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अधिकारी सोशल मीडिया का अधिकतम उपयोग करें : राज्यवर्धन

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राज्यवर्धननई दिल्ली| केंद्रीय सूचना एवं प्रसारण राज्यमंत्री राज्यवर्धन सिंह राठौड़ ने शुक्रवार को सरकारी अधिकारियों को सोशल मीडिया का अधिकतम उपयोग करने और आम जनता के लिए उपयोगी जानकारी का प्रसार करने को कहा। राठौड़ ने यहां ‘सरकारी संचार के लिए सोशल नेटवर्किं ग का प्रभावशाली उपयोग’ विषय पर आधारित एक कार्यशाला में अधिकारियों को संबोधित करते हुए कहा कि राष्ट्रीय जनतांत्रिक गठबंधन (राजग) सरकार ने सोशल मीडिया के जरिए लोगों के साथ दो तरफा संचार स्थापित करने की कोशिश की है।

उन्होंने कहा, “आप आज की दुनिया में जानकारी छिपा नहीं सकते। आपको जानकारी साझा करनी होगी। मकसद लोगों को सही प्रकार की सामग्री प्रदान करना है।”

राठौड़ ने प्रेस सूचना ब्यूरो (पीआईबी) के अधिकारियों को संबोधित करते हुए कहा, “हमें खुलने की जरूरत है, आमतौर पर सरकार अपने इर्द-गिर्द एक तरह की दीवार खड़ी रखती है। लेकिन आज समय बदल रहा है।”

राठौड़ ने कहा कि सोशल मीडिया अपना महत्व साबित कर चुका है और सोशल मीडिया पर प्रसारित होने वाले मुद्दे और विचार किसी के भी दिमाग और विचारों को प्रभावित करते हैं।

उन्होंने कहा कि ज्यादातर केंद्रीय मंत्री फेसबुक पर हैं। उन्होंने साथ ही कहा कि अभी भी उस मामले में सुधार की गुंजाइश है।

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केंद्रीय मंत्री ज्योतिरादित्य सिंधिया की मां का निधन, दिल्ली एम्स में ली अंतिम सांस

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नई दिल्ली। केंद्रीय मंत्री ज्योतिरादित्य सिंधिया की माता व ग्वालियर राज घराने की राजमाता माधवी राजे सिंधिया का निधन हो गया है। उनका इलाज पिछले दो महीनों से दिल्ली के एम्स में चल रहा था। आज सुबह 9.28 बजे उन्होंने दिल्ली के एम्स में आखिरी सांस ली।

हाल ही में ज्योतिरादित्य सिंधिया ने बताया था कि, राजमाता माधवी राजे को सांस लेने में तकलीफ होने पर उन्हें 15 फरवरी को दिल्ली एम्स में भर्ती कराया गया था। इसी साल 6 मार्च को भी उनकी तबीयत अचानक बिगड़ गई थी। उस समय भी उनकी हालत नाजुक थी और उनको लाइफ सपोर्टिंग सिस्टम पर रखा गया था।

पहली बार 15 फरवरी को माधवी राजे की तबीयत बिगड़ी थी, उन्हें सांस लेने में तकलीफ हो रही थी। उसके बाद से ही उनकी हालत नाजुक बनी हुई थे। वे लाइफ सपोर्ट सिस्टम पर थीं। ज्योतिरादित्य सिंधिया ने कुछ समय पहले यह जानकारी शेयर की थी।

नेपाल राजघराने से माधवीराजे सिंधिया का संबंध है। उनके दादा शमशेर जंग बहादुर राणा नेपाल के प्रधानमंत्री थे। कांग्रेस के दिग्गज नेता माधवराव सिंधिया के साथ माधवी राजे के विवाह से पहले प्रिंसेस किरण राज्यलक्ष्मी देवी उनका नाम था। साल 1966 में माधवराव सिंधिया के साथ उनका विवाह हुआ था। मराठी परंपरा के मुताबिक शादी के बाद उनका नाम बदलकर माधवीराजे सिंधिया रखा गया था। पहले वे महारानी थीं, लेकिन 30 सितंबर 2001 को उनके पति और पूर्व केंद्रीय मंत्री माधवराव सिंधिया के निधन के बाद से उन्हें राजमाता के नाम से संबोधित किया जाने लगा।

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