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प्रादेशिक

ब्लैक फंगस से निपटने के लिए सभी प्रकार की दवाइयों का इंतजाम होना चाहिएः सीएम योगी

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लखनऊ। उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने आज अपने सरकारी आवास में कोविड-19 के संबंध में गठित समितियों के अध्यक्षों के साथ बैठक की। सीएम योगी ने संक्रमण की रोकथाम हेतु अधिकारियों को उचित दिशा-निर्देश दिए।

मुख्यमंत्री ने स्वास्थ्य व चिकित्सा शिक्षा विभाग को निर्देश दिया है कि ब्लैक फंगस से निपटने के लिए सभी प्रकार की दवाइयों का इंतजाम होना चाहिए। साथ ही, जनपदों में चिकित्सकों को भी इस संबंध में समुचित प्रशिक्षण दिया जाना चाहिए, ताकि अमूल्य जीवन को बचाया जा सके।

इस संबंध में चिकित्सा शिक्षा विभाग द्वारा एडवाइजरी जारी की गई है। प्रदेश के अस्पतालों के डॉक्टरों को ऑनलाइन प्रशिक्षण देने की प्रक्रिया आज चार बजे से शुरू हो रही है। मुख्यमंत्री ने ब्लैक फंगस की बीमारी से निपटने के लिए स्वास्थ्य व चिकित्सा शिक्षा विभाग को निर्देश दिए हैं।

 

उत्तर प्रदेश

जो हुकूमत जिंदगी की हिफ़ाज़त न कर पाये उसे सत्ता में बने रहने का कोई हक़ नहीं, मुख्तार की मौत पर बोले अखिलेश

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लखनऊ। समाजवादी पार्टी के राष्ट्रीय अध्यक्ष और यूपी के पूर्व सीएम अखिलेश यादव ने मुख्तार अंसारी की मौत पर सवाल उठाए हैं। साथ ही उन्होंने इस मामले पर योगी सरकार को भी जमकर घेरा है। उन्होंने मामले की सर्वोच्च न्यायालय के जज की निगरानी में जांच किए जाने की मांग की है। उन्होंने कहा कि यूपी इस समय सरकारी अराजकता के सबसे बुरे दौर में है। यह यूपी की कानून-व्यवस्था का शून्यकाल है।

सोशल मीडिया साइट एक्स पर अखिलेश ने लिखा कि  हर हाल में और हर स्थान पर किसी के जीवन की रक्षा करना सरकार का सबसे पहला दायित्व और कर्तव्य होता है। सरकारों पर निम्नलिखित हालातों में से किसी भी हालात में, किसी बंधक या क़ैदी की मृत्यु होना, न्यायिक प्रक्रिया से लोगों का विश्वास उठा देगा।

अपनी पोस्ट में अखिलेश ने कई वजहें भी गिनाई।उन्होंने लिखा- थाने में बंद रहने के दौरान ,जेल के अंदर आपसी झगड़े में ,⁠जेल के अंदर बीमार होने पर ,न्यायालय ले जाते समय ,⁠अस्पताल ले जाते समय ,⁠अस्पताल में इलाज के दौरान ,⁠झूठी मुठभेड़ दिखाकर ,⁠झूठी आत्महत्या दिखाकर ,⁠किसी दुर्घटना में हताहत दिखाकर ऐसे सभी संदिग्ध मामलों में सर्वोच्च न्यायालय के न्यायाधीश की निगरानी में जाँच होनी चाहिए। सरकार न्यायिक प्रक्रिया को दरकिनार कर जिस तरह दूसरे रास्ते अपनाती है वो पूरी तरह ग़ैर क़ानूनी हैं।

सपा प्रमुख ने कहा कि जो हुकूमत जिंदगी की हिफ़ाज़त न कर पाये उसे सत्ता में बने रहने का कोई हक़ नहीं।  उप्र ‘सरकारी अराजकता’ के सबसे बुरे दौर से गुजर रहा है। ये यूपी में ‘क़ानून-व्यवस्था का शून्यकाल है।

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