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अन्तर्राष्ट्रीय

विदेश जाकर इलाज करा सकेंगे नवाज शरीफ, लाहौर हाई कोर्ट ने दी इजाजत

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नई दिल्ली। लंबे समय से बीमार पाकिस्तान के पूर्व प्रधानमंत्री नवाज शरीफ अब विदेश जाकर इलाज करा सकेंगे। लाहौर हाई कोर्ट ने उन्हें उपचार के लिए चार सप्ताह के लिए विदेश यात्रा की अनुमति दे दी है और कहा कि यह अवधि चिकित्सा रिपोटरें के आधार पर बढ़ाई जा सकती है।

डॉन न्यूज के अनुसार, मौजूदा सरकार को झटका देते हुए जिसने शरीफ की यात्रा के लिए क्षतिपूर्ति बांड भरने की शर्त रखी थी, शनिवार को अदालत ने उनका नाम एग्जिट कंट्रोल लिस्ट (ईसीएल) से हटाने का आदेश दिया।

दो न्यायाधीशों की पीठ ने सुबह 11 बजे याचिका पर सुनवाई शुरू की और आखिरकार शाम 6 बजे के करीब फैसला सुनाया।अदालत के आदेश में कहा गया, “शरीफ को चार सप्ताह के लिए अंतरिम व्यवस्था के रूप में विदेश यात्रा करने की एक बार की अनुमति दी गई है और डॉक्टरों द्वारा यह प्रमाणित करने पर उनके स्वास्थ्य में सुधार हुआ है और वह पाकिस्तान आने के लिए फिट हैं, वह लौट आएंगे।”

पीएमएल-एन के अध्यक्ष शहबाज शरीफ ने इस फैसले को स्वीकार किया और एक वचन पत्र पर हस्ताक्षर किए जिसमें कहा गया कि वह चार सप्ताह के भीतर या डॉक्टरों द्वारा शरीफ का स्वास्थ्य ठीक होना और उनके पाकिस्तान लौटने के लिए फिट होना प्रमाणित किए जाने पर अपने भाई की वापसी सुनिश्चित करेंगे।

शहबाज शरीफ ने कहा कि एक एयर एम्बुलेंस नवाज शरीफ को ले जाएगी। नवाज के सोमवार को लंदन जाने की संभावना है।

फैसले पर जवाब देते हुए, सत्तारूढ़ पीटीआई के सीनेटर फैसल जावेद ने कहा कि यह फैसला किया जाएगा कि लिखित आदेश उपलब्ध होने के बाद अदालत के फैसले पर अपील किया जाए या नहीं।

सूचना मामलों में प्रधानमंत्री की विशेष सहायक फिरदौस आशिक एवान ने जियो न्यूज से कहा कि सरकार ने हमेशा अदालती फैसलों का सम्मान किया है। हालांकि, उन्होंने जावेद के इस रुख को दोहराया कि अपील पर फैसला लेना बाकी है।

अन्तर्राष्ट्रीय

पाकिस्तान में अपने नागरिकों की मौत से भड़का चीन, घटना की गहन जांच की मांग की

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इस्लामाबाद। पाकिस्तान में अपने चार नागरिकों की हत्या के बाद चीन भड़का हुआ है। गृह मंत्री मोहसिन नकवी हमले के तुरंत बाद चीन के दूतावास पहुंचे और राजदूत जियांग जैदोंग से मुलाकात की। राष्ट्रपति आसिफ अली जरदारी ने भी हमले की कड़ी निंदा की, उन्होंने हमले को पाक चीन की दोस्ती को नुकसान पहुंचाने की साजिश बताया।

चीनी नागरिकों पर हुए हमले पर सिंघुआ विश्वविद्यालय में राष्ट्रीय रणनीति संस्थान के अनुसंधान विभाग के निदेशक कियान फेंग ने कहा है कि यह हमला पाकिस्तान के लिए एक चेतावनी की तरह है। ये बताता है कि पाकिस्तान को अभी सुरक्षा क्षेत्र में बहुत काम करने की जरूरत है। ग्लोबल टाइम्स में प्रकाशित लेख में उन्होंने इस हमले को उस हमले की कॉपी बताया जो 2021 में किया गया था, जिसमें 9 चीनी नागरिकों की मौत हो गई थी। इस लेख में ये भी कहा गया है कि इस तरह के हमले बताते हैं कि आतंकी ताकतें चीन और पाकिस्तन के आर्थिक गलियारे की सफलता नहीं देखना चाहती हैं और लगातार इसे विफल करने की साजिश रच रही हैं।

उधर अपने नागरिकों की मौत के बाद चीन ने घटना की गहन जांच की मांग भी कर डाली है। पाकिस्तान स्थित चीनी दूतावास ने एक बयान में कहा, “पाकिस्तान में चीनी दूतावास और वाणिज्य दूतावासों ने आपात कार्य शुरू कर दिया है और पाकिस्तानी पक्ष से हमले की गहन जांच करने, दोषियों को कठोर सजा देने तथा चीनी नागरिकों की सुरक्षा के लिए व्यावहारिक और प्रभावी उपाय करने की मांग की है।”

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