अन्तर्राष्ट्रीय
अमेरिका में बर्फीले तूफान से 6.5 लाख हो सकते हैं प्रभावित
वाशिंगटन| अमेरिका के 18 राज्यों के 6.5 लाख लोग बर्फीले तूफान से प्रभावित हो सकते हैं। तूफान के खतरे को देखते हुए शिकागो में चेतावनी जारी कर दी गई है। ‘सीएनएन’ की रिपोर्ट के मुताबिक, शिकागो में तूफान से बर्फ की 15 इंच (लगभग 40 सेंटीमीटर) मोटी चादर जमा हो सकती है, जिससे यहां की 90 लाख से अधिक आबादी पर असर पड़ेगा।
रिपोर्ट के मुताबिक, बर्फीला तूफान अमेरिका के पूर्वोत्तर हिस्से की ओर बढ़ रहा है।
शिकागो के महापौर रैम इमेन्यूएल ने रविवार को वादा किया, “सड़कें बर्फरहित और चलने योग्य रहेंगी ताकि लोग सुरक्षित रहें।”
अधिकारियों के मुताबिक, बर्फ हटाने के लिए 350 से अधिक उपकरण शिकागो भेजे गए हैं।
आयोवा, इलिनॉय, मिशिगन और विस्कॉन्सिन राज्यों के कुछ हिस्सों में एक फुट तक बर्फबारी होने का पूर्वानुमान लगाया गया है। नेब्रास्का और दक्षिणी डकोटा के पूर्वी भागों से लेकर ग्रेट प्लेंस तक बर्फीले तूफान की कई चेतावनियां दी गई हैं।
मौसम वैज्ञानिक माइकल गाए के मुताबिक, यह तूफान पूर्व की ओर बढ़ेगा और सोमवार को न्यूयॉर्क और बोस्टन जैसे महानगरीय क्षेत्रों को प्रभावित करेगा।
एक ऑनलाइन उड़ान ट्रैकिंग सेवा फ्लाइटवेयर.कॉम के मुताबिक, “रविवार को 2,000 से अधिक अमेरिकी उड़ानों को रद्द कर दिया गया। इनमें से अधिकतर उड़ानें शिकागो पहुंचने और प्रस्थान करने वाली थीं।”
अन्तर्राष्ट्रीय
पाकिस्तान के रक्षा मंत्री का बयान, ‘पाकिस्तान के इस सैन्य तानाशाह को कब्र से निकालकर फांसी पर लटकाना चाहिए’
नई दिल्ली। पाकिस्तान के रक्षा मंत्री ख्वाजा आसिफ ने नेशनल असेंबली में एक बहस के दौरान कहा कि संविधान को निरस्त करने के लिए अयूब खान के शव को कब्र से निकालकर उसको फांसी पर लटका दिया जाना चाहिए। उन्होंने कहा कि अयूब खान ने संविधान को रद्द करने का जो काम किया था, उसके लिए उनको कभी माफ नहीं किया जा सकता है। आसिफ ने ये कमेंट असेंबली में विपक्ष के नेता और अयूब खान के पोते उमर अयूब खान से बहस के दौरान किया। उमर ने सेना की पिछले सप्ताह की प्रेस कॉन्फ्रेंस पर सवाल उठाते हुए फौज के राजनीति में हस्तक्षेप पर एतराज जताया था। इसके बाद जवाब में ख्वाजा ने कड़ी प्रतिक्रिया दी।
इससे पहले उमर अयूब खान ने कहा कि संविधान के अनुसार सुरक्षा एजेंसियां राजनीति में शामिल नहीं हो सकती हैं। उन्होंने संविधान के विभिन्न अनुच्छेदों का हवाला देते हुए कहा कि सैन्य अधिकारियों की शपथ उन्हें राजनीति में हस्तक्षेप करने की इजाजत नहीं देती। उन्होंने कहा ‘‘सुरक्षा संस्थानों को संविधान के अनुसार, राजनीति में शामिल नहीं होना चाहिए। यह संवाददाता सम्मेलन नहीं होना चाहिए था।’’ उन्होंने अनुच्छेद छह का हवाला देते हुआ कहा कि संविधान को निरस्त करना दंडनीय देशद्रोह है जिसके लिए मौत की सजा तय है। उन्होंने आग्रह किया कि सभी संस्थानों को संवैधानिक सीमाओं के भीतर रहना चाहिए।
रक्षा मंत्री आसिफ ने कहा कि अयूब खान संविधान का उल्लंघन करने वाले पहले व्यक्ति थे और उन्हें अनुच्छेद छह का सामना करने वाला भी पहला व्यक्ति होना चाहिए। रक्षा मंत्री आसिफ ने कहा, “देश में पहला मार्शल लॉ लागू करने वाले झूठे फील्ड मार्शल अयूब खान के शरीर को भी (अनुच्छेद 6 के अनुसार) खोदकर निकाला जाना चाहिए और फांसी दी जानी चाहिए।”
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