमबीबीएस की नौ सौ सीटों की सौगात मिली है।

पिछले साढ़े चार सालों में योगी सरकार ने यूपी में हेल्थ इंफ्रास्ट्रक्चर पर जोर दिया है। जिसका नतीजा है कि जल्‍द ही यूपी के 75 जनपदों को मेडिकल कॉलेजों से लैस करने में यूपी सरकार जुटी हुई है। साल 2017 के पहले प्रदेश में केवल 12 मेडिकल कॉलेज थे और सिर्फ साढ़े चार सालों में नए मेडिकल कॉलेजों से यूपी नया रिकॉर्ड बनाने की राह पर है।

स्‍वास्‍थ्‍य सेवाओं के लिए योगी सरकार लाई स्‍वर्णिम युग

पिछली सरकारों के मुकाबले योगी सरकार स्वास्थ्य सेवाओं के लिए स्‍वर्णिम युग लेकर आई है। 24 करोड़ की आबादी वाले प्रदेश में साल 2017 से पहले जहां महज एक दर्जन मेडिकल कॉलेज थे वहीं योगी सरकार द्वारा सत्‍ता की कमान संभालने के बाद यूपी में तेजी से चिकित्‍सीय सुविधाओं में विस्‍तार किया गया। प्रदेश सरकार ‘वन डिस्ट्रिक वन मेडिकल कॉलेज’ के साथ प्रत्येक जनपद को चिकित्‍सीय सुविधाओं से लैस करने में जुटी है। साल 2017 से 2021 के बीच में योगी सरकार ने सात नए मेडिकल कॉलेज शुरू किए जिसमें सोमवार को 09 मेडिकल कॉलेज की संख्या में वृद्धि हो गई है। इसके अलावा सरकार में 14 नए मेडिकल कॉलेज की प्रक्रिया चल रही है। जो वर्ष 2022-2023 तक चालू हो जाएंगे। सरकार द्वारा लाई गई नई नीति के तहत 16 जिलों में पीपीपी मॉडल के तहत मेडिकल कॉलेज स्थापित होंगे। इसके अलावा केंद्र सरकार के 04 चिकित्सा संस्थान संचालित हैं। प्रदेश में चालू 30 अन्य निजी मेडिकल कॉलेज को मिलाकर प्रदेश मेडिकल कॉलेज के मामले में शतक की ओर अग्रसर है।

डेढ़ साल में 15 गुना बढ़े वेंटिलेटर, ऑक्सीजन कॉन्‍सेंट्रेटर में हुआ 30 गुना इजाफा

पिछले डेढ़ साल में प्रदेश सरकार ने अस्‍पतालों में वेंटिलेटर की संख्‍या में 15 गुना इजाफा किया है जबकि ऑक्सीजन कॉन्‍सेंट्रेटर की संख्‍या 30 गुना तक बढ़ायी गई है। स्वास्थ्य विभाग के मुताबिक प्रदेश में कोरोना संक्रमण से पहले जहां कुल वेंटीलेटरों की संख्या 225 थी वहीं कोरोना संक्रमण के दौर से लेकर अब तक उनकी संख्या 3,424 हो गई है। इसी तरह ऑक्सीजन कॉन्सेंट्रेटर की संख्या जो कोरोना संक्रमण से पहले 587 थी वो अब तक 19,394 हो गई है। वहीं, प्रदेश में बेड की संख्या पहले जहां 63,240 थी वो अब 71,970 हो गई है। 24 करोड़ की आबादी वाले प्रदेश में वन डिस्ट्रिक वन मेडिकल कॉलेज के साथ ही इन सभी जनपदों में बीएसएल टू लैब, सीटी स्कैन यूनिट, डायलिसिस यूनिट समेत अन्य चिकित्सकीय सुविधाओं का युद्धस्तर पर विस्तार किया जा रहा है।

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साउथ दिल्ली के पॉश इलाके में डॉक्टर की घर में घुसकर हत्या, लाखों का सामान लूट ले गए बदमाश

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नई दिल्ली। देश की राजधानी दिल्ली के एक पॉश इलाके में डॉक्टर की घर में घुसकर हत्या कर दी गई। उनका हाथ-पांव बंधा शव घर के किचन में मिला है। वारदात के बाद आरोपित घर से लाखों रुपए के आभूषण, नकदी सहित अन्य सामान लूट कर फरार हो गए। इसको लेकर पुलिस ने अज्ञात बदमाशों के खिलाफ हत्या सहित विभिन्न धाराओं में केस दर्ज उनकी तलाश में जुट गई है।

पुलिस जानकारी के अनुसार हत्यारे ने घटना को अंजाम देने के बाद डॉक्टर योगेश की डेड बॉडी को जंगपुरा सी ब्लॉक स्थित उनके घर की रसोई में छिपा दिया था। डॉक्टर योगेश एक जनरल फिजिशियन दे और अपनी पत्नी डॉक्टर नीना पॉल के साथ रहते थे। नीना पॉल दिल्ली सरकार के अस्पताल में डॉक्टर हैं। पुलिस ने आशंका जताई है कि लूट के इरादे से उनके घर में तीन-चार लोग घुसे होंगे और घटना को अंजाम दिया। इस दौरान आरोपियों ने डॉक्टर पॉल के पालतू कुत्ते को भी रूम में बंद कर दिया था।

घटना की जानकारी मिलने पर पुलिस मौके पर पहुंची। पुलिस ने घर के किचन से डॉक्टर का शव बरामद किया। पुलिस ने घटनास्थल का निरीक्षण करने के लिए क्राइम टीम के साथ फॉरेंसिक टीम को भी बुलाया है.पुलिस ने बताया कि कमरे में मिली तोड़फोड़ से लूटपाट के संकेत मिल रहे हैं। फिलहाल पुलिस मामले में आगे की जांच कर रही है।

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