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नेशनल

सिर्फ इतने वोटों से हार गयी मध्य प्रदेश में बीजेपी की सरकार, आंकड़े जान दंग रह जाएंगे आप

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मध्यप्रदेश विधानसभा चुनाव में 230 सीटों में कांग्रेस ने 114 सीटों पर जीत हासिल की है। और बीजेपी के खाते में 109 सीटें आई हैं। वहीं बीएसपी को 2, समाजवादी पार्टी को 1 और अन्य के खाते में 4 सीटें आई है। एमपी में कांग्रेस को बहुमत की सरकार बनाने के लिए दो सीटों की जरूरत है। जबकि बीजेपी को सात सीटों की।

मध्य प्रदेश विधानसभा चुनाव के परिणाम के मुताबिक, बीजेपी को कुल 4,337 वोट और मिलते तो राज्य में पार्टी की सरकार बन सकती थी। दरअसल, राज्य की 10 सीटों पर जीत-हार का निर्णय 1,000 से कम वोटों से हुआ जिनमें 7 पर कांग्रेस को जीत मिली।

दरअसल, भाजपा के लिए नोटा विलेन साबित हुआ और पार्टी को शिकस्त झेलनी पड़ी। बहरहाल, सरकार बनाने को लेकर तस्वीरें साफ हैं। 120 विधायकों के समर्थन के साथ कांग्रेस मध्य प्रदेश में सरकार बनाने का दावा पेश कर चुकी है।

 

उत्तर प्रदेश

जो हुकूमत जिंदगी की हिफ़ाज़त न कर पाये उसे सत्ता में बने रहने का कोई हक़ नहीं, मुख्तार की मौत पर बोले अखिलेश

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लखनऊ। समाजवादी पार्टी के राष्ट्रीय अध्यक्ष और यूपी के पूर्व सीएम अखिलेश यादव ने मुख्तार अंसारी की मौत पर सवाल उठाए हैं। साथ ही उन्होंने इस मामले पर योगी सरकार को भी जमकर घेरा है। उन्होंने मामले की सर्वोच्च न्यायालय के जज की निगरानी में जांच किए जाने की मांग की है। उन्होंने कहा कि यूपी इस समय सरकारी अराजकता के सबसे बुरे दौर में है। यह यूपी की कानून-व्यवस्था का शून्यकाल है।

सोशल मीडिया साइट एक्स पर अखिलेश ने लिखा कि  हर हाल में और हर स्थान पर किसी के जीवन की रक्षा करना सरकार का सबसे पहला दायित्व और कर्तव्य होता है। सरकारों पर निम्नलिखित हालातों में से किसी भी हालात में, किसी बंधक या क़ैदी की मृत्यु होना, न्यायिक प्रक्रिया से लोगों का विश्वास उठा देगा।

अपनी पोस्ट में अखिलेश ने कई वजहें भी गिनाई।उन्होंने लिखा- थाने में बंद रहने के दौरान ,जेल के अंदर आपसी झगड़े में ,⁠जेल के अंदर बीमार होने पर ,न्यायालय ले जाते समय ,⁠अस्पताल ले जाते समय ,⁠अस्पताल में इलाज के दौरान ,⁠झूठी मुठभेड़ दिखाकर ,⁠झूठी आत्महत्या दिखाकर ,⁠किसी दुर्घटना में हताहत दिखाकर ऐसे सभी संदिग्ध मामलों में सर्वोच्च न्यायालय के न्यायाधीश की निगरानी में जाँच होनी चाहिए। सरकार न्यायिक प्रक्रिया को दरकिनार कर जिस तरह दूसरे रास्ते अपनाती है वो पूरी तरह ग़ैर क़ानूनी हैं।

सपा प्रमुख ने कहा कि जो हुकूमत जिंदगी की हिफ़ाज़त न कर पाये उसे सत्ता में बने रहने का कोई हक़ नहीं।  उप्र ‘सरकारी अराजकता’ के सबसे बुरे दौर से गुजर रहा है। ये यूपी में ‘क़ानून-व्यवस्था का शून्यकाल है।

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