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प्रादेशिक

मेडिकल ऑक्सीजन जनरेटर प्लांट की स्थापना के लिए 50 प्रतिशत अग्रिम भुगतान करने की स्वीकृति दी गईः नवनीत सहगल

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लखनऊ। वैश्विक महामारी कोविड-19 के कारण प्रदेश को मेडिकल आक्सीजन की उपलब्धता में आत्मनिर्भर बनाने के लिए राज्य सरकार द्वारा सभी अस्पतालों में मेडिकल आक्सीजन जनरेटर प्लांट स्थापित कराने का निर्णय लिया गया है। अस्पतालों में आक्सीजन प्लांट लगाये जाने हेतु न्यूनतम दर के आधार पर चार इकाइयों को पंजीकृत किया गया है।

महामारी की आपात स्थिति को देखते हुए विशेष परिस्थितियों में मेडिकल ऑक्सीजन जनरेटर प्लांट की स्थापना हेतु नियमों को शिथिल करते हुए इकाई को 50 प्रतिशत अग्रिम भुगतान करने की स्वीकृति प्रदान की गई है। इसके अलावा सभी जनपदों में मेडिकल ऑक्सीजन जनरेटर प्लांट की स्थापना के साथ-साथ ऑक्सीजन, वैक्यूम एवं एअर पाइपलाइन भी लगाये जाने का कार्य किया जायेगा।

यह निर्णय आज अपर मुख्य सचिव, सूक्ष्म, लघु एवं मध्यम उद्यम डा0 नवनीत सहगल की अध्यक्षता में लोक भवन में आयोजित लघु उद्योग निगम के निदेशक मण्डल की 251 वीं बैठक में लिया गया। इसके अलावा बैठक में उ0प्र0 लघु उद्योग निगम की सम्पत्तियों के व्यवसायिक प्रयोग के माध्यम से अधिकाधिक लाभ अर्जित करने के उद्देश्य से विभिन्न औद्योगिक आस्थानों के पट्टागत भूखण्डों को फ्रीहोल्ड करने संबंधी नीति विकसित करने के निर्देश दिये गये। साथ ही सार्वजनिक उपक्रमों/निगमों में सेवाकाल में मृत्यु हो जाने की दशा में उनके आश्रितों को सेवा में लिये जाने संबंधी प्रस्ताव पर सहमति प्रदान की गई।

बैठक में निगम कार्मिकों की सेवानिवृत्ति पर विदाई समारोह के लिए पांच हजार रुपये का प्राविधान कराने संबधी प्रस्ताव पर अनुमोदन प्रदान किया गया है। निगम की कोल योजना के अन्तर्गत कोल समन्वयक की नियुक्ति हेतु पुनः ई-निविदा आमंत्रित करने हेतु स्वीकृति प्रदान की गई।

निगम के वर्ष 2010-11 के वार्षिक लेखों में एसेट्स राइट आॅफ एवं विभिन्न निष्क्रिय अनुभागों में अवशेष धनराशि 10.75 करोड़ रुपये को मुख्यालय हस्तांतरित करने के प्रस्तावा पर सहमति प्रदान की गई। बैठक में उपाध्यक्ष श्री राकेश गर्ग, प्रबंध निदेशक श्री राम यज्ञ मिश्र, निदेश (सामान्य प्रबंधन) श्री राजीव कुमार श्रीवास्तव मौजूद थे।

उत्तर प्रदेश

रामनवमी पर भगवान सूर्य ने किया रामलला के ललाट पर ‘सूर्य तिलक’

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अयोध्या। देशभर में आज रामनवी का पर्व बड़े ही धूमधाम से मनाया जा रहा है। इस बार रामनवमी के मौके पर अयोध्या में खास आयोजन किया जा रहा है। 500 साल बाद अयोध्या में मर्यादा पुरुषोत्तम का सूर्य तिलक किया गया।

वैज्ञानिक दर्पण के जरिए सूर्य की किरण को भगवान रामलला के मस्तक पर पहुंचाया गया। इस दौरान सूर्य की किरणों ने लगभग 4 मिनट तक रामलला के ललाट की शोभा बढ़ाई। शंखों की ध्वनि, मंत्रोच्चारण और पुजारियों की मौजूदगी में सूर्य तिलक के अवसर को और भी शानदार बना दिया। दूसरी ओर श्री राम जन्मभूमि तीर्थ क्षेत्र ने सोशल मीडिया पर पोस्ट किया कि श्री रामनवमी की पावन बेला में आज, श्री राम जन्मभूमि मंदिर में प्रभु श्री रामलला सरकार का दिव्य अभिषेक किया गया।

भगवान राम के सूर्याभिषेक के बाद लोगों ने दिव्य दर्शन किए। अयोध्या में राम मंदिर के निर्माण के बाद रामलला की ये पहली रामनवमी है। अयोध्या में रामनवमी की अद्भुत और विह्गम छटा दिखने को मिल रही है। इस दौरान रामलला की विशेष पूजा-अर्चना हुई। इस मौके पर राम मंदिर को फूलों और लाइटिंग से सजाया गया है। राम मंदिर के कपाट भक्तों के लिए सुबह 3.30 बजे खोल दिए गए हैं। यहां पर रात 11 बजे तक भक्त रामलला के दर्शन कर सकेंगे। यहां पर मंदिर में सुबह से ही श्रद्धालुओं का तांता लग गया। दोपहर 12.16 बजे रामलला का सूर्यतिलक के भव्य दर्शन हुए।

इससे पहले श्रीराम जन्मभूमि के मुख्य पुजारी आचार्य सत्येंद्र दास ने जानकारी दी थी कि सूर्य के तिलक का सफल परीक्षण पूरा कर लिया गया है। वैज्ञानिकों ने जिस तरह से प्रयास किया है, वह बहुत सराहनीय और वह बहुत अद्भुत है, क्योंकि सूर्य की किरणें भगवान रामलला के ठीक ललाट पर पड़ी है। जैसे ही सूर्य की किरणें प्रभु राम के माथे पर पड़ी, वैसे ही पता चल रहा है कि भगवान सूर्य उदय कर रहे हैं।

उन्होंने आगे कहा था कि इतना ही नहीं, त्रेता युग में भी जब प्रभु राम ने अवतार लिया था तो उस दौरान सूर्य देव एक महीने तक अयोध्या में रुके थे। त्रेता युग का वह दृश्य अब कलयुग में भी साकार हो रहा है। जब हम प्रभु राम का आरती उतार रहे थे और सूर्य देव उनके माथे पर राजतिलक कर रहे थे तो वह दृश्य बहुत अद्भुत दिख रहा था।

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