Connect with us
https://www.aajkikhabar.com/wp-content/uploads/2020/12/Digital-Strip-Ad-1.jpg

प्रादेशिक

यूपीः ग्राम्य विकास मंत्री राजेंद्र प्रताप सिंह ने कोविड केयर फंड में दी 1 करोड़ की धनराशि

Published

on

Loading

लखनऊ। उत्तर प्रदेश के ग्राम्य विकास एवं समग्र विकास मंत्री राजेन्द्र प्रताप सिंह ‘मोती सिंह’ ने जनपद प्रतापगढ़ की विधानसभा पट्टी के राजकीय चिकित्सालयों में ऑक्सीजन एवं अन्य आवश्यक व्यवस्था के लिए कोविड केयर फण्ड में अपने विधायक निधि से एक करोड़ रूपये की धनराशि दी है।

इस संबंध में उन्होंने जिलाधिकारी/मुख्य विकास अधिकारी प्रतापगढ़ को आज 27 अप्रैल, 2021 को पत्र लिखकर अग्रेतर कार्यवाही किये जाने की अपेक्षा की है।

राजेन्द्र प्रताप सिंह ने अपने पत्र में कहा है कि मौजूदा समय में कोरोना महामारी के दूसरे चरण के प्रकोप से पूरा देश ग्रसित है। राज्य सरकार द्वारा कोरोना संक्रमण की रोकथाम तथा उपचार के लिए हर स्तर पर समुचित व्यवस्था करायी जा रही है।

इस महामारी से लोगों की जान बचाने के लिए अत्यधिक संसाधन एवं धन की अवश्यकता है। इसको दृष्टिगत रखते हुए यह एक करोड़ रूपये की धनराशि उपलब्ध करायी जा रही है।

उत्तर प्रदेश

हरदोई में 16 बार चुनाव लड़ा, हर बार मिली हार, फिर से मैदान में उतरे शिवकुमार

Published

on

Loading

हरदोई। देश भर में चुनाव का माहौल गरमाया हुआ है और ऐसे में हरदोई में भी चुनाव की गरमा गरमी अब खूब देखने को मिल रही है। यहां पर एक ऐसे प्रत्याशी भी है जो 17 वी बार चुनाव लड़ने जा रहे हैं। अब तक कुल 16 बार चुनाव लड़ चुके हैं लेकिन उन्हें आजतक किसी भी चुनाव में जीत नहीं मिली है। इनका नाम है शिवकुमार और यह शहर कोतवाली क्षेत्र के मन्नापुरवा के रहने वाले है।

इनका कहना है कि वह हारने के बाद भी वह चुनाव लड़ते रहेंगे क्योंकि जनता उनका सम्मान बरकरार रखती है। उन्होंने कहा कि इस बार अगर वह जीतते हैं तो लोकसभा क्षेत्र के लोगों की हर समस्या के समय उनके साथ खड़े रहेंगे और उनका सहयोग करेंगे। शिवकुमार ने प्रत्येक बार निर्दलीय होकर चुनाव लड़ा है।

शिवकुमार ने 3 प्रधानी के चुनाव 3 जिला पंचायत के साथ 7 चुनाव विधानसभा और अब तक 3 चुनाव दिल्ली वाले यानी लोकसभा ले लड़े है और अब वह चौथी बार 2024 में लोकसभा का चुनाव लड़ रहे हैं। उनका कहना है कि उनके मुद्दे क्या है अगर वह बता देंगे तो लोग नकल कर लेंगे।

Continue Reading

Trending