प्रादेशिक
गुजरात के मुख्यमंत्री विजय रुपाणी कोरोना पॉजिटिव, कल मंच पर हो गए बेहोश

अहमदाबाद। गुजरात के मुख्यमंत्री विजय रुपाणी कोरोना से संक्रमित हो गए हैं। बीते दिन वह एक कार्यक्रम के दौरान बेहोश होकर मंच पर गिर पड़े थे। इसके बाद उन्हें यूएन मेहता हॉस्पिटल में भर्ती कराया गया है। अस्पताल की ओर से जारी मेडिकल बुलिटेन के मुताबिक, सीएम रुपाणी की हालत स्थिर है।
विजय रुपाणी की तबीयत की जानकारी देते हुए डॉ. आरके पटेल ने सोमवार को कहा, ‘विजयभाई बिना किसी सहारे अस्पताल के कमरे में टहल ले रहे हैं, उनकी रिपोर्ट जैसे ईसीजी, ईको, सीटी स्कैन, ऑक्सीजन का स्तर सामान्य है, उनकी हालत स्थिर है, उन्हें अस्पताल में 24 घंटे निगरानी में रखा जाएगा, डिहाईड्रेशन, थकावट और हेक्टिक काम के कारण उनको चक्कर आया था।’
मुख्यमंत्री कार्यालय के मुताबिक, प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने रविवार को फोन पर उनके स्वास्थ्य के बारे में जानकारी ली थी। इस दौरान पीएम मोदी ने सीएम रूपाणी से नियमित जांच कराने और आराम करने को कहा था।
रूपाणी जिस रैली में बेहोश हुए, वह वड़ोदरा में रविवार को उनकी तीसरी राजनीतिक रैली थी। वड़ोदरा सहित छह नगर निगमों के चुनाव 21 फरवरी को होंगे, जबकि नगरपालिकाओं, जिला और तालुका पंचायतों के चुनाव 28 फरवरी को होंगे।
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कोरोना से लड़ाई में धर्म और अध्यात्म से लोगों का जुड़ाव औषधि के रूप में काम करेगा: राजनाथ सिंह

लखनऊ। देश के रक्षामंत्री और लखनऊ के सांसद राजनाथ सिंह ने कोरोना काल में डॉ. समीर त्रिपाठी के रामचरित मानस के अर्थ सहित गायन के यू-ट्यूब चैनल मेधज एस्ट्रो पर आने पर उनको बधाई दी है। साथ ही उन्होंने इस प्रयास को कोरोना काल में आस्था जगाने वाला और सकारात्मकता को बढ़ावा देने वाला बताया है। उन्होंने कहा है कि कोरोना की लड़ाई में धर्म और आध्यात्म से लोगों का जुड़ाव औषधि के रूप में काम करेगा। संक्रमितों को सही करने में भी सस्वर रामायण का पाठ वरदान साबित हो सकता है।
राम नवमीं पर राजधानी के इंदिरा गांधी प्रतिष्ठान में आयोजित समारोह में श्री रामचरित मानस के अर्थ सहित गायन को लांच किया गया। इस समारोह में वर्चुअल रूप से देश के रक्षामंत्री राजनाथ सिंह भी जुड़े। उन्होंने डॉ. त्रिपाठी की ओर से किये गये प्रयास की सराहना करते हुये कहा कि समाज के वर्तमान परिस्थितियों से निपटने में उपयोगी साबित होगा यह प्रयास।
सुप्रसिद्ध लोक गायिका मालिनी अवस्थी ने भी श्री रामचरित मानस के अर्थ सहित गायन को समाज के लिये वर्तमान परिस्थितियों में काफी उपयोगी बताया। उन्होंने कहा कि लोगों का ध्यान नकारात्कम सूचनाओं और खबरों से हटाकर सकारात्कता फैलाने के लिये यह प्रयोग काफी उपयोगी साबित हो सकता है।
जल शक्ति मंत्री ने कहा कि कोरोना जैसी महामारी ने, न सिर्फ शारीरिक बल्कि मनोवैज्ञानिक स्तर पर भी व्यक्ति और समाज को नकारात्मक रूप से प्रभावित किया है। व्यग्रता और भय, आज दोनों ही हमारे जीवन के हर क्षण में गहरे व्याप्त हैं। ऐसे मे स्वाभाविक है कि संकटग्रस्त समाज में हम धर्म की उपस्थिति और भूमिका को संज्ञान में लें और उसकी पड़ताल करें।
कोरोना काल में राहत देगा धर्म और आध्यात्म से जुड़े रहना-
द्वारकाशारदापीठाधीश्वर एवं ज्योतिषपीठाधीश्वर स्वामी स्वरूपानंद सरस्वती के प्रतिनिधि शिष्य स्वामी अविमुक्तेश्वरानंदः सरस्वती जी महाराज ने कहा कि कोरोना काल का संदेश सांस्कृतिक जड़ों, धर्म और आत्यात्म से जुड़े रहना सबसे महत्वपूर्ण है। लोगों को शास्त्रों, वेदों का पाठ पढ़ने का यह उपयुक्त समय है। इसका भरपूर उपयोग कर लोग स्वयं को महामारी के संकट से तो बचा ही सकते हैं साथ में अपनी सांस्कृतिक विरासत को जानने का भी उनके लिये यह सुनहरा समय है।
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