प्रादेशिक
अनुच्छेद 370 का विरोध करने पर अखिलेश यादव को उठा ले गई पुलिस? वीडियो का सच जानें यहां
नई दिल्ली। जम्मू-कश्मीर से अनुच्छेद 370 को निष्क्रिय किए जाने के बाद कई राजनीतिक पार्टियों ने केंद्र सरकार के इस फैसले का स्वागत किया है जबकि कई विपक्षी दलों ने मोदी सरकार के फैसले को असंवैधानिक बताया है।
इस बीच सोशल मीडिया पर भी इस गंभीर मुद्दे को लेकर कई तरह की अफवाहें भी उड़ाई जा रही हैं। ताजा अफवाह उत्तर प्रदेश के पूर्व मुख्यमंत्री अखिलेश यादव को लेकर उड़ाई गई है।
सोशल मीडिया पर इन दिनों एक वीडियो तेजी से वायरल हो रहा है। वीडियो को लेकर दावा किया जा रहा है कि अनुच्छेद 370 का विरोध करने पर अखिलेश यादव को पुलिस ने हिरासत में ले लिया। इस वीडियो को मोदी न्यूज समेत कई लोगों ने पोस्ट किया है जो हजारों बार शेयर किया जा चुका है।
पुलिस घसीटते हुवे अखिलेश यादव को थाने ले गई
पुलिस घसीटते हुवे अखिलेश यादव को थाने ले गई।।अखिलेश यादव का वायरल हो रहा वीडियो 9 मार्च 2011 का है। उस वक्त यूपी में मायावती की सरकार थी। प्रदेशभर में सपा के कार्यकर्ता सरकार का विरोध कर रहे थे। अखिलेश यादव जब दिल्ली से लखनऊ लौट रहे थे तो उन्हें अमौसी एयरपोर्ट के बाहर निकलते ही अरेस्ट कर लिया गया था ।
Modi News ಅವರಿಂದ ಈ ದಿನದಂದು ಪೋಸ್ಟ್ ಮಾಡಲಾಗಿದೆ ಸೋಮವಾರ, ಆಗಸ್ಟ್ 12, 2019
क्या है सच्चाई?
‘आज की खबर’ की टीम ने जब इसकी सच्चाई जानने के लिए इंटरनेट खंगाला तो पाया कि धारा 370 से इस वीडियो का कोई लेना देना नहीं है। दरअसल, ये वीडियो 8 साल पुराना है।
इंटरनेट पर टाइम्स नाऊ न्यूज चैनल पर मिली खबर के मुताबिक ये वीडियो साल 2011 का है। तब अखिलेश यादव तत्कालीन मुख्यमंत्री मायावती का विरोध कर रहे थे जिसके बाद पुलिस ने उन्हें गिरफ्तार कर लिया था। यूट्यूब पर टाइम्स नाऊ के इस वीडियो में अखिलेश के प्रदर्शन को देखा जा सकता है।
आज की खबर की टीम की पड़ताल में ये वायरल खबर पूरी तरह से गलत साबित हुई। अगर ऐसा ही कोई भ्रामक वीडियो आपको पास है तो आप उसे हमारे पास भेजकर वीडियो की सच्चाई जान सकते हैं।
उत्तर प्रदेश
जो हुकूमत जिंदगी की हिफ़ाज़त न कर पाये उसे सत्ता में बने रहने का कोई हक़ नहीं, मुख्तार की मौत पर बोले अखिलेश
लखनऊ। समाजवादी पार्टी के राष्ट्रीय अध्यक्ष और यूपी के पूर्व सीएम अखिलेश यादव ने मुख्तार अंसारी की मौत पर सवाल उठाए हैं। साथ ही उन्होंने इस मामले पर योगी सरकार को भी जमकर घेरा है। उन्होंने मामले की सर्वोच्च न्यायालय के जज की निगरानी में जांच किए जाने की मांग की है। उन्होंने कहा कि यूपी इस समय सरकारी अराजकता के सबसे बुरे दौर में है। यह यूपी की कानून-व्यवस्था का शून्यकाल है।
सोशल मीडिया साइट एक्स पर अखिलेश ने लिखा कि हर हाल में और हर स्थान पर किसी के जीवन की रक्षा करना सरकार का सबसे पहला दायित्व और कर्तव्य होता है। सरकारों पर निम्नलिखित हालातों में से किसी भी हालात में, किसी बंधक या क़ैदी की मृत्यु होना, न्यायिक प्रक्रिया से लोगों का विश्वास उठा देगा।
अपनी पोस्ट में अखिलेश ने कई वजहें भी गिनाई।उन्होंने लिखा- थाने में बंद रहने के दौरान ,जेल के अंदर आपसी झगड़े में ,जेल के अंदर बीमार होने पर ,न्यायालय ले जाते समय ,अस्पताल ले जाते समय ,अस्पताल में इलाज के दौरान ,झूठी मुठभेड़ दिखाकर ,झूठी आत्महत्या दिखाकर ,किसी दुर्घटना में हताहत दिखाकर ऐसे सभी संदिग्ध मामलों में सर्वोच्च न्यायालय के न्यायाधीश की निगरानी में जाँच होनी चाहिए। सरकार न्यायिक प्रक्रिया को दरकिनार कर जिस तरह दूसरे रास्ते अपनाती है वो पूरी तरह ग़ैर क़ानूनी हैं।
सपा प्रमुख ने कहा कि जो हुकूमत जिंदगी की हिफ़ाज़त न कर पाये उसे सत्ता में बने रहने का कोई हक़ नहीं। उप्र ‘सरकारी अराजकता’ के सबसे बुरे दौर से गुजर रहा है। ये यूपी में ‘क़ानून-व्यवस्था का शून्यकाल है।
-
लाइफ स्टाइल2 days ago
पोषक तत्वों से भरपूर चुकंदर इन लोगों के लिए है नुकसानदेह, जानें कैसे
-
अन्तर्राष्ट्रीय2 days ago
केजरीवाल की गिरफ्तारी पर अमेरिकी की टिप्पणी से भारत नाराज, कहा- ये हमारा आंतरिक मामला
-
नेशनल1 day ago
शिवसेना-शिंदे गुट के स्टार प्रचारकों की लिस्ट जारी, मोदी-शाह समेत कई बड़े नाम शामिल
-
नेशनल1 day ago
सीएम बने रहेंगे केजरीवाल, कोर्ट ने पद से हटाने वाली याचिका की खारिज
-
नेशनल2 days ago
बीजेपी ने तीन राज्यों के लिए स्टार प्रचारकों की लिस्ट की जारी, PM मोदी, शाह और योगी के नाम शामिल
-
नेशनल1 day ago
ईडी ने सुनीता केजरीवाल के रिश्तेदार के घर पर मारा छापा, जानें क्या है मामला
-
अन्तर्राष्ट्रीय2 days ago
पाकिस्तान में अपने नागरिकों की मौत से भड़का चीन, घटना की गहन जांच की मांग की
-
नेशनल2 days ago
ईडी की कस्टडी में केजरीवाल की तबीयत बिगड़ी, शुगल लेवल 46 तक गिरा