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प्रादेशिक

कुशीनगर में एक और शख्स मिला कोरोना पॉजिटिव, कुल संख्या हुई 8

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लखनऊ। उत्तर प्रदेश के कुशीनगर जिले में कोरोना का एक नया केस सामने आया है। इसके बाद जिले में कुल कोरोना संक्रमित लोगों की संख्या 8 हो गई है। 32 वर्षीय युवक की रिपोर्ट पॉजिटिव आने के बाद उसे गोरखपुर के बीआरडी मेडिकल कॉलेज में भर्ती कराया गया है।

इस बारे में डीएम भूपेंद्र एस चौधरी ने बताया कि सुकरौली क्षेत्र के पड़री गांव का रहने वाला 32 साल का युवक कोरोना पॉजिटिव पाया गया है। यहां पिछले सप्ताह 25 से अधिक लोग मुंबई से ट्रक द्वारा गांव लौटे थे। उनमें शामिल 75 वर्षीय बुजुर्ग की बीते रविवार को सेवरही के आइसोलेशन सेंटर में मौत हो गई थी।

इसके बाद मृत व्यक्ति के परिवार के सदस्यों समेत गांव के 25 लोगों का सैंपल कोरोना टेस्ट के लिए बीआरडी मेडिकल कॉलेज भेजा गया था।डीएम भूपेंद्र एस चौधरी ने बताया कि शनिवार को मेडिकल कॉलेज से इस गांव के 32 वर्षीय युवक की रिपोर्ट पॉजिटिव आई।

इस युवक को पहले ही सेवरही के आइसोलेशन सेंटर से मेडिकल कॉलेज में इलाज के लिए भेजा गया था। इलाज के दौरान ही उसकी रिपोर्ट पॉजिटिव आई है।

उन्होंने बताया कि जिले में बेलवनिया, बलुआ तकिया, पड़री, कांटी, कटाई भरपुरवा, शिवराजपुर और बिरइठ रामनगर मिश्रौली समेत कुल सात हॉटस्पॉट हैं।

 

उत्तर प्रदेश

जो हुकूमत जिंदगी की हिफ़ाज़त न कर पाये उसे सत्ता में बने रहने का कोई हक़ नहीं, मुख्तार की मौत पर बोले अखिलेश

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लखनऊ। समाजवादी पार्टी के राष्ट्रीय अध्यक्ष और यूपी के पूर्व सीएम अखिलेश यादव ने मुख्तार अंसारी की मौत पर सवाल उठाए हैं। साथ ही उन्होंने इस मामले पर योगी सरकार को भी जमकर घेरा है। उन्होंने मामले की सर्वोच्च न्यायालय के जज की निगरानी में जांच किए जाने की मांग की है। उन्होंने कहा कि यूपी इस समय सरकारी अराजकता के सबसे बुरे दौर में है। यह यूपी की कानून-व्यवस्था का शून्यकाल है।

सोशल मीडिया साइट एक्स पर अखिलेश ने लिखा कि  हर हाल में और हर स्थान पर किसी के जीवन की रक्षा करना सरकार का सबसे पहला दायित्व और कर्तव्य होता है। सरकारों पर निम्नलिखित हालातों में से किसी भी हालात में, किसी बंधक या क़ैदी की मृत्यु होना, न्यायिक प्रक्रिया से लोगों का विश्वास उठा देगा।

अपनी पोस्ट में अखिलेश ने कई वजहें भी गिनाई।उन्होंने लिखा- थाने में बंद रहने के दौरान ,जेल के अंदर आपसी झगड़े में ,⁠जेल के अंदर बीमार होने पर ,न्यायालय ले जाते समय ,⁠अस्पताल ले जाते समय ,⁠अस्पताल में इलाज के दौरान ,⁠झूठी मुठभेड़ दिखाकर ,⁠झूठी आत्महत्या दिखाकर ,⁠किसी दुर्घटना में हताहत दिखाकर ऐसे सभी संदिग्ध मामलों में सर्वोच्च न्यायालय के न्यायाधीश की निगरानी में जाँच होनी चाहिए। सरकार न्यायिक प्रक्रिया को दरकिनार कर जिस तरह दूसरे रास्ते अपनाती है वो पूरी तरह ग़ैर क़ानूनी हैं।

सपा प्रमुख ने कहा कि जो हुकूमत जिंदगी की हिफ़ाज़त न कर पाये उसे सत्ता में बने रहने का कोई हक़ नहीं।  उप्र ‘सरकारी अराजकता’ के सबसे बुरे दौर से गुजर रहा है। ये यूपी में ‘क़ानून-व्यवस्था का शून्यकाल है।

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