Connect with us
https://www.aajkikhabar.com/wp-content/uploads/2020/12/Digital-Strip-Ad-1.jpg

अन्तर्राष्ट्रीय

9/11 के बाद लश्कर से जुड़ा था हेडली

Published

on

Loading

वाशिंगटन| मुंबई हमले के एक प्रमुख साजिशकर्ता पाकिस्तानी मूल के अमेरिकी नागरिक डेविड कोलमैन हेडली ने खुलासा किया है कि उसने 9/11 हमले के बाद पाकिस्तानी आतंकवादी संगठन लश्कर-ए-तैयबा (एलईटी) से स्थायी रूप से जुड़ने का फैसला कर किया था।

टेलीविजन वृत्तचित्र ‘अमेरिकन टेरररिस्ट’ को डेविड कोलमैन हेडली के प्राप्त संस्मरण से इसका खुलासा हुआ है। उसके पिता पाकिस्तानी और मां अमेरिकी हैं। यह वृत्तचित्र मंगलवार रात प्रसारित हुआ था।

एलईटी के साथ काम करते हुए उसने अपने अमेरिकी पासपोर्ट का इस्तेमाल भारत दौरे के लिए किया और हमले के लिए स्थानों की रेकी और उनकी वीडियोग्राफी की और हमलावरों के भारत में प्रवेश का रास्ता भी ढूंढ़ा।

लश्कर के आतंकवादियों के साथ अपनी पहली मुलाकात का जिक्र करते हुए हेडली ने कहा कि वह भारत से कश्मीर की आजादी को लेकर उनके समर्पण से बेहद प्रभावित था।

प्रोपब्लिका और फ्रंटलाइन में प्रकाशित संस्मरण के अनुसार हेडली ने लिखा है, “अक्टूबर 2000 के दौरान मैं पाकिस्तान दौरे पर लश्कर-ए-तैयबा (एलईटी) के साथ संयोगवश संपर्क में आया। मैंने नवंबर में उनके वार्षिक सम्मेलन में हिस्सा लिया।”

9/11 के बाद लश्कर से जुड़ने के अपने फैसले पर हेडली ने कहा कि 2002 में संगठन ने उससे एलईटी के हथियार के प्रशिक्षण में हिस्सा लेने को कहा।

संस्मरण के मुताबिक, उसने विस्फोट का प्रशिक्षण लिया, लेकिन सबसे महत्वपूर्ण यह था कि उसे पाकिस्तानी पिता और अमेरिकी मां से मिले नाम दाऊद गिलानी को बदलने की मांग की गई।

हेडली ने कहा, “उसने डेविड चुना जो कि दाउद का अंग्रेजी नाम है। कोलमैन उसके दादा का नाम था और हेडली शादी से पहले उसकी मां का नाम था।”

यह एक नौकरशाही जैसा काम था, लेकिन खुफिया अधिकारियों के मुताबिक, उसने यह नाम इसलिए चुना ताकि उसे पकड़ना आसान न हो।

उसने लिखा, “अंतत: जून में मेरे से वरिष्ठ साजिद मीर ने मुझे अमेरिका लौटने की सलाह दी, मेरे मुस्लिम नाम को ईसाई नाम में बदल दिया और उस नाम के साथ मुझे नया अमेरिकी पासपोर्ट दिलाया।”

हेडली ने कहा, “उसने फिर मुझे बताया कि मैं भारत जाऊंगा, मैं पाकिस्तानी नागरिक जैसा नहीं लगता था और हिंदू और ऊर्दू धाराप्रवाह बोल लेता था, जिसने मुझे भारत में फायदा दिया।”

इस वक्त हेडली ने मुंबई में रेकी की शुरुआत की।

भारत के एक दौरे पर वह अपनी नई पत्नी के साथ हनीमून के सिलसिले में ताज महल होटेल में रुका, जो कि मुंबई हमले का मुख्य निशाना था।

अन्तर्राष्ट्रीय

रूस की सेना का बड़ा सैन्य अधिकारी गिरफ्तार, रिश्वत लेने का है आरोप

Published

on

Loading

मास्को। रूस में सेना के एक बड़े अधिकारी को रिश्वत लेने के आरोप में गिरफ्तार किया गया है। पकड़ा गया अफसर रूस का मुख्य संचार निदेशालय का प्रमुख वादिम शमारिन है। इससे कुछ दिन पहले ही रिश्वत लेने के ही आरोप में रूस के उपरक्षा मंत्री को गिरफ्तार किया गया था।

रूसी समाचार एजेंसियों ने एक सैन्य अदालत का हवाला देते हुए कहा कि उन्हें दो महीने के लिए हिरासत में रखा गया है, लेकिन मामले के अन्य विवरण नहीं बताए गए हैं। इससे पहले, इसी साल अप्रैल में, रक्षा उप मंत्री तैमूर इवानोव को रिश्वतखोरी के आरोप में गिरफ्तार किया गया था। इवानोव सर्गेई शोइगु के करीबी सहयोगी थे। राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन ने इसी महीने शोइगु को रक्षा मंत्री के पद से बर्खास्त कर दिया था। शोइगु को हटाए जाने के दो दिन बाद रक्षा मंत्रालय के कार्मिक निदेशालय के प्रमुख लेफ्टिनेंट जनरल यूरी कुजनेत्सोव को रिश्वतखोरी के आरोपों में गिरफ्तार कर लिया गया था।

क्रेमलिन के प्रवक्ता दिमित्री पेसकोव ने बताया कि रक्षा अधिकारियों की गिरफ्तारी का यह संकेत नहीं है कि यह सेना के खिलाफ अभियान है। पेसकोव ने बृहस्पतिवार को संवाददाता सम्मेलन में कहा, ‘‘भ्रष्टाचार के खिलाफ लड़ाई एक सतत कार्य है, यह कोई अभियान नहीं है। यह लगातार चलता रहता है। यह हमारे कानून प्रवर्तन एजेंसियों की गतिविधि का अनिवार्य हिस्सा है।’’ यूक्रेन के साथ लड़ाई में कीव पर जल्दी कब्जा करने में रूस की विफलता के लिए शोइगु को व्यापक रूप से दोषी ठहराया गया था और निजी सेना के कमांडर येवगेनी प्रिगोझिन ने उन पर अक्षमता और भ्रष्टाचार का आरोप लगाया था। प्रिगोझिन ने जून 2023 में शोइगू को हटाने और सेना प्रमुख जनरल वेलेरी गेरासिमोव को हटाने की मांग करते हुए विद्रोह कर दिया था।

Continue Reading

Trending