Connect with us
https://www.aajkikhabar.com/wp-content/uploads/2020/12/Digital-Strip-Ad-1.jpg

अन्तर्राष्ट्रीय

कोरोना वायरस का अंत आया नजदीक, तेजी से असर करने वाली दवा की हुई खोज!

Published

on

Loading

नई दिल्ली। कोरोना वायरस ने भारत समेत पूरी दुनिया में कोहराम मचा दिया है। इस जानलेवा वायरस से अब तक 50 हजार से ज्यादा जान जा चुकी है, वहीं 10 लाख से ज्यादा लोग इससे संक्रमित हैं।

हर देश इस वायरस को रोकने का पूरा प्रयास कर रहा है लेकिन अभी तक किसी भी देश को हाथों कामयाबी नहीं लगी है। इस बीच अमेरिकी वैज्ञानिकों ने कोरोना वायरस की दवा को लेकर बड़ा दावा किया है।

अमेरिकी वैज्ञानिकों के मुताबिक उनकी वैक्सीन ने उस स्तर की ताकत हासिल कर ली है, जिससे कोरोना वायरस के संक्रमण को मजबूती से रोका जा सके। पूरी दुनिया भर के वैज्ञानिक इस घातक बीमारी की दवा खोजने में लगे हैं।

यूनिवर्सिटी ऑफ पिट्सबर्ग स्कूल ऑफ मेडिसिन के वैज्ञानिकों ने कहा है कि वे बाकी देशों की तुलना में बहुत जल्द कोविड-19 कोरोना वायरस की वैक्सीन विकसित कर चुके हैं।

यूनिवर्सिटी के वैज्ञानिकों के मुताबिक कोरोना वायरस (कोविड-19) की वैक्सीन बनाने के लिए सार्स (SARS) और मर्स (MERS) के कोरोना वायरस को आधार बनाया था।

पिट्सबर्ग स्कूल ऑफ मेडिसिन की एसोसिएट प्रोफेसर आंद्रिया गमबोट्टो ने बताया कि ये दोनों सार्स और मर्स के वायरस नए वाले कोरोना वायरस यानी कोविड-19 से बहुत हद तक मिलते हैं।

इससे हमें ये सीखने को मिला है कि इन तीनों के स्पाइक प्रोटीन (वायरस की बाहरी परत) को भेदना बेहद जरूरी है ताकि इंसानों के इस वायरस से मुक्ति मिल सके। प्रोफेसर आंद्रिया गमबोट्टो ने कहा कि हमें यह पता कर लिया है कि वायरस को कैसे मारना है। उसे कैसे हराना है। उन्होंने बताया कि हमने अपनी वैक्सीन को चूहे पर आजमा कर देखा और इसके परिणाम बेहद सफल रहे हैं।

प्रोफेसर आंद्रिया गमबोट्टो ने बताया कि इस वैक्सीन का नाम हमने पिटगोवैक (PittGoVacc) रखा है। इस वैक्सीन की असर की वजह से चूहे के शरीर में ऐसे एंटीबॉडीज पैदा हो गए हैं जो कोरोना वायरस को रोकने में कारगर हैं।

प्रोफेसर आंद्रिया गमबोट्टो ने बताया कि कोविड-19 कोरोना वायरस को रोकने के लिए जितने एंटीबॉडीज की जरूरत शरीर में चाहिए, उतनी पिटगोवैक वैक्सीन पूरी कर रहा है। हम बहुत जल्द इसका परीक्षण इंसानों पर शुरू करेंगे।

पिट्सबर्ग स्कूल ऑफ मेडिसिन की यह टीम अगले कुछ महीनों में इस वैक्सीन का इंसानों पर ट्रायल शुरू करेगी। यह वैक्सीन इंजेक्शन जैसी नहीं है। यह एक चौकोर पैच जैसी है, जो शरीर के किसी भी स्थान पर चिपका दी जाती है।

इस पैच का आकार उंगली के टिप जैसा है। इस पैच में 400 से ज्यादा छोटी-छोटी सुइयां है जो शक्कर से बनाई गई हैं। इसी पैच के जरिए उसमें मौजूद दवा को शरीर के अंदर पहुंचाया जाता है। वैक्सीन देने का यह तरीका बेहद नया है और कारगर है।

हालांकि, गमबोट्टो की टीम ने यह स्पष्ट नहीं किया है कि इस एंटीबॉडी का असर कितनी देर रहेगा चूहे के शरीर में। लेकिन टीम ने कहा कि हमने पिछले साल MERS वायरस के लिए वैक्सीन बनाई थी जो बेहद सफल थी।

अन्तर्राष्ट्रीय

इजरायल ने लेबनान पर किया हवाई हमला, दो हिजबुल्लाह लड़ाके ढेर, तीन नागरिक घायल

Published

on

Loading

नई दिल्ली। इजरायल ने दक्षिणी लेबनान के कई गांवों पर हवाई हमले किए हैं, जिसमें दो हिजबुल्लाह लड़ाके मारे गए और तीन नागरिक जख्मी हो गए हैं। मीडिया रिपोर्ट के मुताबिक, इसराइल की फौज ने दो मिसाइलों से बॉर्डर इलाके के ऐता अल-शाब गांव में एक घर को नष्ट कर दिया। हमले में हिजबुल्लाह का एक लड़ाका मारा गया, जबकि दो नागरिक जख्मी हो गए हैं।

एक दूसरे इसराइली युद्धक विमान ने दक्षिणपूर्वी लेबनान के ब्लिडा गांव में एक दो मंजिला घर को निशाना बनाया। इस हमले में हिजबुल्लाह का एक दूसरे सदस्य मारा गया और एक नागरिक जख्मी हो गया।

समाचार एजेंसी शिन्हुआ ने सूत्रों के हवाले से बताया कि इजरायली विमानों और ड्रोनों ने सीमा क्षेत्र के पूर्वी तथा मध्य हिस्सों में पांच कस्बों और गांवों पर सिलसिलेवार हवाई हमले किए, जिससे 17 घरों को नुकसान पहुंचा। इस बीच, हिजबुल्लाह ने पुष्टि की कि उसने कई इजरायली स्थलों पर हमला किया है।

Continue Reading

Trending