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अन्तर्राष्ट्रीय

नेपाल में बड़े विमानों के उतरने पर रोक

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tribhuwan airport

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काठमांडू। नेपाल में मानवीय सहायता लेकर पहुंच रहे भारी विमानों पर प्रतिबंध लगा दिया गया है। यह प्रतिबंध पांच दशक पुराने त्रिभुवन अंतर्राष्ट्रीय हवाईअड्डे को किसी भी तरह की क्षति से बचाने के लिए लगाया गया है। इस फैसले का मतलब है कि 196 टन से अधिक वजन के विमानों को यहां उतरने की मंजूरी नहीं होगी।

एक वरिष्ठ सरकारी अधिकारी ने बताया कि कुछ पश्चिमी देशों ने राहत सामग्री लिए हुए बड़े जेट विमानों को उतरने की मंजूरी मांगी है। हालांकि, यह प्रतिबंध निर्धारित अंतर्राष्ट्रीय उड़ानों पर लागू नहीं होता। हवाईअड्डे के सूत्रों का कहना है कि अमेरिका ने बोईंग 747 विमान में राहत सामग्री लाने की योजना बनाई थी। हवाईअड्डा अधिकारियों का कहना है कि रनवे पर तीन दरारें देखने के बाद यह फैसला किया गया है। नेपाल में 25 अप्रैल को आए भूकंप के बाद यहां 150 चार्टर्ड विमानों सहित 300 से अधिक बचाव उड़ान उतर चुकी हैं।

दो सालों में यह दूसरा मौका है कि हवाईअड्डे ने इस तरह के प्रतिबंध लगाए हैं। अगस्त 2013 में हवाईअड्डा प्रशासन ने बड़े और भारी विमानों को हवाईअड्डे पर उतारने के लिए सभी अंतर्राष्ट्रीय विमानों से वैकल्पिक मार्ग खोजने को कहा था। गौरतलब है कि पहली बार जून 2011 में हवाईअड्डे के रनवे पर इन दरारों को देखा गया था, जो तब से एक समस्या बनी हुई है।

अन्तर्राष्ट्रीय

सरबजीत सिंह के हत्यारे की लाहौर में हत्या, अज्ञात हमलावरों ने घर में घुसकर मारी गोली

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नई दिल्ली। पाकिस्तान की जेल में सरबजीत सिंह की हत्या करने वाले शख्स अमीर सरफराज तांबा अज्ञात बंदूकधारियों ने घर में घुसकर गोली मारकर हत्या कर दी है। जानकारी के मुताबिक, अमीर सरफराज तांबा लाहौर के इस्लामपुरा इलाके में रहता था, जहां मोटरसाइकिल सवार हमलावरों ने उसके घर में घुसकर उसे मौत के घाट उतार दिया।

सरबजीत सिंह की हत्या करने वाले अमीर सरफराज को लश्कर-ए-तैयबा के संस्थापक हाफिज सईद का करीबी माना जाता था। सरफराज को ‘लाहौर के असली डॉन’ के नाम से जाना जाता था। सरफराज पाकिस्तान में कई संदिग्ध गतिविधियों में लिप्त था और और सरकार और प्रशासन का संरक्षण प्राप्त था। FIR में सरफराज के भाई जुनैद ने पूरे घटनाक्रम का सिलसिलेवार जिक्र किया है।

जुनैद ने बताया कि जिस समय अज्ञात बंदूकधारी घर में घुसे, तब वह अपने भाई सरफराज के साथ घर में मौजूद था। जुनैद ने बताया कि वो ग्राउंड फ्लोर पर था, जबकि अमीर सरफराज ऊपर वाले फ्लोर पर था। दोपहर में करीब 12.40 बजे पर 2 अज्ञात लोग मोटरसाइकिल पर सवार होकर उसके घर पहुंचे। इसमें से एक व्यक्ति ने हेलमेट पहना था और दूसरे व्यक्ति ने मास्क लगाया था। दोनों ने घर में घुसते ही अमीर सरफराज पर 3 गोलियां चलाई और फरार हो गए।

गौरतलब है कि भारतीय नागरिक सरबजीत सिंह को पाकिस्तान ने जासूसी का आरोप लगाकर गिरफ्तार किया था। सरबजीत 30 अगस्त 1990 को गलती से पाक सीमा में चला गया था। तब पाक पुलिस ने उसे गिरफ्तार कर लिया था और इस्लामाबाद में हुए बम धमाकों के मामले में गिरफ्तार किया था। पाक पुलिस का दावा था कि भारत के तरनतारन के गांव भिखीविंड निवासी सरबजीत सिंह भारतीय एजेंसियों का जासूस है। कई सालों तक पाक जेल में बंद रखने के बाद पाक खुफिया एजेंसी ISI के इशारों पर अमीर सरफराज ने साल 2013 में जेल में सरबजीत की हत्या कर दी थी।

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